न्यायालय ने सरकारी, निजी अस्पतालों को महामारी काल में बुजुर्गों के उपचार को प्राथमिकता देने को कहा

By भाषा | Updated: March 4, 2021 14:26 IST2021-03-04T14:26:24+5:302021-03-04T14:26:24+5:30

Court asks government, private hospitals to prioritize treatment of elderly in epidemic period | न्यायालय ने सरकारी, निजी अस्पतालों को महामारी काल में बुजुर्गों के उपचार को प्राथमिकता देने को कहा

न्यायालय ने सरकारी, निजी अस्पतालों को महामारी काल में बुजुर्गों के उपचार को प्राथमिकता देने को कहा

नयी दिल्ली, चार मार्च उच्चतम न्यायालय ने बृहस्पतिवार को कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान सरकारी चिकित्सा संस्थानों के साथ-साथ निजी अस्पतालों में भी बुजुर्ग लोगों को भर्ती करने और उपचार में प्राथमिकता दी जानी चाहिए।

न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति आर.एस.रेड्डी की पीठ ने अपने चार अगस्त 2020 के आदेश में परिवर्तन करते हुए यह कहा। उस आदेश में शीर्ष न्यायालय ने कोरोना वायरस के जोखिम को देखते हुए बुजुर्ग लोगों को भर्ती एवं उपचार में प्राथमिकता देने का निर्देश केवल सरकारी अस्पतालों को दिया था।

पीठ ने याचिकाकर्ता एवं वरिष्ठ अधिवक्ता अश्विनी कुमार की इस दलील पर गौर किया कि ओडिशा और पंजाब के अलावा किसी भी अन्य राज्य ने शीर्ष अदालत के पहले जारी निर्देशों के अनुपालन के लिए उठाए गए कदमों की जानकारी नहीं दी है।

न्यायालय ने बुजुर्ग लोगों को राहत प्रदान करने से संबंधित कुमार के नए सुझावों पर जवाब देने के लिए सभी राज्यों को तीन हफ्ते का समय दिया।

सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता ने कहा कि शीर्ष न्यायालय के निर्देशों के अनुपालन के लिए राज्यों को नई मानक संचालन प्रक्रिया जारी करने की जरूरत है।

कुमार ने याचिका दायर कर न्यायालय से अनुरोध किया था कि महामारी काल में बुजुर्ग लोगों को अधिक देखभाल एवं सुरक्षा की जरूरत है अत: इस संबंध में निर्देश जारी किए जाने चाहिए।

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Web Title: Court asks government, private hospitals to prioritize treatment of elderly in epidemic period

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