जम्मूः उत्तरी कश्मीर के उड़ी सेक्टर में सेना के जवानों ने सीमा पार पाकिस्तान से घुसपैठ कर आए पाकिस्तानी आतंकी को पकड़ा है। पकड़े गए आतंकी की पहचान पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के ओकाड़ा जिला के अली बाबर के रूप में हुई है।
उसके कब्जे से भारी मात्रा में हथियार और गोला बारूद भी बरामद हुआ है। बाबर के प्रति खास बात यह थी कि वह मात्र 50 हजार रुपयों के लिए आतंकी बन गया था और 19 साल के इस आतंकी ने आतंकी बनने के लिए 7वीं की पढ़ाई छोड़ दी थी। जानकारी के अनुसार, पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के ओकाड़ा जिला का रहने वाला पाकिस्तानी आतंकी अली बाबर की आयु 19 साल बताई जा रही है।
उसका संबंध आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा से रहा है। उसे लश्कर-ए-तैयबा आतंकी संगठन में शामिल होने से पहले तीन महीनों की ट्रेनिंग भी ली थी। पकड़े गए पाकिस्तानी आतंकी के कब्जे से सात एके 47 राइफल, 80 ग्रेनेड सहित अन्य सामान बरामद हुआ है। 26 सितंबर को एक आतंकी मारा भी गया था।
घुसपैठ की इन साजिशों ने एक बार फिर एलओसी पर पाकिस्तान की साजिश का पर्दाफाश किया है। ये बातें मेजर जनरल वीरेंद्र वत्स जीओसी, 19 डिविजन ने कहीं। उन्होंने बताया कि उड़ी में एलओसी पर नौ दिनों तक आतंकियों के खिलाफ आप्रेशन चलाया गया। आतंकी घुसपैठ की जानकारी मिलने पर यह आप्रेशन 18 सितंबर को शुरू किया गया था।
इस दौरान आतंकियों से मुठभेड़ हुई। दो आतंकी भारतीय सीमा में थे जबकि चार आतंकी सीमा पार थे। जवाबी कार्रवाई के बाद पाकिस्तान की तरफ के चार आतंकी वापस चले गए। बताया कि सीमा में घुसपैठ करने वाले दो आतंकवादियों को घेरने के लिए सुरक्षाबलों ने मोर्चा संभाला। 25 सितंबर को एक मुठभेड़ हुई, जिसमें एक आतंकवादी को मार गिराया गया, जबकि दूसरा पकड़ा गया।
जिसने अपना नाम अली बाबर बताया है। उसने स्वीकार किया है कि वह लश्कर-ए-तैयबा का आतंकी है और मुजफ्फराबाद में उसे प्रशिक्षित किया गया था। आतंकवादी अली बाबर ने पूछताछ में खुलासा किया है कि उसके छह आतंकवादियों का समूह मुख्य रूप से पाकिस्तानी पंजाब का था। उसने कहा कि गरीबी के कारण उसे गुमराह किया गया।
इसके बाद लश्कर-ए-तैयबा में शामिल होने के लिए लालच दिया गया। मां के इलाज के लिए 20 हजार रुपये आतंकियों की ओर से दिए गए। साथ ही 30 हजार रुपये देने का वादा भी किया गया। हथियार चलाने का प्रशिक्षण देने वालों में अधिकांश पाकिस्तानी सेना के जवान थे। आतंकी ने बताया कि उसे इस्लाम और मुसलमान के नाम पर उकसाया गया, साथ ही आतंकवादी बनने पर मजबूर किया गया।