प्रौढ़ शिक्षा की ‘नयी योजना’ को राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अनुरूप बनाएगी सरकार

By भाषा | Updated: January 10, 2021 14:05 IST2021-01-10T14:05:39+5:302021-01-10T14:05:39+5:30

Government will make new scheme of adult education in line with national education policy | प्रौढ़ शिक्षा की ‘नयी योजना’ को राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अनुरूप बनाएगी सरकार

प्रौढ़ शिक्षा की ‘नयी योजना’ को राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अनुरूप बनाएगी सरकार

(दीपक रंजन)

नयी दिल्ली, 10 दिसंबर सरकार 2030 तक शत-प्रतिशत साक्षरता के लक्ष्य को हासिल करने के लिए प्रौढ़ शिक्षा की नयी योजना शुरू करने जा रही है जिसमें नयी राष्ट्रीय शिक्षा नीति के विभिन्न सुझावों एवं सिफारिशों को लागू किया जाएगा।

केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय के अधिकारियों ने ‘भाषा’ को बताया कि यह नयी योजना वित्त वर्ष 2021-26 के दौरान लागू की जाएगी।

उन्होंने कहा कि इस योजना को लेकर विचार विमर्श की प्रक्रिया अंतिम चरण में है, हालांकि अभी योजना का नाम तय नहीं हुआ है।

अधिकारियों ने बताया कि प्रौढ़ शिक्षा की नयी योजना को लेकर व्यय वित्त समिति (ईएफसी) के नोट को अंतिम रूप देने प्रक्रिया चल रही है।

सरकार ने प्रौढ़ शिक्षा कार्यक्रम के तहत ‘पढ़ना लिखना अभियान’ शुरू किया है जिसके तहत 15 वर्ष या इससे अधिक उम्र के लोग पढ़ाई कर साक्षर हो सकें।

इस संबंध में एक अधिकारी ने बताया कि ‘पढ़ना लिखना अभियान’ 31 मार्च 2021 तक के लिए है।

अधिकारी ने कहा कि इस बीच नयी राष्ट्रीय शिक्षा नीति में प्रौढ़ शिक्षा को लेकर कई सिफारिशें की गई हैं, ऐसे में नयी योजना में इन सिफारिशों को शामिल किया जाएगा।

उन्होंने बताया कि नयी योजना को लेकर मंजूरी की प्रक्रिया को अंतिम रूप दिया जा रहा है और इस विषय पर एक सलाहकार समिति विचार विमर्श कर रही है।

नयी योजना को ‘पढ़ना लिखना अभियान’ से जोड़कर आगे बढ़ाया जाएगा और इसमें जीवन कौशल एवं अन्य तत्वों का समावेश किया जायेगा। इसमें महिलाओं, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अल्पसंख्यक और अन्य वंचित समूहों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।

अधिकारियों का कहना है कि इसमें उन जिलों को प्राथमिकता होगी जहां वर्तमान जनसंख्या के अनुसार महिलाओं की साक्षरता दर 60 प्रतिशत से नीचे है।

इस योजना में जागरूकता अभियान के तहत गांव, पंचायत, प्रखंड और शहरों में गोष्ठियां होंगी और इसमें पंचायती राज संस्थान, महिला मंडल, शैक्षणिक संस्थान, स्वयंसेवी संगठनों को शामिल किया जाएगा।

अधिकारियों का कहना है कि इसके तहत पाठ्य सामग्री एवं पाठ्यक्रम बनाने का काम राज्यों का होगा। लोगों के साक्षर बनाने के साथ समाचारपत्र का शीर्षक पढ़ने, यातायात चिह्न समझने, आवेदन पत्र भरने, चिट्ठी लिखने-पढऩे, दो अंकों का जोड़, घटाव, गुणा, भाग का ज्ञान दिया जाएगा।

इसके तहत राष्ट्रीय मुक्त विद्यालय संस्थान (एनआईओएस) साक्षरता मूल्यांकन के विषय पर नजर रखेगी।

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Web Title: Government will make new scheme of adult education in line with national education policy

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