जम्मू कश्मीर: पुलवामा में आतंकवादियों ने सरपंच के भाई को गोली मारकर की हत्या
By सुरेश डुग्गर | Published: January 4, 2019 08:41 PM2019-01-04T20:41:29+5:302019-01-04T20:41:29+5:30
बताया जा रहा है कि हाल में हुए पंचायत चुनाव में उसका भाई राजेंद्र सिंह सरपंच चुना गया है। चर्चा है कि आतंकियों ने मुखबिरी के शक में उसे गोली मारी है। हालांकि, पुलिस ने अभी इस बारे में कोई अधिकृत बयान जारी नहीं किया है।
दक्षिणी कश्मीर के पुलवामा जिले में शुक्रवार को आतंकियों ने एक नागरिक को गोली मार दी। गंभीर रूप से घायल होने के बाद उसे श्रीनगर के अस्पताल में दाखिल कराया गया जहां उसने दम तोड़ दिया। घटना के बाद सुरक्षा बलों ने पूरे इलाके को घेरकर तलाशी अभियान चलाया।
त्राल इलाके के खासीपोरा गांव में शुक्रवार की सुबह आतंकी पहुंचे। उन्होंने सिमरजीत सिंह नामक व्यक्ति को लक्ष्य कर कई राउंड गोलियां चलाईं। पेट तथा सीने में गोली लगने से वह लहुलूहान होकर गिर पड़े। इसके बाद आतंकी मौके से भाग निकले। आतंकियों के जाने के बाद उन्हें गंभीर हालत में श्रीनगर के श्री महाराजा हरि सिंह अस्पताल ले जाया गया। बाद में उसकी मौत हो गई।
बताया जा रहा है कि हाल में हुए पंचायत चुनाव में उसका भाई राजेंद्र सिंह सरपंच चुना गया है। चर्चा है कि आतंकियों ने मुखबिरी के शक में उसे गोली मारी है। हालांकि, पुलिस ने अभी इस बारे में कोई अधिकृत बयान जारी नहीं किया है।
इससे पहले साल के पहले दिन एक जनवरी को आतंकियों ने पुलवामा में तीन हमले किए थे। इसमें हांजन गांव में गोली मारे जाने से एसपीओ समीर अहमद की मौत हो गई थी। नेकां नेता मोहम्मद अशरफ भट के घर और सीआरपीएफ कैंप पर ग्रेनेड हमले में किसी प्रकार का नुकसान नहीं हुआ था।
दूसरी ओर साल की पहली मुठभेड़ में वीरवार को तीन आतंकियों के मारे जाने के बाद त्राल इलाके में तनाव है। विरोध में शुक्रवार को पूरे त्राल में बंद रहा। सुरक्षा के व्यापक प्रबंध किए गए थे। हिंसा की आशंका में बनिहाल से श्रीनगर के बीच रेल सेवा स्थगित रही।
इतना जरूर था कि आतंकियों ने जनाजे में शामिल होकर गन सैल्यूट भी दी। मारे गए आतंकी शकूर अहमद के पैतृक गांव त्राल के लारिबल में आतंकी जनाजे में शामिल हुए। उन्होंने हवा में तीन गोलियां चलाकर गन सैल्यूट दी। हालांकि, पुलिस की ओर से इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं की गई है। तीन आतंकियों के मारे जाने के विरोध में त्राल इलाके में सभी दुकानें, व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रहे। सुरक्षा की दृष्टि से सभी महत्वपूर्ण स्थानों पर सुरक्षा बलों की अतिरिक्त तैनाती की गई थी।