मानवरहित रेलवे क्रासिंग पर 30 सेकेंड की जल्दबाजी से जा सकती है जान, बच गए तो होगी जेल!
By आदित्य द्विवेदी | Published: April 26, 2018 10:49 AM2018-04-26T10:49:45+5:302018-04-26T10:49:45+5:30
यदि किसी वाहन को चलाने वाला व्यक्ति किसी क्रासिंग को लापरवाही से पार करता हुआ पाया गया तो उसे दण्डस्वरूप एक वर्ष तक का कारावास हो सकता है। जानें मानव रहित रेलवे क्रासिंग पार करने के नियम।
नई दिल्ली, 26 अप्रैलः उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले में रेलवे क्रासिंग पर एक दर्दनाक हादसे में 11 स्कूली बच्चों की मौत हो गई। हादसा उस वक्त हुआ जब मानवरहित रेलवे क्रासिंग पर स्कूली बच्चों से भरी वैन पैसेंजर ट्रेन की चपेट में आ गई। रेलवे के अधिकारियों के मुताबिक भारत में कुल 28,607 रेलवे क्रासिंग हैं जिसमें 19,267 पर मानव तैनात हैं वहीं 9,370 क्रासिंग मानवरहित हैं। मानवरहित रेलवे क्रासिंग पर दुर्घटनाओं की प्रबल संभावना होती है। रेल अधिनियम की धारा 161 के अनुसार “यदि किसी वाहन को चलाने वाला व्यक्ति किसी क्रासिंग को लापरवाही से पार करता हुआ पाया गया तो उसे दण्डस्वरूप एक वर्ष तक का कारावास हो सकता है।”
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मानवरहित रेलवे क्रासिंग पार करने के नियम
मोटर वाहन अधिनियम की धारा 131 के अनुसार “प्रत्येक मोटर चालक किसी मानवरहित रेलवे क्रासिंग पर पहुंचने पर वाहन को रोकेगा और वहां उपस्थित कंडक्टवर, क्लीनर, सहायक या किसी अन्या व्यक्ति के द्वारा यह सुनिश्चित करेगा कि किसी भी दिशा से कोई गाड़ी या ट्राली तो नहीं आ रहीं है। और सुनिश्चित हो जाने के बाद ही वाहन को क्रासिंग से पार ले जाएगा तथा ऐसी स्थिति में जहां कंडक्टर, क्लीनर, सहायक या कोई अन्य व्यक्ति उपलब्ध नहीं हो वहां चालक स्वयं उतर कर यह सुनिश्चित करेगा कि किसी भी दिशा से कोई गाड़ी या ट्राली नहीं आ रही है।”
850 मीटर तय करने में ट्रेन को लगते हैं 30 सेकेंड
मानवरहित रेलवे क्रासिंग पर दिखाई गई 30 सेकेंड की जल्दबाजी आपकी जान पर भारी पड़ सकती है। क्योंकि 100 की रफ्तार से पटरियों पर चलती रेलगाड़ी को 800 मीटर तय करने में 30 सेकेंड का समय लगता है। हो सकता है ट्रेन आपको दिखाई भी ना दे रही हो और क्रास करते वक्त आ जाए। इसलिए मानवरहित क्रासिंग पर उतर कर इत्मीनान से देख लें कि कोई ट्रेन तो नहीं आ रही उसके बाद ही क्रास करें।
कब खत्म होंगी मानवरहित रेलवे क्रासिंग?
भारतीय रेलवे के अधिकारियों ने अगस्त 2017 में एक बयान जारी करके कहा कि 2014-15 के दौरान 1148 मानवरहित रेलवे क्रासिंग को खत्म किया गया। 2015-16 में 1253 मानवरहित क्रासिंग को समाप्त किया गया है। अधिकारियों का कहना था कि अगले 2-3 साल में सभी मानवरहित रेलवे क्रासिंग से निजात पा ली जाएगी। लेकिन सितंबर 2017 में रेल मंत्री पीयूष गोएल ने इस लक्ष्य को 1 साल में पूरा करने के निर्देश दिए थे। उन्होंने कहा था कि मानवरहित रेलवे क्रॉसिंग को एकवर्ष के भीतर खत्म करने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।