उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री एवं बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख मायावती ने मध्य प्रदेश और राजस्थान की कांग्रेस सरकारों से भारत बंद के दौरान दोनों राज्यों में दर्ज मुकदमे वापस लेने की मांग करते हुए कहा है कि अगर ऐसा नहीं होता है तो पार्टी दोनों राज्यों की सरकारों को दे रही समर्थन पर दोबारा विचार करेगी । इसके साथ ही मायावती ने तीन तलाक विधेयक प्रवर समिति को भेजने की भी मांग की ।
उन्होंने कांग्रेस सरकारों को धमकी देते हुए कहा, ‘‘अगर कांग्रेस की नई सरकारों ने अविलम्ब उचित कार्रवाई नहीं की तो फिर बसपा को वहां की कांग्रेस सरकारों (मध्य प्रदेश व राजस्थान) को बाहर से समर्थन देने के मामले में पुनर्विचार करना पड़ सकता है।' मायावती ने सोमवार को जारी एक बयान में आरोप लगाया, ‘‘एस.सी.-एस.टी. कानून 1989 व सरकारी कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण की पूर्ण बहाली की मांग को लेकर दो अप्रैल को किए गए ‘‘भारत बंद’’ के दौरान उत्तर प्रदेश सहित भाजपा शासित राज्यों में से मध्य प्रदेश व राजस्थान में जातिगत और राजनीतिक द्वेष की भावना के तहत कार्रवाई की गई थी और निर्दोष लोगों को फंसाया गया था।’’
उन्होंने कहा कि अब मध्य प्रदेश और राजस्थान की नई कांग्रेस सरकारों को निर्दोष लोगों के खिलाफ दर्ज मामलों को तुरंत वापस लेना चाहिए और मुकदमों को खत्म करना चाहिए।
बसपा सुप्रीमों ने कहा कि 'केन्द्र सरकार को अपना अड़ियल व्यवहार त्यागकर ‘‘तीन तलाक विधेयक-2018’’ को पहले ‘‘संयुक्त संसदीय प्रवर समित’’ के पास विचार-विमर्श के लिए भेजे जाने की समूचे विपक्ष की मांग को स्वीकार कर लेना चाहिये ।
उन्होंने कहा कि सरकार ऐसा करती है तो यह बेहतर होगा।