49 years Emergency: 40000 रुपये पेंशन, स्वतंत्रता सेनानियों, आश्रितों, आपातकाल ‘पीड़ितों’ और मातृभाषा सत्याग्रहियों को तोहफा, एक जुलाई से लागू
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: June 26, 2024 18:25 IST2024-06-26T18:24:37+5:302024-06-26T18:25:27+5:30
49 years Emergency: सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर पोस्ट किया कि नयी पेंशन दरें एक जुलाई से लागू होंगी।

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49 years Emergency:हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने स्वतंत्रता सेनानियों, उनके आश्रितों के साथ ही आपातकाल ‘‘पीड़ितों’’ और मातृभाषा सत्याग्रहियों की मासिक पेंशन में अच्छी खासी बढ़ोतरी की मंगलवार को घोषणा की। सैनी ने कहा कि स्वतंत्रता सेनानियों और उनके आश्रितों की पेंशन 25,000 रुपये से बढ़ाकर 40,000 रुपये कर दी गई है। आपातकाल ‘‘पीड़ितों’’ और मातृभाषा सत्याग्रहियों की पेंशन बढ़ाकर 20,000 रुपये कर दी गई है। सैनी ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर पोस्ट किया कि नयी पेंशन दरें एक जुलाई से लागू होंगी।
यह घोषणा ऐसे समय में की गई है जब हरियाणा में अक्टूबर में विधानसभा चुनाव होने हैं। हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने पिछले साल अक्टूबर में 1957 के ‘हिंदी आंदोलन’ में भाग लेने वाले ‘मातृभाषा सत्याग्रहियों’ और ‘‘आपातकाल पीड़ितों’’ की पेंशन राशि बढ़ाने की घोषणा की थी।
वर्ष 1957 में, तत्कालीन पंजाब के हिंदी भाषी क्षेत्रों के कई लोगों ने अपनी मातृभाषा के सम्मान, प्रचार और क्रियान्वयन के लिए संघर्ष शुरू किया था। उन्हें ‘मातृभाषा सत्याग्रही’ के रूप में जाना जाता है। करीब सात साल पहले, हरियाणा की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार ने राज्य के उन निवासियों को मासिक पेंशन देने का फैसला किया था जो जून 1975 से मार्च 1977 के बीच आपातकाल के दिनों में ‘‘पीड़ित’’ थे और जेल गए थे।