ODI World Cup 2003: 2003 में खेले गए विश्वकप के दौरान सचिन ने एक भी दिन नेट्स पर बल्लेबाजी नहीं की, हरभजन ने कहा-टूर्नामेंट में 600 से अधिक रन बनाए

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By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: April 22, 2023 04:30 PM2023-04-22T16:30:23+5:302023-04-22T16:31:20+5:30

ODI World Cup 2003 played in South Africa Sachin Tendulkar did not bat nets single day Harbhajan Singh said Scored more than 600 runs tournament | ODI World Cup 2003: 2003 में खेले गए विश्वकप के दौरान सचिन ने एक भी दिन नेट्स पर बल्लेबाजी नहीं की, हरभजन ने कहा-टूर्नामेंट में 600 से अधिक रन बनाए

ढेर सारी यादें हैं। मेरे जीवन में मार्गदर्शक का काम किया है। (file photo)

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Highlightsहरभजन से जब तेंदुलकर से जुड़ी यादों को साझा करने के लिए कहा गया तो वह हंस पड़े।ढेर सारी यादें हैं। मेरे जीवन में मार्गदर्शक का काम किया है। तेंदुलकर की प्रतिभा को समझने के लिए एक छोटी सी कहानी ही पर्याप्त होगी।

ODI World Cup 2003: कोई भी क्रिकेटर संपूर्ण नहीं होता लेकिन अगर कोई पूर्णता के करीब है तो फिर हरभजन सिंह के दिमाग में एक ही नाम आता है और वह है सचिन तेंदुलकर का। हरभजन ने तेंदुलकर के 50वें जन्मदिन से पूर्व कहा,‘‘ पाजी (तेंदुलकर को उनके जूनियर साथी इसी नाम से पुकारते हैं) संभवत: वह क्रिकेटर हैं जो संपूर्ण होने के काफी करीब है।

निश्चित रूप से एक व्यक्ति के रूप में वह आदर्श व्यक्ति हैं तथा हमारे देश में उनके असंख्य समर्थकों और भगवान जैसा दर्जा मिलने के बावजूद जिंदगी को सम्मान और विनम्रता के साथ कैसे जीना चाहिए इसका वह शानदार उदाहरण हैं।’’ हरभजन से जब तेंदुलकर से जुड़ी यादों को साझा करने के लिए कहा गया तो वह हंस पड़े।

उन्होंने कहा,‘‘ ढेर सारी यादें हैं। उन्होंने मेरे जीवन में मार्गदर्शक का काम किया है। उनसे जुड़ी कई व्यक्तिगत और भावनात्मक यादें हैं जिन्हें मैं अपनी कहानी के लिए सुरक्षित रखूंगा लेकिन फिर भी मैं कुछ आपके साथ साझा कर सकता हूं।’’ हरभजन ने कहा,‘‘ तेंदुलकर की प्रतिभा को समझने के लिए एक छोटी सी कहानी ही पर्याप्त होगी।

दक्षिण अफ्रीका में 2003 में खेले गए विश्वकप के दौरान पाजी ने एक भी दिन नेट्स पर बल्लेबाजी नहीं की थी।’’ उन्होंने कहा,‘‘ भारतीय गेंदबाजी आक्रमण अच्छा प्रदर्शन कर रहा था लेकिन जवागल श्रीनाथ, आशीष नेहरा, जहीर खान, अनिल कुंबले या मैंने टूर्नामेंट के दौरान नेट्स पर उन्हें एक भी गेंद नहीं की।’’

तेंदुलकर ने उस टूर्नामेंट में 600 से अधिक रन बनाए जिसमें पाकिस्तान के खिलाफ सेंचुरियन में खेली गई 98 रन की ऐतिहासिक पारी भी शामिल है जिसमें उन्होंने शोएब अख्तर की गेंद पर थर्ड मैन के ऊपर से छक्का लगाया था। तो फिर तेंदुलकर विश्वकप के दौरान मैचों के लिए कैसे तैयारी करते थे।

इस पर हरभजन ने कहा,‘‘ उस समय आज की तरह थ्रो डाउन की मशीन नहीं हुआ करती थी लेकिन हमारे साथ एक व्यक्ति श्यामल थे जो पाजी को 18 गज और कभी-कभी 16 गज से थ्रो डाउन करते थे। वह घंटों तक इस तरह से अभ्यास करते थे।’’ 

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