हैदराबाद: 20 साल की कोरोना पॉजिटिव महिला ने जुड़वा बच्चे को दिया जन्म, डॉक्टरों को मिली कामयाबी
By स्वाति सिंह | Published: May 27, 2020 08:41 PM2020-05-27T20:41:35+5:302020-05-27T20:41:35+5:30
इससे पहले ओडिशा के बरहामपुर में कोरोना वायरस से संक्रमित 32 साल की एक महिला ने सरकारी अस्पताल में जुड़वां बच्चों को जन्म दिया। यह महिला गुजरात के सूरत से लौटने के बाद कोविड-19 से संक्रमित पाई गई।
हैदराबाद: तेलंगाना में हैदराबाद स्थित गांधी अस्पताल में मंगलवार बुधवार को एक 20 वर्षीय कोरोना पॉजिटिव महिला ने जुड़वां बच्चों को जन्म दिया है। 2.5 किलो और 2 किलो वजन वाले जुड़वां बच्चे स्वस्थ हैं। बताया जा रहा है कि एक या दो दिन में अस्पातल प्रशासन जुड़वा बच्चों का कोविड -19 का टेस्ट करेगा।
बताया जा रहा है कि गर्भवती महिला को पहले नीलोफर अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां मंगलवार को कोविड -19 के लिए पॉजिटिव टेस्ट किया था और रिजल्ट पॉजिटिव आने के बाद तुरंत गांधी अस्पताल में ट्रांसफर कर दिया गया। गांधी अस्पताल के प्रसूति और स्त्री रोग विशेषज्ञों की टीम ने मंगलवार शाम को सीजेरियन सेक्शन करने का फैसला किया।
बता दें कि इससे पहले गांधी अस्पताल में कोरोनो वायरस रोगी के बच्चे को जन्म देने का पहला मामला 8 मई को आया था। राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के बीच कई कोरोनो वायरस पॉजिटिव महिलाओं ने स्वस्थ बच्चों को जन्म दिया है।
कोरोना वायरस से संक्रमित महिला ने जुड़वां बच्चों को जन्म दिया
वहीं, इससे पहले ओडिशा के बरहामपुर में कोरोना वायरस से संक्रमित 32 साल की एक महिला ने सरकारी अस्पताल में जुड़वां बच्चों को जन्म दिया। यह महिला गुजरात के सूरत से लौटने के बाद कोविड-19 से संक्रमित पाई गई। जुड़वां बच्चों में एक लड़का और एक लड़की है। एमकेसीजी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल के अधीक्षक एस के मिश्रा ने बताया कि लड़के की, कम वजन की वजह से मौत हो गई जबकि मां और लड़की की हालत स्थिर है।
उन्होंने बताया कि महिला हाल में गुजरात से ओडिशा के गंजम जिला लौटी थी। उसने समय से दो महीने पहले ही बच्चों को जन्म दे दिया। मिश्रा ने बताया कि बच्चों का जन्म सामान्य हुआ। इसके बाद महिला और उसके नवजात को दूसरे मरीजों से दूर अलग कैबिन में रखा गया है। महिला के कोरोना वायरस से संक्रमित होने की वजह से उसे सीतलापल्ली के कोविड-19 अस्पताल में भर्ती किया जाएगा जबकि बच्ची को अलग केंद्र में रखा जाएगा। उन्होंने बताया कि एक हफ्ते बाद बच्ची की कोरोना वायरस की जांच कराई जाएगी।