आठ दिन पहले लापता हुए भारतीय वायुसेना के एएन-32 विमान का मलबा मंगलवार (11 जून) को अरुणाचल प्रदेश में लिपो से 16 किलोमीटर उत्तर में मिला। यह विमान असम के जोरहाट से उड़ान भरने के बाद लापता हो गया था। विमान में 13 लोग सवार थे। वायुसेना का कहना है कि विमान में सवार लोगों के बारे में पता लगाने की कोशिश जारी है। असम से जोरहाट से अरुणाचल प्रदेश के मेचुका एडवांस्ड लैंडिंग ग्राउंड के लिए उड़ान भरने वाले रूसी मूल के एएन-32 विमान का संपर्क तीन जून की दोपहर को टूट गया था।
वायुसेना ने एक बयान में कहा, 'खोज अभियान में जुटे वायुसेना एमआई-17 हेलीकॉप्टर ने आज (मंगलवार) टाटो के उत्तरपूर्व और लिपो के उत्तर में 16 किलोमीटर की दूरी पर करीब 12 हजार फुट की ऊंचाई पर विमान के मलबे का पता लगाया।'' लेकिन जिस इलाके में घने जंगल हैं वहां तक पहुंचना काफी कठिन है। ऐसे में मलबे वाली जगह पर कमांडोज को हेलिकॉप्टर से उतारा जाएगा और ग्राउंड पार्टी को वहां तक पहुंचने में 1-2 दिन लग सकते हैं।
वायुसेना ने कहा है, हमारा हेलिकॉप्टर चीता Mi-17V5 उस जगह पर तो पहुंच गया लेकिन घने जंगल होने की वजह से हम वहां उतर नहीं पाये हैं। लेकिन हम जल्द से जल्द और भी जानकारी जुटा लेंगे।
वायुसेना की ओर से यह भी कहा गया है कि सर्च अभियान आगे बढ़ने पर आगे की जानकारी दी जाएगी। वायुसेना ने लापता विमान का पता लगाने के लिए बड़े पैमाने पर अभियान चला रखा था लेकिन खराब मौसम के कारण यह अभियान बुरी तरह प्रभावित हुआ। इस अभियान में सुखोई 30 विमान, सी-130जे और एएन-32 विमान तथा एमआई-17 तथा एएलएच हेलीकॉप्टर की सेवाएं ली गईं। जमीनी बलों में सेना, आईटीबीपी और राज्य पुलिस के जवान शामिल थे।