देशभर में 2027 में पहली डिजिटल जनगणना, 11,718 करोड़ रुपये होंगे खर्च,केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव बोले-जाति आधारित गणना शामिल
By सतीश कुमार सिंह | Updated: December 12, 2025 17:43 IST2025-12-12T16:39:07+5:302025-12-12T17:43:18+5:30
केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने जनगणना 2027 के लिए 11,718 करोड़ रुपये मंजूर किए हैं।

Census
नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आज हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में 11,718.24 करोड़ रुपये की लागत से भारत की जनगणना 2027 आयोजित करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। ‘जनगणना 2027’ दो चरणों में आयोजित की जाएगी, जिसके तहत अप्रैल और सितंबर 2026 के बीच घरों की सूची तैयार की जाएगी और फरवरी 2027 में जनगणना की जाएगी। वर्ष 2027 में होने वाली जनगणना पहली डिजिटल जनगणना होगी। जनगणना, 2027 में जाति आधारित गणना को शामिल किया जाएगा।
VIDEO | During a cabinet briefing, Union Minister Ashwini Vaishnaw said, “The budget for Census 2027, which is considered the world’s largest administrative and statistical exercise, has been approved at Rs 11,718 crore. Second, a major reform has been implemented in the coal… pic.twitter.com/9qTOYQtQhM
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जनगणना 2027 पहली डिजिटल जनगणना- दो फेज में होगी:
फेज 1: अप्रैल से सितंबर 2026 तक हाउस लिस्टिंग और हाउसिंग जनगणना होगी
फेज 2: फरवरी 2027 में जनसंख्या की गिनती होगी।
Union Cabinet approves Rs 11,718 crore for Census 2027: Union Minister Ashwini Vaishnaw
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केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शुक्रवार को कहा कि सरकार ने भारत की जनगणना 2027 के संचालन के लिए 11,718 करोड़ रुपये मंजूर किए हैं। सूचना एवं प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने पत्रकारों को बताया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में जनगणना कराने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है, जो अपनी तरह की पहली डिजिटल जनगणना होगी।
जनगणना दो चरणों में आयोजित की जाएगी। इसके तहत अप्रैल से सितंबर 2026 तक मकानों की सूची बनाने और आवास जनगणना का काम होगा; और फरवरी 2027 में जनसंख्या गणना की जाएगी। उन्होंने कहा कि लद्दाख और जम्मू-कश्मीर केंद्र शासित प्रदेश तथा हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड राज्यों के बर्फ से ढके दूर दराज के क्षेत्रों के लिए जनगणना कवायद सितंबर 2026 में होगी।
वैष्णव ने बताया कि जनगणना 2027 के प्रारंभिक चरण में जातिगत आंकड़े भी इलेक्ट्रॉनिक रूप से एकत्र किए जाएंगे। लगभग 30 लाख कर्मचारी राष्ट्रीय महत्व के इस विशाल कार्य को पूरा करेंगे। वैष्णव ने कहा कि डेटा संग्रह के लिए मोबाइल ऐप और निगरानी उद्देश्यों के लिए केंद्रीय पोर्टल का उपयोग बेहतर गुणवत्ता वाले डेटा सुनिश्चित करेगा।
उन्होंने कहा कि डेटा का प्रसार कहीं बेहतर और उपयोगकर्ता के अनुकूल तरीके से होगा ताकि नीति-निर्माण के लिए आवश्यक मापदंडों से संबंधित सभी प्रश्नों के उत्तर एक बटन क्लिक करने पर उपलब्ध हो सकें। मंत्री ने कहा कि जनगणना-आधारित सेवा (सीएएएस) मंत्रालयों को स्वच्छ, मशीन-पठनीय और कार्रवाई योग्य प्रारूप में डेटा उपलब्ध कराएगी।
Census 2027 to be conducted in two phases -- House listing between Apr and Sep 2026; Population Enumeration in Feb 2027: Ashwini Vaishnaw
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Union Cabinet approves Rs 11,718 crore for Census 2027: Union Minister Ashwini Vaishnaw. pic.twitter.com/8R5HQ0XjsI
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The Union Cabinet chaired by Prime Minister Narendra Modi today, has approved the proposal for conducting Census of India 2027 at a cost of Rs.11,718.24 crore. pic.twitter.com/RHUo9p1Pbt
— ANI (@ANI) December 12, 2025