NewsClick raids: 5 शहर, 100 जगह और 500 पुलिसकर्मी, जानें दिल्ली पुलिस ने न्यूज़क्लिक रेड की कैसे बनाई योजना
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: October 3, 2023 06:01 PM2023-10-03T18:01:54+5:302023-10-03T18:04:42+5:30
सूत्रों ने बताया कि दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल के वरिष्ठ अधिकारियों की सोमवार को हुई एक बैठक के दौरान मामले को आगे बढ़ाने का फैसला किया गया।
नई दिल्ली: मंगलवार की सुबह न्यूज़क्लिक वेबसाइट से जुड़े कई पत्रकारों के घरों पर दिल्ली पुलिस की टीमों के बीच विस्तृत योजना और व्यापक समन्वय के बाद छापेमारी की गई। न्यूज़क्लिक के खिलाफ आतंकवाद विरोधी कानून, गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम के तहत मामला 17 अगस्त को दर्ज किया गया था, जिसके कुछ दिनों बाद न्यूयॉर्क टाइम्स की जांच में आरोप लगाया गया था कि समाचार पोर्टल को चीनी प्रचार को बढ़ावा देने वाले नेटवर्क से धन प्राप्त हुआ था।
पत्रकारों की सूची तैयार की गई
सूत्रों ने बताया कि दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल के वरिष्ठ अधिकारियों की सोमवार को हुई एक बैठक के दौरान मामले को आगे बढ़ाने का फैसला किया गया। सूत्रों के मुताबिक मंगलवार को जिन पत्रकारों के घरों पर छापेमारी होगी उन सभी की सूची तैयार की गई है। फिर इन पत्रकारों को तीन श्रेणियों में विभाजित किया गया - प्रत्येक श्रेणी में उनके खिलाफ की जाने वाली कार्रवाई निर्दिष्ट की गई।
5 शहरों में 100 अधिक स्थानों में हुई रेड
दिल्ली, नोएडा, गाजियाबाद, गुड़गांव और मुंबई में 100 से अधिक स्थानों पर छापेमारी में 500 से अधिक पुलिसकर्मी शामिल हुए। हालांकि अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है, लेकिन कई वरिष्ठ पत्रकारों को पूछताछ के लिए स्पेशल सेल के कार्यालयों में ले जाया गया। आगे की जांच के लिए पत्रकारों के सेलफोन और लैपटॉप सहित उनके गैजेट जब्त कर लिए गए।
पुलिस ने तैयार की सवालों की सूची
सूत्रों के मुताबिक, पुलिस ने उपकरणों की एक सूची भी तैयार की है और छापे के दौरान मिले उपकरणों के IMEI नंबरों का मिलान किया था। 20-25 सवालों की एक सूची भी तैयार की गई है। इनमें कुछ सवाल मोदी सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के विरोध प्रदर्शन और नागरिकता कानून के खिलाफ दिल्ली के शाहीन बाग में विरोध प्रदर्शन से जुड़े हैं।
इन धाराओं के तहत हुई कार्रवाई
न्यूज़क्लिक और वेबसाइट से जुड़े पत्रकारों के खिलाफ मामले में गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम की पांच धाराओं और भारतीय दंड संहिता के तहत दो धाराओं के तहत आरोप हैं। आरोपों में आपराधिक साजिश, विभिन्न समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देना, आतंकवादी कृत्य और आतंकवादी गतिविधियों के लिए धन जुटाना शामिल है। प्रेस संगठनों ने न्यूज़क्लिक के ख़िलाफ़ कार्रवाई पर चिंता व्यक्त की है।
मीडिया संस्थाओं ने कार्रवाई की निंदा की
एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया ने एक बयान में कहा, "ईजीआई 3 अक्टूबर की सुबह वरिष्ठ पत्रकारों के आवासों पर छापे और उसके बाद उनमें से कई पत्रकारों की हिरासत को लेकर बेहद चिंतित है। राज्य से उचित प्रक्रिया का पालन करने का आग्रह करता है, और प्रेस को डराने-धमकाने के लिए कठोर आपराधिक कानूनों को उपकरण न बनाएं।" प्रेस क्लब ऑफ इंडिया ने कहा, "न्यूज़क्लिक से जुड़े पत्रकारों और लेखकों के घरों पर की गई कई छापेमारी से प्रेस क्लब ऑफ इंडिया काफी चिंतित है। हम घटनाक्रम पर नजर रख रहे हैं और एक विस्तृत बयान जारी करेंगे।"
केंद्र ने कार्रवाई को ठहराया सही
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने भुवनेश्वर में पत्रकारों से कहा कि उन्हें सुरक्षा एजेंसियों की कार्रवाई को सही ठहराने की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा, "अगर किसी ने कुछ भी गलत किया है, तो खोज एजेंसियां निर्धारित दिशानिर्देशों के तहत उनके खिलाफ जांच करने के लिए स्वतंत्र हैं।" छापेमारी को लेकर विपक्षी दलों ने सरकार पर निशाना साधा है।