Coronavirus lockdown: दुमका की सीमा में 30 हथियार बंद नक्सली घुसे, इलाके में पुलिस ने सतर्कता बढ़ाई
By भाषा | Published: May 20, 2020 02:38 PM2020-05-20T14:38:50+5:302020-05-20T14:49:51+5:30
पुलिस के द्वारा नक्सलियों के खिलाफ लगातार चलाये जा रहे अभियान और लॉकडाउन की वजह से बौखलाहट बढ़ गयी है। लॉकडाउन का व्यापक असर अब नक्सल प्रभावित इलाकों में देखने को मिल रहा है।सड़क परिवहन बंद होने के कारण नक्सलियों को रोजमर्रा की वस्तुएं नहीं मिल पा रही हैं।
दुमकाः झारखंड के बंगाल की सीमा से लगे नक्सल प्रभावित पाकुड़ जिले के अमड़ापाड़ा गाँव के पास लॉकडाउन के दौरान 30 की संख्या में हथियार बंद कथित नक्सलियों के पड़ोसी राज्यों से प्रवेश की सूचना मिली है। यह जानकारी देते हुए दुमका के पुलिस अधीक्षक अंबर लाकड़ा ने बताया कि अमड़ापाड़ा में सुरक्षा बलों के पिकेट से यह जानकारी मिली है।
दुमका के पुलिस अधीक्षक ने कहा कि इलाके में सक्रियता बढ़ा दी गई है। यह सभी बंगाल की सीमा से सटे नक्सल प्रभावित पाकुड़ के अमड़ापाड़ा गांव के पास देखे गए हैं। लॉकडाउन के दौरान 30 की संख्या में हथियारबंद नक्सलियों के बंगाल की सीमा से घुसने की सूचना मिलने पर पुलिस ने अपनी सतर्कता बढ़ा दी है। दुमका एसपी ने बताया की नक्सलियों के घुसने की सूचना मिली है, जिसके बाद से इलाके में पुलिस ने अपनी सतर्कता बढ़ा दी है। अमड़ापाड़ा में सुरक्षाबलों के पिकेट से 18 मई की रात यह जानकारी मिली थी। इसके बाद नक्सलियों के खिलाफ सर्च ऑपरेशन चलाया गया।
महाराष्ट्रः नक्सलियों ने गढ़चिरोली में चार गाड़ियों को आग लगाई
महाराष्ट्र के गढ़चिरोली जिले में नक्सलियों ने चार ट्रकों को आग लगा दी। यह घटना उनके एक सहयोगी के मारे जाने के विरोध में बुलाए गए बंद से पहले हुई है। गढ़चिरोली के पुलिस अधीक्षक के दफ्तर से जारी एक विज्ञप्ति में बुधवार को बताया गया कि घटना सवारगांव-मुरुमगांव सड़क पर मंगलवार की आधी रात के आसपास हुई।
एक अधिकारी ने बताया कि नक्सलियों ने धनोरा तालुका में सड़क अवरुद्ध कर दी और चार गाड़ियों को आग लगा दी। नक्सलियों ने महिला चरमपंथी स्रुज्जनक्का के मारे जाने के विरोध में बुधवार को जिले में बंद बुलाया था। उसे पुलिस ने एक मई को मार गिराया था। पुलिस ने विज्ञप्ति में बताया कि महिला के खिलाफ गड़चिरोली में 34 आदिवासियों की हत्या समेत करीब 155 गंभीर मामले दर्ज थे। रविवार को जिले के पोयरकोटी-कोपर्षी जंगल में नक्सलियों के साथ मुठभेड़ में दो पुलिस कर्मी शहीद हो गए थे और तीन अन्य घायल हो गए थे।
झारखंड में दस लाख का इनामी टीएसपीसी नक्सली कमांडर गिरफ्तार
झारखंड की चतरा पुलिस ने तृतीय सम्मेलन प्रस्तुति कमिटी (टीएसपीसी) के नक्सलियों के विरुद्ध कार्रवाई के दौरान दस लाख रुपये के इनामी जोनल कमांडर विकास उर्फ अविनाश उर्फ दशरथ गंझू को कुंदा थाना क्षेत्र से सोमवार को गिरफ्तार किया। पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि पुलिस अधीक्षक ऋषभ झा को मिली गुप्त सूचना के आधार पर कार्यवाई में टीएसपीसी के जोनल कमांडर विकास को सोमवार को जिले के नक्सल प्रभावित कुंदा थाना क्षेत्र अंतर्गत मदगड़ा गांव के एकता टोला स्थित उसके घर से गिरफ्तार किया।
उन्होंने बताया कि लगातार सूचना मिल रही थी कि तृतीय सम्मेलन प्रस्तुति कमेटी का जोनल कमांडर विकास संगठन के एरिया कमांडर निर्भय व बलवंत के साथ चतरा, हजारीबाग एवं लातेहार जिला के सीमावर्ती क्षेत्र केंदु, कसारी, कसियातु, करमताड़, कान्हूखाप, टूटकी, चोपे, तिबाब व भयपुर समेत एक दर्जन गांवों में सक्रिय है।
यह भी जानकारी मिली थी कि नक्सली क्षेत्र में कार्यरत कोयला कारोबारियों, ठेकेदारों व लघु उद्योग संचालकों को डरा-धमकाकर लेवी वसूली का भी काम कर रहे हैं। इस सूचना पर त्वरित कार्रवाई करते हुए सिमरिया थाना प्रभारी लव कुमार सिंह के नेतृत्व में जिला पुलिस की संयुक्त टीम बनाकर अभियान को अंजाम दिया गया। अभियान के दौरान ही विकास की गिरफ्तारी उसके घर से हुई। उन्होंने बताया कि गिरफ्तार जोनल कमांडर के विरूद्ध चतरा, हजारीबाग और लातेहार जिले के विभिन्न थानों में 11 नक्सल व अपराधिक मामले दर्ज हैं।