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कोरोना की शुरुआत का रहस्य बरकरार, जानवरों से संक्रमण के अध्ययन पर वैज्ञानिकों का ध्यान

By भाषा | Updated: December 10, 2021 16:16 IST

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वाशिंगटन, 10 दिसंबर (एपी) कोविड-19 महामारी की शुरुआत हुए करीब दो साल हो चुके हैं, लेकिन यह वायरस कहां से दुनिया में फैला यह अब भी रहस्य बना हुआ है।

ज्यादातर वैज्ञानिकों का मानना ​​है कि यह वायरस जंगल में उभरा और चमगादड़ से इंसानों में सीधे या किसी अन्य जानवर के माध्यम से पहुंचा। जबकि कुछ लोगों का कहना ​​है कि चीन की प्रयोगशाला से इस वायरस की शुरुआत हुई। संक्रमण से अब तक 52 लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है।

वैज्ञानिक इस सभावना पर ध्यान केंद्रित करने की कोशिश कर रहे हैं कि ‘जूनोटिक’ यानी जानवर-से-इंसान में वायरस के पहुंचने के सिद्धांत से अगर सीख लें तो मानव जाति को नए वायरस और स्वरूप से बचाने में मदद मिलेगी।

यूटा विश्वविद्यालय के वैज्ञानिक स्टीफन गोल्डस्टीन ने कहा, ‘‘प्रयोगशाला से वायरस की शुरुआत होने की थ्योरी पर बहुत ध्यान दिया गया है। हालांकि, इस बात का कोई सबूत नहीं है कि यह वायरस एक प्रयोगशाला में बना।’’ अगस्त में शोध पत्रिका ‘सेल’ में जानवरों से वायरस की उत्पत्ति के सबूत पेश किए गए।

अध्ययन में सहयोग करने वाले एरिजोना विश्वविद्यालय में जीवविज्ञानी माइकल वोरोबे ने पिछली गर्मियों में अन्य वैज्ञानिकों के साथ एक पत्र पर हस्ताक्षर किए थे, जिसमें कहा गया था कि दोनों सिद्धांत की संभावना है। उन्होंने कहा कि उनके अपने और दूसरों वैज्ञानिकों के अध्ययन ने उन्हें जानवरों की परिकल्पना के बारे में और भी अधिक आश्वस्त किया है, जो कि ‘‘डेटा द्वारा अधिक समर्थित है।’’

वोरोबे ने चीन के वुहान में समुद्री जीव-जंतुओं की बिक्री वाली जगह से इंसानों में वायरस के पहुंचने का घटनाक्रम प्रस्तुत किया है। उन्होंने कहा कि प्रयोगशाला से वायरस के लीक होने का विचार निश्चित रूप से उन सिद्धांतों से ध्यान बंटाने वाला है कि आखिर में क्या हुआ था।

वैज्ञानिकों ने ‘सेल’ में प्रकाशित अध्ययन में कहा है कि इंसानों को संक्रमित करने वाला सार्स कोव-2 का यह नौवां कोरोना वायरस है जिसके दस्तावेज तैयार किए गए हैं। सभी तरह के कोरोना वायरस की शुरुआत पूर्व में जानवरों से ही हुई थी।

कई वैज्ञानिकों का मानना है कि जंगली जानवरों ने वायरस का प्रसार किया। इसके मायने ये हैं कि जानवर चमगादड़ से संक्रमित हुए और फिर यह वायरस इंसानों तक पहुंचा। वैज्ञानिक चमगादड़ की उस प्रजाति का भी पता लगा रहे हैं जिससे यह वायरस आगे बढ़ा।

इस साल की शुरुआत में, विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) और चीन की एक संयुक्त रिपोर्ट ने चमगादड़ से इंसानों में किसी अन्य जानवर के माध्यम से वायरस के संचरण को सबसे संभावित परिदृश्य बताया और प्रयोगशाला से वायरस की शुरुआत की थ्योरी को ‘‘बेहद असंभव’’ बताया।

डब्ल्यूएचओ ने महामारी की शुरुआत कहां से हुई, इसका अध्ययन करने के लिए एक परामर्श समूह का गठन भी किया था लेकिन वैज्ञानिकों में इस संबंध में किसी निष्कर्ष पर पहुंचने की संभावना बहुत कम है। जॉर्जटाउन विश्वविद्यालय के लॉरेंस गोस्टिन ने कहा, ‘‘महामारी की शुरुआत कहां से हुई इसकी जांच को लेकर देशों के बीच कोई सामंजस्य नहीं है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

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