लाइव न्यूज़ :

'सांड की आंख' की शूटर दादी ने शेयर की अपनी कहानी- बताया, 60 वर्ष की उम्र में स्थानीय राइफल क्लब में शूटिंग सीखनी की थी शुरू

By भाषा | Updated: September 23, 2019 14:51 IST

प्रकाशी ने वर्ष 2000 में वेटरन श्रेणी में पहली महिला उत्तरप्रदेश राज्य स्वर्ण पदक पुरस्कार जीता था। फिल्म में भूमि ने चंद्रो और तापसी ने प्रकाशी की भूमिका निभाई है और वे अब भी बुजुर्ग महिलाओं के संपर्क में हैं।

Open in App
ठळक मुद्दे बागपत के जोहरी गांव की दो महिलाओं ने 60 वर्ष की उम्र में स्थानीय राइफल क्लब में शूटिंग सीखनी शुरू की, लोकप्रिय हुईं, चंद्रो ने पीटीआई को दिए साक्षात्कार में कहा, ‘‘मैं जानती थी कि मुझे घर से अनुमति नहीं मिलेगी।

 यह कहानी बहुत फिल्मी है। बागपत के जोहरी गांव की दो महिलाओं ने 60 वर्ष की उम्र में स्थानीय राइफल क्लब में शूटिंग सीखनी शुरू की, लोकप्रिय हुईं, काफी ट्रॉफियां जीतीं और अब उन पर बॉलीवुड की फिल्म -- ‘‘सांड की आंख’’ रिलीज होने वाली है।

चंद्रो ने 1999 में अचानक शूटिंग शुरू की थी जब उनकी पोती शेफाली ने जोहरी राइफल क्लब में शूटिंग सीखना शुरू किया था। तब चंद्रो की उम्र 60 वर्ष के करीब थी। चूंकि क्लब लड़कों का था, इसलिए शेफाली ने अपनी दादी को मनाया और कहा कि वह वहां अकेले जाने में डरती है। 87 वर्षीय चंद्रो ने बताया, ‘‘मैंने उसे कहा कि मैं तुम्हारे साथ हूं और डरने की कोई जरूरत नहीं है ।’’ चंद्रो का पैर टूट गया है और वह बिस्तर पर पड़ी हुई हैं।

रेंज में शेफाली जब पिस्तौल में गोलियां नहीं डाल पाई तो चंद्रो ने उसकी मदद की, उसकी जगह पोजिशन लिया, लक्ष्य पर निशाना लगाया और पूरे दस लक्ष्य भेदे जिसे ‘बुल्सआई’ या ‘‘सांड की आंख’’ कहते हैं। फिल्म बन जाने के कारण यह शब्द काफी लोकप्रिय हो गया है जो दिवाली पर रिलीज होगी और इसमें भूमि पेडणेकर तथा तापसी पन्नू ने भूमिकाएं निभाई हैं। क्लब के लड़के और कोच फारूक पठान उनके कौशल से आश्चर्यचकित थे और सुझाव दिया कि वह प्रशिक्षण लेकर शूटर बन जाएं।

चंद्रो ने पीटीआई को दिए साक्षात्कार में कहा, ‘‘मैं जानती थी कि मुझे घर से अनुमति नहीं मिलेगी। लेकिन जब बच्चों ने मुझे प्रोत्साहित किया, मुझमे शूटिंग की रूचि जगी।’’ उनका दिन सुबह चार बजे शुरू होता है। उन्होंने कहा, ‘‘मैं खेतों में एक जग पानी के साथ अभ्यास करने जाती थी और निशाना लगाती थी और डर लगता था कि कहीं पकड़ी नहीं जाऊं।’’ दो हफ्ते बाद उनकी रिश्तेदार प्रकाशी भी उनके नक्शेकदम पर चल पड़ी। प्रकाशी अब 82 वर्ष की हो गई है। जोहरी आटा चक्की के लिए मशहूर था और अब इस गांव में देश भर से शूटर आते हैं।

प्रकाशी ने वर्ष 2000 में वेटरन श्रेणी में पहली महिला उत्तरप्रदेश राज्य स्वर्ण पदक पुरस्कार जीता था। फिल्म में भूमि ने चंद्रो और तापसी ने प्रकाशी की भूमिका निभाई है और वे अब भी बुजुर्ग महिलाओं के संपर्क में हैं। उनके घर के पास ‘शूटर दादी’ के बोर्ड लगे हैं जिस पर ‘बेटी बचाओ, बेटी खिलाओ, बेटी पढ़ाओ’ भी लिखा हुआ है। खिलाओ का मतलब खेलने देने से है। प्रकाशी ने कहा, ‘‘लड़की को खुश होना चाहिए चाहे वह पिता के घर में हो या पति के घर में।’’ 

Open in App

संबंधित खबरें

भारतPariksha Pe Charcha 2026: 11 जनवरी तक कराएं पंजीकरण, पीएम मोदी करेंगे चर्चा, जनवरी 2026 में 9वां संस्करण

क्रिकेटIND vs SA 3rd ODI: 10 ओवर, 41 रन और 4 विकेट, कुलदीप यादव ने किया कमाल

क्रिकेटNew Zealand vs West Indies, 1st Test: 72 पर 4 विकेट और 457 रन बनाकर मैच ड्रा?, जस्टिन ग्रीव्स ने खेली कमाल की पारी, 388 गेंद, 206 रन और 19 चौके

भारत‘सिटीजन सर्विस पोर्टल’ की शुरुआत, आम जनता को घर बैठे डिजिटल सुविधाएं, समय, ऊर्जा और धन की बचत

भारतआखिर गरीब पर ही कार्रवाई क्यों?, सरकारी जमीन पर अमीर लोग का कब्जा, बुलडोजर एक्शन को लेकर जीतन राम मांझी नाखुश और सम्राट चौधरी से खफा

बॉलीवुड चुस्की अधिक खबरें

बॉलीवुड चुस्कीDhurandhar Part 2 release date out: रणवीर सिंह की फिल्म यश की 'टॉक्सिक' और 'धमाल 4' से करेगी क्लैश

बॉलीवुड चुस्कीDhurandhar: फिल्म में दानिश पंडोर निभा रहे हैं उज़ैर बलूच का किरदार, कराची का खूंखार गैंगस्टर जो कटे हुए सिरों से खेलता था फुटबॉल, देखें उसकी हैवानियत

बॉलीवुड चुस्कीगूगल पर सबसे ज्यादा सर्च की गई फिल्में 2025, जिन्होंने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए, देखें पूरी लिस्ट

बॉलीवुड चुस्कीबहन कृतिका की हल्दी सेरेमनी में कार्तिक आर्यन का डांस, देखें तस्वीरें

बॉलीवुड चुस्कीWATCH: कार्तिक आर्यन ने बहन की हल्दी की रस्म में किया सलमान खान का चर्चित टॉवल डांस, भोजपुरी सॉन्ग में भी हिलाई कमरिया