तैमूर बकरे और अमुर बाघ की दोस्ती, प्यार भरी कहानी ने जीता दिल, लेकिन दरार पड़ने के बाद बकरे ने तोड़ा दम
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: November 10, 2019 01:50 PM2019-11-10T13:50:30+5:302019-11-10T13:50:30+5:30
सफारी पार्क के निदेशक दिमित्री मेजेंत्सेव ने शुक्रवार को रूसी बकरे की मौत की जानकारी दी। उन्होंने बताया, ‘‘तैमूर के दिल ने पांच नवंबर को धड़कना बंद कर दिया था।’’ उसकी देखभाल करने वाली एल्विरा गोलोविना ने एक बयान में बताया कि पांच वर्षीय बकरे का ‘‘पूरे राजकीय सम्मान’’ के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।
रूस के एक सफारी पार्क में बाघ और बकरे की दोस्ती की प्यार भरी कहानी ने पूरी दुनिया का दिल जीत लिया था लेकिन उनका उतना ही दिल भी तोड़ा जब इस दोस्ती में दरार पड़ गयी और इसी दरार के चलते तैमूर नाम के बकरे ने दम तोड़ दिया।
सफारी पार्क के निदेशक दिमित्री मेजेंत्सेव ने शुक्रवार को रूसी बकरे की मौत की जानकारी दी। उन्होंने बताया, ‘‘तैमूर के दिल ने पांच नवंबर को धड़कना बंद कर दिया था।’’ उसकी देखभाल करने वाली एल्विरा गोलोविना ने एक बयान में बताया कि पांच वर्षीय बकरे का ‘‘पूरे राजकीय सम्मान’’ के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।
मेजेंत्सेव ने बताया कि बकरे की प्राकृतिक कारणों से मौत हुई लेकिन नर साइबेरियाई बाघ के साथ झगड़े के बाद उसकी हालत बिगड़ गयी थी। इस बाघ से उसने 2015 में दोस्ती की थी। उस समय तैमूर को साइबेरियाई बाघ अमुर के भोजन के लिए उसके बाड़े में भेजा गया था लेकिन बाघ ने उसे हाथ तक नहीं लगाया क्योंकि बकरे ने न कोई शिकन दिखाई और न ही कोई डर दिखाया।
इसके बाद दोनों इतने पक्के दोस्त बन गए कि एक साथ खाने और खेलने लगे। बाघ ने बकरे को शिकार करना सिखाने की भी कोशिश की लेकिन इस दोस्ती में उस समय दरार पड़नी शुरू हो गयी जब बकरा ज्यादा दुस्साहसी हो गया और बाघ के वर्चस्व को चुनौती देने लगा। मेजेंत्सेव ने कहा, ‘‘तैमूर ने करीब एक महीने तक बाघ को परेशान किया।’’ उन्होंने बताया कि जनवरी 2016 में बाघ के सब्र का बांध उस समय टूट गया जब बकरा उसके ऊपर चढ़ गया।
फिर उसने तैमूर को पकड़ा तथा उसे एक पहाड़ी से नीचे फेंक दिया। बाघ-बकरे को अलग कर दिया गया लेकिन तब से तैमूर की तबीयत बिगड़ने लगी। पार्क ने बकरे को इलाज के लिए मॉस्को भेजा लेकिन वह बाघ के हमले से पूरी तरह उबर नहीं पाया।
बाघ अभी जीवित है और सफारी पार्क में रहता है। अधिकारियों ने अब तैमूर की कब्र पर कांस्य स्मारक बनाने की योजना बनायी है। कई रूसी नागरिकों ने तैमूर की मौत पर दुख जताया है।