राहुल गांधी से रघुराम राजन ने कहा- भारत में गरीबों की मदद के लिए 65000 करोड़ रुपये की जरूरत
By रामदीप मिश्रा | Updated: April 30, 2020 10:03 IST2020-04-30T09:42:31+5:302020-04-30T10:03:33+5:30
राहुल गांधी से बातचीत के दौरान रघुराम राजन ने कहा कि हमारी एक प्राथमिकता होनी चाहिए क्योंकि क्षमताएं सीमित हैं। हमें यह तय करने की आवश्यकता है कि हम अर्थव्यवस्था को एक साथ कैसे रखें ताकि जब हम दोबरा शुरू करें तो यह स्वयं बीमार बिस्तर से चलने में सक्षम हो। मुझे लगता है कि लोगों को अच्छी तरह से सुरक्षित रखना है।

राहुल गांधी ने रघुराम राजन से बातचीत की है। (फोटोः ANI)
नई दिल्लीः कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी गुरुवार (30 अप्रैल) को अर्थव्यवस्था और स्वास्थ्य क्षेत्र के विशेषज्ञों के साथ संवाद की अपनी श्रृंखला शुरू की है। इसके तहत पहला संवाद वह भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन से किया है। राहुल गांधी से बातचीत के दौरान रघुराम राजन ने कहा कि हमारी एक प्राथमिकता होनी चाहिए क्योंकि क्षमताएं सीमित हैं। हमें यह तय करने की आवश्यकता है कि अर्थव्यवस्था को साथ में कैसे रखें ताकि जब हम दोबरा शुरू करें तो यह स्वयं चलने में सक्षम हो। मुझे लगता है कि लोगों को अच्छी तरह से सुरक्षित रखना होगा।
उन्होंने कहा है कि लेकिन आपको इस महामारी का इलाज एक ऐसी स्थिति के रूप में करना होगा जो अभूतपूर्व है। हमें जरूरत पड़ने पर मानदंडों को तोड़ना होगा, जिसकी हमें जरूरत है। साथ ही साथ एक ही समय में यह भी ध्यान में रखना होगा कि हमारे पास केवल सीमित संसाधन हैं। लॉकडाउन हटाने में हमें समझदारी से काम लेना होगा, नाप-तौलकर कदम उठाने होंगे क्योंकि भारत की लोगों को लंबे समय तक खाना खिलाने की क्षमता नहीं हैं।
But you have to treat this pandemic as a situation which is unprecedented. We have to break norms in order to tackle what is needed, while at the same time keeping in mind that there are only so many resources we have: Ex-RBI Guv Raghuram Rajan, in conversation with Rahul Gandhi https://t.co/wRkq6DDsBv
— ANI (@ANI) April 30, 2020
रघुराम राजन ने कोरोना वायरस के संकट पर राहुल गांधी को बताया कि भारत में गरीबों की मदद के लिए 65,000 करोड़ रुपये की जरूरत है और वह यह खर्च उठा पाने में सक्षम है। इस दौरान राहुल गांधी ने राजन से सवाल करते हुए पूछा कि अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए लॉकडाउन को खोला जाना चाहिए और अगर खुलता है तो उसे कैसे खोला जाए? इसका जवाब देते हुए रघुराम राजन ने कहा कि अगर हम इस तरह की सोच रखते हैं कि जिस समय कोरोना वायरस के मामलों की संख्या शून्य हो जाएगी उसके बाद लॉकडाउन खोला जाएगा तो यह असंभव सा दिखाई दे रहा है।
राहुल गांधी ने RBI के पूर्व गवर्नर से पूछा कि अभी तो देश संकट में है, लेकिन कोविड के बाद क्या हिन्दुस्तान को इस घटना से कोई फायदा होगा, किसी रणनीति का फायदा होगा, दुनिया में कोई बदलाव होंगे, जिससे हिन्दुस्तान को फायदा हो या जिनका हिन्दुस्तान एडवांटेज ले सके, किस प्रकार से दुनिया बदलेगी आपके मुताबिक?
इस पर रघुराम राजन ने कहा कि इस प्रकार की घटनाओं का शायद ही कभी किसी देश में सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। कई तरीके हैं जिनसे देश लाभ उठा सकते हैं। मुझे लगता है कि हम यह कह सकते हैं कि वैश्विक अर्थव्यवस्था में हर चीज पर पुनर्विचार करना होगा।