SC में वकीलों ने दी दलील, 'हिन्दू तालिबानियों' ने ढहाई थी बाबरी मस्जिद

By भाषा | Published: July 14, 2018 11:54 AM2018-07-14T11:54:35+5:302018-07-14T11:54:35+5:30

पहले परोक्ष आरोपों पर जवाब देने से इंकार करने वाले धवन ने बाद में शिया बोर्ड की दलीलों का जवाब दिया और कहा कि 1946 में बाबरी मस्जिद सुन्नी मस्जिद थी।

Lawyers in file plea at Supreme Court says, 'Hindu Taliban Is' demolished Babri Masjid | SC में वकीलों ने दी दलील, 'हिन्दू तालिबानियों' ने ढहाई थी बाबरी मस्जिद

SC में वकीलों ने दी दलील, 'हिन्दू तालिबानियों' ने ढहाई थी बाबरी मस्जिद

नई दिल्ली, 14 जुलाई: अयोध्या मंदिर-मस्जिद भूमि विवाद मामले के एक याचिकाकर्ता ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट से कहा कि जिस तरह अफगानिस्तान के बामियान में तालिबान ने बुद्ध की मूर्ति को ध्वस्त किया, वैसे ही 'हिन्दू तालिबान' ने बाबरी मस्जिद ढहाई। इस मामले के मुख्य याचिककर्ताओं में से एक दिवंगत एम सिद्दीक के कानूनी वारिसों की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता राजीव धवन ने प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा , न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति एस अब्दुल नजीर की पीठ से कहा कि कोई भी कानून या संविधान किसी धर्म के धार्मिक ढांचे को तोड़ने की अनुमति नहीं देता। 

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धवन ने इस मामले से शिया केन्द्रीय वक्फ बोर्ड के संबंध पर भी सवाल उठाये। उन्होंने ये टिप्पणियां उस समय कीं जब शिया बोर्ड ने पीठ से कहा कि इस महान देश में 'शांति , सौहार्द , एकता और अखंडता' के लिये वह इलाहाबाद उच्च न्यायालय द्वारा मुस्लिमों को दिया गया विवादित भूमि का एक तिहाई हिस्सा हिन्दू समुदाय को दान में देना चाहता है। शिया केन्द्रीय वक्फ बोर्ड की ओर से पेश वकील ने कहा कि वह अयोध्या के विवादित स्थल की जमीन के मुस्लिम हिस्से के दावेदारों में शामिल हैं क्योंकि बाबरी मस्जिद एक शिया मुस्लिम मीर बाकी द्वारा बनायी गयी थी। वकील ने कहा , 'यह मौलिक मुद्दा है। शिया केन्द्रीय वक्फ बोर्ड ने फैसला किया है कि देश की एकता , अखंडता , शांति और सौहार्द के लिये , हम हिन्दू समुदाय को जमीन का एक तिहाई हिस्सा दान में देना चाहते हैं।'

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पहले परोक्ष आरोपों पर जवाब देने से इंकार करने वाले धवन ने बाद में शिया बोर्ड की दलीलों का जवाब दिया और कहा कि 1946 में बाबरी मस्जिद सुन्नी मस्जिद थी। उन्होंने कहा, 'आप यह दलील नहीं दे सकते कि यह (मस्जिद ढहाना) कुछ अराजक तत्वों ने किया।' उन्होंने कहा , '1992 में क्या हुआ था ? बामियान मूर्ति तालिबान ने ध्वस्त की थी और यह मस्जिद हिन्दू तालिबान ने ढहायी। यह नहीं किया जा सकता। यह नहीं किया जाना चाहिये था। ऐसा कोई नहीं कर सकता।' धवन ने दलील दी कि जिन्होंने मस्जिद गिरायी उन्हें कोई दावा करने से रोका जाना चाहिये क्योंकि 'किसी को मस्जिद या किसी अन्य धार्मिक ढांचे को ध्वस्त करने का अधिकार नहीं है।'

 

Web Title: Lawyers in file plea at Supreme Court says, 'Hindu Taliban Is' demolished Babri Masjid

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