ज्ञानवापी विवाद: हिंदू पक्ष ने वाराणसी की जिला अदालत में दायर की याचिका, मस्जिद के तहखाने को जिला प्रशासन को सौंपने की मांग की

By आशीष कुमार पाण्डेय | Updated: September 26, 2023 14:06 IST2023-09-26T14:01:54+5:302023-09-26T14:06:59+5:30

ज्ञानवापी मस्जिद विवाद में हिंदू पक्ष की ओर से कोर्ट से मांग की गई है कि वो मस्जिद के तहखाने को जिला प्रशासन के हवाले करने का आदेश जारी करें।

Gyanvapi controversy: Hindu side filed petition in Varanasi district court, petition filed to hand over the basement of the mosque to the district administration | ज्ञानवापी विवाद: हिंदू पक्ष ने वाराणसी की जिला अदालत में दायर की याचिका, मस्जिद के तहखाने को जिला प्रशासन को सौंपने की मांग की

फाइल फोटो

Highlightsज्ञानवापी विवाद में हिंदू पक्ष ने कोर्ट से की मस्जिद के तहखाने को जिला प्रशासन को सौंपने की अपीलवकील विष्णु शंकर जैन ने कहा कि व्यास परिवार के कब्जे से मस्जिद को तहखाने को मुक्त किया जाएव्यास परिवार अब मंदिर परिसर में नहीं रहता है बावजूद उसके मस्जिद के तहखाने पर उसका कब्जा है

वाराणसीज्ञानवापी मस्जिद विवाद में हिंदू पक्ष की ओर से कोर्ट से मांग की गई है कि वो मस्जिद के तहखाने को जिला प्रशासन के हवाले करने का आदेश जारी करें। खबरों के अनुसार इस केस में हिंदू पक्ष की ओर से कोर्ट में पैरवी करने वाले वकील विष्णु शंकर जैन ने मंगलवार को कहा कि उनके द्वारा वाराणसी की जिला अदालत में एक नई याचिका दायर की गई है, जिसमें कोर्ट से मांग की गई है कि ज्ञानवापी परिसर को व्यास परिवार के कब्जे से हटाकर जिलाधिकारी को सौंप दिया गया है।

हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा कि ज्ञानवापी मस्जिद के दक्षिणी भाग में मौजूद 'तहखाना' इस वक्त व्यास परिवार के कब्जे में है और इसे तुरंत व्यास परिवार के कब्जे से लेकर वाराणसी के जिलाधिकारी को सौंपा जाए और उन्हें इसका रिसीवर नियुक्त किया जाए।

समाचार एजेंसी एएनआई से बात करते हुए वकील जैन ने कहा, “हमने व्यास परिवार की ओर से वाराणसी के सिविल कोर्ट में एक मुकदमा दायर किया है और अन्य मामलों की तरह हमने मूल मुकदमे को वाराणसी की जिला अदालत स्थानांतरित करने के लिए जिला जज के समक्ष आवेदन दिया है।"

उन्होंने कहा, "कोर्ट के समक्ष दायर की गई याचिका में हमने मांग की है कि मस्जिद की दक्षिण तरफ स्थित तहखाना को अंजुमन इंतजामिया मस्जिद कमेटी अपने कब्जे में ले सकती है। इसलिए हमने मांग की है कि इस तहखाने का कब्जा तुरंत डीएम को सौंपा जाए और डीएम को अपना रिसीवर नियुक्त किया।''

वकील जैन ने कहा, "हम इस मांग को लेकर जिला अदालत में गए हैं। आज हमारी ट्रांसफर अर्जी पर सुनवाई हुई है और अंजुमन इंतजामिया मस्जिद कमेटी ने मामले में पेश होकर जवाब देने के लिए कहा। इसके बाद कल हमें ट्रांसफर अर्जी पर आदेश मिलेगा।"

मालूम हो कि वाराणसी के व्यास परिवार का ज्ञानवापी परिसर के चार तहखानों में से एक पर कब्जा बरकरार है, जिनका सर्वे भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) द्वारा किया गया था। व्यास परिवार ने साल 1991 में ज्ञानवापी मस्जिद हिंदुओं को सौंपने की मांग करते हुए कोर्ट में एक मामला दायर किया, जिसमें दावा किया गया कि मस्जिद की ऊपरी संरचना, जहां नमाज अदा की जाती है और गुंबदों को छोड़कर पूरी संरचना अभी भी भगवान विशेश्वर मंदिर पर खड़ी है।

व्यास परिवार अब काशी विश्वनाथ-ज्ञानवापी परिसर में नहीं रहता है बावजूद उसके मस्जिद के चार तहखानों में से एक पर अब भी उसका कब्जा है। इससे पहले 14 सितंबर को ज्ञानवापी मामले में हिंदू पक्ष का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील अनुपम द्विवेदी ने कहा था कि वाराणसी की जिला अदालत ने एएसआई को एक सूची तैयार करने और परिसर के सर्वे में मिली सभी वस्तुओं को संरक्षित करने का आदेश दिया था।

इस संबंध में अनुपम द्विवेदी ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, "वाराणसी की जिला अदालत ने भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण को आदेश दिया है कि वो मस्जिद का सर्वे करके रिपोर्ट तैयार करें और सर्वे के दौरान मस्जिद परिसर में पाई गई ऐतिहासिक महत्व वाली सभी वस्तुओं की सूची बनाकर उन्हें संरक्षित करें।''

इससे पहले इसी साल अगस्त में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने एएसआई को ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का सर्वेक्षण करने की अनुमति दी थी। हालांकि अदालत ने शुक्रवार को ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का सर्वे पूरा करने के लिए एएसआई को चार सप्ताह का अतिरिक्त समय देते हुए आदेश दिया है कि वो सर्वे पूरा करके  6 अक्टूबर, 2023 तक अपनी रिपोर्ट कोर्ट में जमा करे।

इससे पूर्व इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मस्जिद की रखरखाव करने वाली अंजुमन इंतजामिया मस्जिद कमेटी द्वारा वाराणसी में काशी विश्वनाथ मंदिर से सटे मस्जिद परिसर के एएसआई सर्वे को चुनौती देने वाली याचिका खारिज कर दी।

हाईकोर्ट ने आदेश दिया था कि मस्जिद में 'वुज़ुखाना' को छोड़कर पूरे परिसर का वैज्ञानिक सर्वेक्षण किया जाए। उसके बाद 4 अगस्त को एएसआई ने सर्वे कार्य शुरू किया था। कोर्ट ने कहा था कि एएसआई यह पता लगाये कि क्या 17 वीं शताब्दी की मस्जिद का निर्माण किसी मंदिर पर किया गया था।

हालांकि अंजुमन इंतेज़ामिया मस्जिद कमेटी ने हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था लेकिन शीर्ष अदालत ने एएसआई द्वारा परिसर के वैज्ञानिक सर्वेक्षण पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था।

Web Title: Gyanvapi controversy: Hindu side filed petition in Varanasi district court, petition filed to hand over the basement of the mosque to the district administration

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