साँप काटने की घटनाओं पर रोक के लिए आंध्र प्रदेश सरकार 29 अगस्त को कराएगी यज्ञ, हो रही है आलोचना
By लोकमत समाचार हिंदी ब्यूरो | Published: August 27, 2018 08:09 PM2018-08-27T20:09:24+5:302018-08-27T20:09:24+5:30
आलोचकों का कहना है कि सरकार पहले भी बारिश के लिए वरूण यज्ञम जैसे यज्ञ कराती रही है। लेकिन इसका कोई प्रमाण नहीं है कि उनका सकारात्मक असर पड़ा हो।
अमरावती (आंध्र प्रदेश), 27 अगस्त: पिछले दो महीनों में कृष्णा जिले में सांप के काटने की कई घटनाएं होने के बाद सर्प देवता को प्रसन्न करने के लिए आंध्र प्रदेश सरकार की सर्पयज्ञम योजना की कई तबकों द्वारा आलोचना की गयी है।
सांप के काटने के कारण दो लोगों की मौत हो गयी है जबकि 100 से ज्यादा लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया।
मोपादेवी के प्रसिद्ध सुब्रमण्येश्वर स्वामी मंदिर में आमतौर पर लोगों द्वारा निजी अनुष्ठान किया जाता है। सरकार के धार्मिक मामलों का (एंडोमेंट) विभाग 29 अगस्त को वहीं सर्पयज्ञम और सर्प दोष निवारण पूजा की व्यवस्था करेगा।
जिला कलेक्टर बी लक्ष्मीकांतम ने कहा कि एंडोमेंट विभाग और कृष्णा जिला प्रशासन के तहत पुजारी अनुष्ठान करेंगे।
पिछले कुछ महीनों के दौरान जिले के विभिन्न स्थानों से सर्पदंश के मामले सामने आए हैं।
हालांकि सर्पयज्ञम कराने के सरकार के फैसले की आलोचना भी हो रही है। जन विज्ञान वेदिका जैसे अंधविश्वास विरोधी संगठनों ने सरकार की योजना की आलोचना करते हुए कहा कि यह अंधविश्वास को बढ़ावा देने के समान है।
उन्होंने कहा कि सरकार पहले भी बारिश के लिए वरूण यज्ञम जैसे यज्ञ कराती रही है। लेकिन इसका कोई प्रमाण नहीं है कि उनका सकारात्मक असर पड़ा हो।
सरकारी अधिकारियों ने इस संबंध में अलग राय व्यक्त की है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि इसे अंधविश्वास के तौर पर नहीं देखा जाना चाहिए। मंदिरों में कई पूजा और यज्ञ नियमित रूप से होते रहे हैं। सर्पयज्ञम उनमें से एक है।