मुख्तार अंसारी एम्बुलेंस प्रकरण में वांछित एक और इनामी बदमाश गिरफ्तार

By भाषा | Published: June 30, 2021 02:09 PM2021-06-30T14:09:03+5:302021-06-30T14:09:03+5:30

Another prize crook wanted in Mukhtar Ansari ambulance case arrested | मुख्तार अंसारी एम्बुलेंस प्रकरण में वांछित एक और इनामी बदमाश गिरफ्तार

मुख्तार अंसारी एम्बुलेंस प्रकरण में वांछित एक और इनामी बदमाश गिरफ्तार

बाराबंकी (उत्तर प्रदेश), 30 जून बसपा के बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी से जुड़े एम्बुलेंस प्रकरण में वांछित इनामी अभियुक्त शोएब मुजाहिद को बुधवार सुबह बाराबंकी जिले के जैदपुर क्षेत्र से गिरफ्तार किया गया।

इससे पहले स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) की वाराणसी इकाई ने मंगलवार शाम को इस मामले में वांछित एक अन्य अभियुक्त सलीम को लखनऊ के जानकीपुरम क्षेत्र से गिरफ्तार करके बाराबंकी शहर कोतवाली पुलिस के सुपुर्द किया था। एम्बुलेंस प्रकरण में दोनों अभियुक्तों को आज अदालत में पेश किया जाएगा।

पुलिस अधीक्षक यमुना प्रसाद ने बताया कि एम्बुलेंस मामले के वांछित अभियुक्त शोएब मुजाहिद को सुबह जैदपुर थाना क्षेत्र में रेलवे क्रॉसिंग के पास से गिरफ्तार किया गया। इससे पहले, मंगलवार को एसटीएफ ने मामले के एक अन्य अभियुक्त इनामी बदमाश सलीम को लखनऊ के जानकीपुरम से पकड़कर बाराबंकी पुलिस के हवाले किया था। दोनों आरोपियों पर बाराबंकी और गाजीपुर पुलिस ने क्रमश: 25—25 हजार रूपये और 20—20 हजार रुपये का इनाम घोषित किया था।

प्रसाद ने बताया कि दोनों अभियुक्तों को बुधवार को अदालत में पेश करके उन्हें रिमांड पर लेने का प्रयास किया जाएगा।

शहर कोतवाल पंकज सिंह के मुताबिक पूछताछ में आरोपी सलीम ने बताया कि वह पिछले 20 वर्षों से मुख्तार अंसारी के गिरोह से जुड़ा हुआ है। उसके खिलाफ गाजीपुर जिले में कई मामले दर्ज हैं। उसके साथ सुरेंद्र, रमेश और फिरोज भी मुख्तार के ड्राइवर थे। मुख्तार अंसारी के पंजाब के रोपड़ जेल में बंद होने के दौरान व इससे पहले वह जहां-जहां जाता था, ये लोग उसके द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली एम्बुलेंस को चलाते थे।

उन्होंने बताया कि एम्बुलेंस मामले में आरोपी सलीम व उसके साथी बाराबंकी में दर्ज मामले में वांछित थे। उनके खिलाफ इनाम घोषित किया गया था।

गौरतलब है कि जबरन वसूली के एक मामले में बसपा विधायक मुख्तार अंसारी को गत 31 मार्च को पंजाब के मोहाली स्थित अदालत में पेश किया गया था। अंसारी को जिस एम्बुलेंस से लाया गया था, उस पर बाराबंकी की नंबर प्लेट लगी थी। जब पुलिस ने जांच की तो पाया कि मऊ के श्याम संजीवनी अस्पताल की संचालिका अलका राय और उनके कुछ सहयोगियों ने साल 2013 में इस एम्बुलेंस का फर्जी दस्तावेजों के आधार पर पंजीकरण कराया।

इस बाबत बाराबंकी की नगर कोतवाली में मामला दर्ज किया गया, जिसमें मुख्तार अंसारी को साजिश और जालसाजी का आरोपी बनाया गया था। बाराबंकी पुलिस का कहना है कि डॉक्टर अलका राय, उनके सहयोगी डॉक्टर शेषनाथ राय, मुख्तार अंसारी, मुजाहिद, राजनाथ यादव और अन्य ने आपराधिक षड्यंत्र के तहत एम्बुलेंस के पंजीकरण के लिए फर्जी दस्तावेज तैयार किए थे। इस मामले में पुलिस ने अलका राय, शेषनाथ राय और राजनाथ यादव को गिरफ्तार किया है।

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