लोकसभा चुनाव 2019ः राजस्थान में चुनाव जीतने के लिए बीजेपी ने की राजनीतिक घुसपैठ की तैयारी
By सुधीर जैन | Published: March 10, 2019 08:29 AM2019-03-10T08:29:05+5:302019-03-10T08:29:05+5:30
Lok Sabha Elections 2019 in Rajasthan: भारतीय जनता पार्टी राजस्थान में चुनाव के लिए इस रणनीति पर काम करने का फैसला किया है। पढ़ें ये विशेष रिपोर्ट...
भाजपा हर हाल में राजस्थान में लोकसभा की सभी 25 सीटों पर जीतने वाले प्रत्याशियों पर ही दांव लगाने की तैयारी कर रही है. इसके लिए भाजपा ने राजनीतिक घुसपैठ की भी रणनीति बनाई है. पार्टी राज्य में अधिकाधिक सीटों पर अपना कब्जा जमाना चाहती है चाहे इसके लिए उसे अन्य पार्टियों के बागी जिताऊ नेता को ही टिकट क्यों न देना पड़े. ऐसी ही रणनीति भाजपा ने विधानसभा चुनाव में भी अपनाई थी और हार वाली सीटों पर भी कुछ प्रत्याशियों को जीत मिली थी.
दो दिन पूर्व ही भाजपा के प्रदेश चुनाव प्रभारी प्रकाश जावडेकर ने कहा था कि विशाल हृदय रखते हुए हम भाजपा में सभी का स्वागत करते हैं. इस बयान से यह स्पष्ट है कि भाजपा लोकसभा चुनावों में जीत के लिए किसी भी राजनैतिक तोड़फोड़ से पीछे नहीं हटेगी. भाजपा अन्य पार्टियों के जनाधार वाले नेताओं पर भी नजरें गड़ाए हुए है, जो जीत सकते हैं, और उनकी पार्टी उन्हें टिकट नहीं दे रही है.
कांग्रेस में प्रत्याशियों के नाम पर नहीं बन पाई सहमति
आगामी लोकसभा चुनावों को लेकर तैयारियों में जुटी प्रदेश कांग्रेस इन दिनों दावेदारों को लेकर उलझन में है. अभी तक सहमति नहीं बन पाई है कि किस सीट पर किसे चुनाव लड़ाया जाए. पार्टी के भीतर यह चर्चा है कि दावेदारों को लेकर पार्टी नेताओं के बीच आम सहमति नहीं बन पा रही. पार्टी के कई शीर्ष नेता जहां विजयी उम्मीदवार के रूप में मंत्री और विधायकों को चुनाव मैदान में उतारने के पक्ष में हैं, वहीं कई नेता नए चेहरों को अवसर दिए जाने की पैरवी करते नजर आ रहे हैं. इसके चलते पार्टी नेताओं के बीच खींचतान बनी हुई है.
पार्टी सूत्रों के अनुसार भले की गत डेढ़ माह से फीडबैक के आधार पर बैठकों के कई दौर चले हों पर दावेदारों के नाम पर खींचतान जारी है. प्रत्याशियों को लेकर आम सहमति नहीं बन पाने के कारण ही 8 मार्च को दिल्ली में होने वाली स्क्र ीनिंग कमेटी की बैठक स्थगित कर दी गई थी. कांग्रेस के शीर्ष नेता दबी जुबान में इसे स्वीकार भी कर रहे हैं.