तमिलनाडु में संशोधित नागरिकता कानून (सीएए), राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) और राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (एनपीआर) को लेकर लोगों का विरोध एक भारी आंदोलन में तब्दील होता दिख रहा है।
बुधवार (19 फरवरी) को सीएए, एनआरी और एनपीआर के खिलाफ लोगों का हुजूम राज्य सचिवालय की ओर बढ़ा। राज्य में विधानसभा का सत्र चल रहा है। प्रदर्शनकारी वलाजाह रोड से सचिवालय की ओर बढ़े। विधानसभा का सत्र देखते हुए हुए मौके पर भारी पुलिस बल की तैनाती की गई है।
बता दें कि तमिलनाडु में पिछले हफ्ते सीएए विरोध प्रदर्शन जोर पकड़ गया। बीते शुक्रवार को चेन्नई के ओल्ड वॉशरमैनपेट इलाके में पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़प की खबर सामने आई थी। पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के सिए बल का प्रयोग किया था, जिसके जवाब में कुछ लोगों ने पुलिस से हाथापाई की थी। प्रदर्शनकारियों के साथ-साथ चार पुलिसकर्मी भी घायल बताए गए थे।
राजनीतिक दलों से कई नेताओं ने पुलिस की कार्रवाई की निंदा की थी। विपक्षी दलों ने प्रदर्शनकारियों पर बल प्रयोग करने वाले पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी। सत्तारूढ़ अन्नाद्रमुक ने कहा कि मामले को लेकर उसके खिलाफ किसी तरह का दुष्प्रचार काम नहीं करेगा। वहीं, पुलिस ने लोगों से कहा कि वे किसी तरह के भड़काऊ संदेश सोशल मीडिया पर साझा न करें।
तमिलनाडु में सीएए विरोधी प्रदर्शन स्थल पर मुस्लिम युगल ने की शादी
संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ यहां चल रहे प्रदर्शन स्थल पर एक मुस्लिम युगल ने सोमवार को शादी की। उनके हाथों में सीएए के विरोध में लिखे नारों वाली तख्तियां थीं। दुल्हन ने जरी के काम वाली चटख लाल रंग की साड़ी, जबकि दूल्हे ने कत्थई रंग की पोशाक पहन रखी थी। उत्तरी चेन्नई स्थित प्रदर्शन स्थल पर पहुंचे सुमय्या और शाहीन शाह का लोगों ने स्वागत किया तथा एक इमाम ने उन्हें निकाह पढ़ाया।
इमाम ने उनका परिचय वहां उपस्थित लोगों से कराया और समुदाय के बुजुर्गों ने उनके लिए दुआएं कीं। संक्षिप्त समारोह के बाद इस जोड़ी को तोहफे दिए गए। समारोह की पृष्ठभूमि में तिरंगा झंडा लहरा रहा था। इन दोनों ने सीएए विरोधी तख्तियां ले रखी थीं और उन्होंने इस विवादित कानून के खिलाफ अन्य लोगों के साथ नारे भी लगाए। तख्ती पर लिखा था, ‘‘सीएए, एनपीआर, एनआरसी नहीं।’’ यह नवविवाहित जोड़ा सक्रियता से प्रदर्शन में हिस्सा लेता रहा है और उन्होंने प्रदर्शन स्थल पर शादी करने का फैसला किया। इस स्थान पर 14 फरवरी से प्रदर्शन हो रहा है जिसे सोशल मीडिया पर ‘चेन्नई का शाहीन बाग’ कहा जा रहा है।
(पीटीआई-भाषा इनपुट के साथ)