फर्जी मतदान पर कांग्रेस सहित विपक्षी दलों का हंगामा, आयोग की चुप्पी पर उठाए सवाल
By शीलेष शर्मा | Published: April 30, 2019 02:50 AM2019-04-30T02:50:23+5:302019-04-30T02:50:23+5:30
कांग्रेस ने त्रिपुरा लोकसभा संसदीय क्षेत्र में 11 अप्रैल को हुए मतदान में बूथों पर किए गए कब्जे के सबूत पेश कर चुनाव को रद्द करने और दोबारा चुनाव कराने की मांग की है.
मतदान के दौरान फर्जी मत डालने को लेकर चुनाव आयोग में शिकायतों का अंबार लग गया है. उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार कांग्रेस तृणमूल कांग्रेस सहित अन्य दलों ने चुनाव आयोग को ज्ञापन देकर तत्काल कार्यवाही करने की मांग की है.
कांग्रेस ने त्रिपुरा लोकसभा संसदीय क्षेत्र में 11 अप्रैल को हुए मतदान में बूथों पर किए गए कब्जे के सबूत पेश कर चुनाव को रद्द करने और दोबारा चुनाव कराने की मांग की है. पार्टी के नेता अभिषेक मनु सिंघवी, रणदीप सुरजेवाला और त्रिपुरा इकाई के अनेक नेताओं ने आज चुनाव आयोग जाकर यह गुहार लगाई तथा ज्ञापन भी सौंपा.
इधर पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद ने भी चुनाव आयोग से शिकायत की कि उनके धौहरारा संसदीय क्षेत्र में जब उनकी बहन जहान्वी प्रसाद मतदान करने के लिए पहुंची तो उन्हें बताया गया कि उनके नाम का मत डाला जा चुका है.
जितिन प्रसाद ने लोकमत से बातचीत करते हुए इसकी पुष्टि की और कहा कि वे इस बावत चुनाव आयोग से शिकायत कर रहे है तथा चुनाव अधिकारी जिला मजिस्ट्रेट अमृत त्रिपाठी के संज्ञान में यह मामला लाया जा चुका है. चुनाव अधिकारी ने स्वीकार किया कि जितिन प्रसाद की बहन जहान्वी प्रसाद का मतदान उनके आने से पहले हुआ है, उन्होंने सफाई दी कि यह सीट पर बैठे अधिकारी की गलती के कारण हुआ क्योंकि उसने उनके नाम के आगे सही का निशान लगा दिया.
सूत्रों के अनुसार जहान्वी का वोट बैलेट पत्र के माध्यम से डाला गया है जिसे चुनाव अधिकारी गलती से डाला गया वोट बता रहे है. चुनाव अधिकारी ने जहान्वी प्रसाद को संदेश भिजवाया कि यदि वे पुन: मतदान करने के लिए आती हैं तो उनका मतदान कराया जाएगा. जितिन प्रसाद ने अपने संसदीय क्षेत्र में बड़े पैमाने पर फर्जी वोट डाले जाने की भी शिकायत चुनाव आयोग से की.
इधर तृणमूल कांग्रेस के नेताओं ने चुनाव आयोग को ज्ञापन देकर आरोप लगाया कि भाजपा चुनाव बूथों पर कब्जा कर रही है और फर्जी मतदान कर रही है.
कांग्रेस ने चुनाव आयोग को आज तीन ज्ञापन सौंपे. जिनमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के बावत शिकायत की गयी है. पार्टी के नेता अभिषेक सिंघवी ने कहा कि एक अप्रैल को कांग्रेस ने पहली शिकायत आयोग से की थी और अब तक दस से अधिक शिकायतें आयोग के पास लंबित है, लेकिन अभी तक एक महीना बीत जाने पर भी चुनाव आयोग ने ना तो इन शिकायतों को निरस्त किया और ना ही कोई कार्यवाही की. गौरतलब है कि यह सभी शिकायतें प्रधानमंत्री मोदी और अमित शाह के बावत है. कांग्रेस का आरोप है कि 25 अप्रैल को बनारस में और 26 अप्रैल को एक टीवी साक्षात्कार में प्रधानमंत्री मोदी ने सीधे-सीधे सेना के नाम पर वोट मांगा है जो आचार संहिता का उल्लंघन है लेकिन आयोग कोई कार्यवाही नहीं कर रहा है.
कांग्रेस ने आज सर्वोच्च न्यायालय में भी एक याचिका दाखिल की जिसमें इन तथ्यों का उल्लेख करते हुए चुनाव आयोग द्वारा अभी तक मोदी और शाह के विरुद्ध कार्यवाही ना करने को लेकर आपत्ति उठाते हुए गुहार लगाई है. मामले की सुनवाई कल होगी. कांग्रेस का मानना है कि मोदी और शाह कानून और चुनाव आयोग से ऊपर नहीं जब दूसरों पर कार्रवाई हो सकती है तो शाह और मोदी पर क्यों नही.