JNU छात्र शरजील इमाम को दिल्ली पुलिस ने बिहार के जहानाबाद से किया गिरफ्तार
By रामदीप मिश्रा | Published: January 28, 2020 03:15 PM2020-01-28T15:15:58+5:302020-01-28T15:35:54+5:30
शाहीन बाग प्रदर्शन के शुरुआती आयोजकों में से एक शरजील इमाम के खिलाफ दिल्ली पुलिस द्वारा रविवार को भारतीय दंड संहिता की धारा 124 ए, 153 ए और 505 के तहत मामला दर्ज किया गया था।
जवाहरलाल विश्वविद्यालय (जेएनयू) छात्र शरजील इमाम को दिल्ली पुलिस ने बिहार के जहानाबाद से गिरफ्तार किया है। इमाम पर पुलिस ने राजद्रोह का मुकदमा दर्ज किया था। संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान 'भड़काऊ' भाषण देने के आरोप में ये मामला दर्ज किया गया था।
शोध छात्र शरजील इमाम के खिलाफ कई राज्यों में गिरफ्तारी के लिये मुंबई, पटना और दिल्ली में छापेमारी की जा रही थी। बिहार निवासी इमाम की तलाश में अपराध शाखा के पांच दल लगाए गए थे। जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के इतिहास अध्ययन केंद्र के पीएचडी छात्र इमाम को जेएनयू के चीफ प्रॉक्टर ने भी तलब किया था। उन्होंने इमाम से तीन फरवरी तक प्रॉक्टोरियल समिति के समक्ष पेश होकर कथित भड़काऊ भाषण पर अपनी स्थिति स्पष्ट करने को कहा।
JNU Student Sharjeel Imam has been arrested from Jahanabad,Bihar by Delhi Police. Imam had been booked for sedition by Police. More details awaited. pic.twitter.com/RJgtGNYH4c
— ANI (@ANI) January 28, 2020
शाहीन बाग प्रदर्शन के शुरुआती आयोजकों में से एक इमाम के खिलाफ दिल्ली पुलिस द्वारा रविवार को भारतीय दंड संहिता की धारा 124 ए, 153 ए और 505 के तहत मामला दर्ज किया गया था। इसके अलावा उसके खिलाफ 16 जनवरी को अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) में दिए गए एक भाषण को लेकर शनिवार को राजद्रोह का मामला दर्ज किया। असम पुलिस ने भी शरजील के भाषणों को लेकर उसके खिलाफ आतंकवाद रोधी कानून यूएपीए के तहत एक मामला दर्ज किया है।
पुलिस ने शरजील इमाम के बिहार स्थित पैतृक आवास पर छापेमारी की लेकिन वह नहीं मिला था। आईआईटी- मुंबई से स्नातक करने के बाद इमाम जेएनयू के इतिहास अध्ययन केंद्र से शोध करने के लिए दिल्ली आ गया। भाषण में उसे यह कहते हुए सुना गया कि असम और पूर्वोत्तर को भारत से 'काटना' है।
इमाम के वीडियो में उसे यह कहते हुए दिखाया गया, 'अगर पांच लाख लोग एकजुट हो जाएं तो हम पूर्वोत्तर और भारत को हमेशा के लिए अलग कर देंगे। अगर नहीं तो कम से कम एक महीने या आधा महीने के लिए। रेल पटरियों पर सड़कों पर इतना मवाद फैला देंगे कि वायुसेना को इसे साफ करने में एक महीना लग जाएगा।'
उसने कथित तौर पर कहा, 'असम को (भारत से) काटना हमारी जिम्मेदारी है, तभी वे (सरकार) हमें सुनेंगे। हम असम में मुस्लिमों की स्थिति जानते हैं... उन्हें निरोध केंद्रों में रखा जा रहा है।'
इमाम के पिता दिवंगत अकबर इमाम जद (यू) के स्थानीय नेता थे जो विधानसभा चुनाव में हार गए थे। बिहार के झारखंड में इमाम की मां ने इन बातों पर गुस्सा जाहिर किया था। अफशान रहीम ने कहा कि मेरा बेटा निर्दोष है। वह प्रतिभाशाली युवा है न कि चोर या पॉकेटमार। मैं अल्लाह की कसम खाती हूं कि वह कहां है, इस बारे में मुझे पता नहीं है।
उन्होंने कहा कि लेकिन मैं गारंटी दे सकती हूं कि मामलों के बारे में पता चलने पर वह जांच एजेंसियों के समक्ष पेश होगा और जांच में पूरा सहयोग करेगा। उससे मुलाकात किए हुए लंबा समय हो गया है, हालांकि कुछ हफ्ते पहले उससे फोन पर बात हुई थी। निश्चित रूप से वह सीएए से परेशान है और राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) से डरा हुआ है जिसे पूरे देश में लागू किया जा रहा है और उसका कहना है कि इससे न केवल मुस्लिम बल्कि सभी गरीब लोग प्रभावित होंगे।