बंगाल: आनंद बोस ने खुद को बताया 'ग्राउंड जीरो गवर्नर', तृणमूल ने कहा, 'मर्यादा लांघ रहे हैं'

By आशीष कुमार पाण्डेय | Updated: July 5, 2023 09:42 IST2023-07-05T09:33:46+5:302023-07-05T09:42:27+5:30

तृणमूल कांग्रेस ने पश्चिम बंगाल पंचायत चुनाव के दौरान हिंसा प्रभावित इलाकों का दौर कर रहे राज्यपाल सीवी आनंद बोस की कार्यशैली पर सवाल खड़ा करते हुए आरोप लगाया कि वो अपनी सीमा रेखा लांघ रहे हैं।

Bengal: Anand Bose calls himself 'Ground Zero Governor', Trinamool Congress says he is 'crossing the line' | बंगाल: आनंद बोस ने खुद को बताया 'ग्राउंड जीरो गवर्नर', तृणमूल ने कहा, 'मर्यादा लांघ रहे हैं'

बंगाल: आनंद बोस ने खुद को बताया 'ग्राउंड जीरो गवर्नर', तृणमूल ने कहा, 'मर्यादा लांघ रहे हैं'

Highlightsपश्चिम बंगाल में चल रहा पंचायत चुनाव गवर्नर बनाम तृणमूल कांग्रेस होता जा रहा हैतृणमूल ने गवर्नर सीवी आनंद बोस के हिंसा प्रभावित इलाकों में किये जा रहे दौरे पर उठाया सवाल तृणमूल ने कहा कि गवर्नर राज्य में समानांतर सत्ता चला रहे हैं, जो उनके आचरण के खिलाफ है

कोलकाता: पश्चिम बंगाल में चल रहा पंचायत चुनाव गवर्नर बनाम तृणमूल कांग्रेस होता जा रहा है। जानकारी के अनुसार सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने सोमवार की रात गवर्नर सीवी आनंद बोल को लेकर राज्य चुनाव आयोग को तीन पन्नों का बेहद कड़ा पत्र लिखा। जिसमें तृणमूल ने गवर्नर की कार्यशैला पर सवाल खड़ा करते हुए आरोप लगाया कि वो अपनी मर्यादा लांघ रहे है।

खबरों के मुताबिक तृणमूल ने चुनाव आयोग से शिकायत की है कि गवर्नर सीवी आनंद बोस ने उन क्षेत्रों के दौरे किया है, जहां 8 जुलाई को मतदान के लिए हिंसा की सूचना मिली थी। राज्यपाल का वह दौरा उनकी मर्यादा के खिलाफ है।

समाचार वेबसाइट इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार सीवी आनंद बोस ने खुद को "ग्राउंड ज़ीरो गवर्नर" कहते हुए अचानक चुनावी हिसा के क्षेत्रों का दौरे करना शुरू कर दिया है और वो उन पीड़ित परिवारों से मिले, जो चुनाव हिंसा में प्रभावित हुए थे। खबरों के अनुसार गवर्नर आनंद बोस अब तक कूचबिहार के दिनहाटा के साथ भांगर, बसंती और मुर्शिदाबाद के हिंसा प्रभावित इलाकों में जा चुके हैं।

वहीं तृणमूल के दिये चुनाव आयोग की शिकायत में आरोप लगाया गया है कि गवर्नर बोस राज्य की सुविधाओं मसलन गेस्ट हाउस या सर्किट हाउस और परिवहन सुविधाओं का उपयोग भाजपा कार्यकर्ताओं से मिलने में कर रहे हैं। तृणमूल का आरोप है कि गवर्नर सीधे तौर पर आदर्श चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन कर रहे हैं और उनकी यात्रा चुनाव प्रचार के समान हैं।

तृणमूल का कहना है कि राज्य में लोकतांत्रिक सरकार के होते हुए गवर्नर एक तरह से समानांतर सरकार चला रहे हैं और वो भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर कथित तौर पर निष्पक्ष पंचायत चुनाव कराने की कोशिश कर रहे हैं। तृणमूल ने कहा कि राज्यपाल ने स्वतंत्र जांच के नाम पर चुनाव प्रक्रिया की निगरानी के लिए राजभवन में एक कथित नियंत्रण कक्ष भी स्थापित कर लिया है और वो सीधे तौर पर चुनाव प्रक्रिया में हस्तक्षेप कर रहे हैं।

दरअसल तृणमूल और राज्यपाल के बीच विवाद तब शुरू हुआ, जब पंचायत चुनाव में हिंसा की घटनाएं बढ़ने के बाद राज्यपाल आनंद ने प्रबावित क्षेत्रों में दौरा शुरू कर दिया। इतना ही नहीं राज्यपाल बोस ने हिंसा की स्थिति पर नजर रखने के लिए राजभवन में एक नियंत्रण कक्ष भी स्थापित किया, जिसे उन्होंने "शांति कक्ष" नाम दिया। शांति कक्ष में जनता उन्हें हिंसा संबंधी शिकायतें सीधा भेज सकती है।

वहीं तृणमूल की शिकायत के इतर विपक्षी दल कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अधीर चौधरी ने कहा, ''लोकतांत्रिक राज्य में राज्यपाल कहीं भी जा सकते हैं। तृणमूल उनके दौरे की आलोचना इसलिए कर रही है क्योंकि अब उसे पंचायत चुनाव में हार का डर सता रहा है। हम मुर्शिदाबाद आने वाले राज्यपाल का स्वागत करते हैं।

कांग्रेस की तरह भाजपा ने भी तृणमूल के विपरीत राज्यपाल के हिंसा प्रभावित इलाकों में किये गये दौरे को सही ठहराया है। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने कहा, “राज्यपाल इस राज्य के संवैधानिक प्रमुख हैं। इसलिए वह राज्य में लोकतंत्र बनाए रखने के लिए कुछ भी कर सकते हैं।"

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