लाइव न्यूज़ :

अनुपालन न करने के लिए ट्विटर को दंडित किया जाना चाहिए: टी वी मोहनदास पई

By भाषा | Updated: June 16, 2021 19:15 IST

Open in App

बेंलगुरु, 16 जून सूचना प्रौद्योगिकी उद्योग के दिग्गज टी वी मोहनदास पई ने बुधवार को सरकार से मांग की कि वह मध्यस्थ दिशानिर्देशों का पालन न करने के लिए ट्विटर को दंडित करे। उन्होंने साथ ही आरोप लगाया कि माइक्रोब्लॉगिंग साइट वैचारिक रूप से निष्पक्ष नहीं है।

शीर्ष आईटी कंपनी इंफोसिस के पूर्व मुख्य वित्त अधिकारी ने साथ ही कहा कि सरकार को कानूनी नियम लागू करते हुए ट्विटर को आईटी नियमों का पालन न करने के लिए दंडित करना चाहिए तथा सरकार को "अनुपालन के लिए अनुरोध" करने की जरूरत नहीं है।

पई ने पीटीआई-भाषा से कहा, "लगभग सभी कंपनियों ने अनुपालन किया और ट्विटर या कोई भी दूसरी कंपनी खास नहीं है। भारत की संप्रभुता और कानून किसी भी बहुराष्ट्रीय कंपनी से ज्यादा महत्वपूर्ण हैं।"

उन्होंने कहा कि ट्विटर को नियमों के पालन के लिए काफी समय दिया गया और कंपनी "बहुत वैचारिक एवं पक्षपातपूर्ण बन गयी है तथा यह वह निष्पक्ष मंच नहीं रही जो यह पहले हुआ करती थी, जिसकी बहुत सारे लोग सराहना करते थे।"

पई ने कहा कि सरकार को प्रतिस्पर्धा को बढ़ावा देकर और ग्राहकों की सुरक्षा के लिए उचित नियम लाकर यह सुनिश्चित करना चाहिए कि भारत अब और वैश्विक प्रौद्योगिकी कंपनियों के एकाधिकार का मोहताज न हो।

उन्होंने कहा, "इस समय सभी नागरिक इन वैश्विक प्रौद्योगिकी कंपनियों के एकाधिकार के निरंकुश एक तरफा रवैये के मोहताज हैं।"

पई ने कहा, "जब भारतीय कंपनियां दुनिया भर में काम करती हैं, वे उन देशों के कानूनों का पालन करती हैं और इस बात का औचित्य नहीं है कि भारत अपने कानूनों का पालन न करने वाली इन बहुराष्ट्रीय कंपनियों के साथ नरमी बरते। कानून के तहत सब बराबर हैं।"

इससे पहले बुधवार को सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि ट्विटर मध्यस्थ नियमों का पालन करने में विफल रहा और उसने कई अवसर मिलने के बावजूद ‘‘जानबूझकर’’ इनका पालन नहीं करने का रास्ता चुना।

नियमों का पालन ना करने को लेकर सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर निशाना साधते हुए प्रसाद ने कहा कि यह ‘‘आश्चर्यजनक’’ है कि स्वयं को स्वतंत्र अभिव्यक्ति के समर्थक के रूप में पेश करने वाला ट्विटर, जब मध्यस्थ दिशानिर्देशों की बात आती है तो जानबूझ कर अवज्ञा का रास्ता चुनता है।

प्रसाद ने स्वेदशी सोशल मीडिया मंच ‘कू’ पर सिलसिलेवार पोस्ट में कहा, ‘‘ इस बात को लेकर कई सवाल उठ रहे हैं कि क्या ट्विटर संरक्षण प्रावधान का हकदार है। इस मामले का सामान्य तथ्य यह है कि ट्विटर 26 मई से लागू हुए मध्यस्थ दिशानिर्देशों का पालन करने में विफल रहा है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Open in App

संबंधित खबरें

क्रिकेटIND Vs SA 5th T20I: आज क्यों नहीं खेल रहे हैं शुभमन गिल? भारत के उप-कप्तान को लेकर BCCI ने मेडिकल अपडेट जारी किया

क्रिकेटU19 Asia Cup 2025: श्रीलंका को हराकर अंडर-19 एशिया कप के फाइनल में पहुँचा भारत, PAK से होगी खिताबी जंग

भारतहरियाणा सरकार पर जनता का नॉन-स्टॉप भरोसा, मुख्यमंत्री

भारतमध्य प्रदेश: '2047 तक प्रदेश की इकोनॉमी 2.5 ट्रिलियन डॉलर होगी', मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने विधानसभा के विशेष सत्र को किया संबोधित

भारतBMC छोड़ सभी निकायों में सीट बंटवारा पूरा?, राज और उद्धव ठाकरे में गठजोड़, ऐलान 20-25 दिसंबर के बीच

कारोबार अधिक खबरें

कारोबारगृह मंत्री की डेड लाइन से पहले हमने खत्म कर दिया नक्सलवाद, नक्सलियों के पास थे पाकिस्तानी सेना जैसे हथियार?, सीएम मोहन यादव ने विधानसभा में रखे विचार

कारोबारस्वास्थ्य क्षेत्र में 42000 नई नौकरी, मुख्यमंत्री यादव ने विधान सभा पटल पर रखा पक्ष

कारोबार5 साल में हवाई अड्डों कारोबार में 01 लाख करोड़ रुपये का निवेश करने की योजना, अदाणी एयरपोर्ट्स के निदेशक जीत अदाणी ने कहा-लाखों नौकरी की संभावना

कारोबारविधानसभा चुनाव में महिला को 10000 रुपये?,  मुफ़्त बिजली, महिलाओं को 2-2 लाख की मदद और लोकलुभावन वादों ने नीतीश सरकार की तोड़ी कमर?

कारोबार31 दिसंबर से पहले ये 4 काम कर लें पूरे, वरना नए साल में होगा भारी नुकसान