पणजी, 20 अगस्त: मशहूर पर्यावरणविद माधव गाडगिल ने चेतावनी दी है कि यदि गोवा ने पर्यावरण के मोर्चे पर ऐहतियात नहीं बरती तो उसका भी हश्र बाढ़ से तबाह हुए केरल जैसा हो सकता है। गाडगिल ने कहा कि कुछ अन्य राज्यों की तरह गोवा में भी ऐसी गतिविधियों हो रही हैं जिसकी मंशा केवल असीमित मुनाफा कमाना है। बता दें कि भारी बारिश से केरल के हालात काफी खराब हैं। हजारों लोगों को मुसीबत का सामना करना पड़ रहा है। 8 अगस्त से दूसरी बार शुरू हुई बारिश में 10 दिनों के भीतर मरनेवालों की संख्या 197 हो गई है। अब तक कुल मरने वालों की संख्या 350 के पार हो गई है।
वह कुछ साल पहले बहस का विषय बनी ‘पश्चिमी घाट संबंधी रिपोर्ट’ लिखने वाली समिति के अगुवा रहे हैं। उन्होंने केरल की विनाशकारी बाढ़ पर कहा, ‘‘निश्चित ही सभी तरह की समस्याएं पश्चिमी घाट के पर्यावरण मोर्चे पर जमीनी स्तर पर सामने आएंगी। वैसे तो गोवा में पश्चिमी घाट केरल जैसा बहुत ऊंचा नहीं है लेकिन मैं पक्का हूं कि गोवा भी ऐसी समस्याओं का सामना करेगा।’’ गाडगिल ने कहा कि कोई भी पर्यावरण संबंधी ऐहतियात नहीं बरतने की वजह पूर्णत: मुनाफा केंद्रित है। उन्होंने कहा, ‘‘आपने गोवा में भी देखा है। केंद्र सरकार की ओर से गठित न्यायमूर्ति एम बी शाह आयोग ने अवैध खनन से 35000 करोड़ रुपये के अवैध मुनाफे का अनुमान लगाया है।’’ उन्होंने पश्चिमी घाट की चर्चा करते हुए कहा कहा, ‘‘ पत्थर खनन में भी ढेर सारा मुनाफा है जबकि निवेश नहीं के बराबर है।’’ उन्होंने कहा कि मुनाफा के लालच पर कोई रोक नहीं लगायी गई। सरकार पर्यावरण नियमों को लागू कराने में शिथिल रही ।