इस्लामाबाद:पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने रविवार को इस्लामाबाद में एक बड़ी रैली को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने दावा किया कि वह अपनी सरकार को हटाने के उद्देश्य से एक "विदेशी साजिश" का विषय थे और "विदेशों से पाकिस्तान में फंडिंग की जा रही थी"। बता दें कि खान पर विपक्ष द्वारा साल 2018 में सत्ता में आने के बाद से उनके नेतृत्व के लिए सबसे गंभीर चुनौती में अर्थव्यवस्था और विदेश नीति के गलत प्रबंधन का आरोप लगाया गया है।
खान ने अपनी पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी की रैली को इस्लामाबाद के परेड ग्राउंड में संबोधित करते हुए कहा कि देश की विदेश नीति तय करने के लिए विदेशी तत्व स्थानीय राजनेताओं का इस्तेमाल कर रहे हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि उनके दावों की पुष्टि करने वाला एक पत्र सबूत के तौर पर उनके पास है। डेढ़ घंटे से भी अधिक लंबे अपने भाषण में खान ने कहा, "पाकिस्तान में सरकार बदलने के लिए विदेशी धन के जरिये कोशिश की जा रही है। हमारे लोगों का इस्तेमाल किया जा रहा है। ज्यादातर लोग इससे अनजान हैं लेकिन कुछ लोग हमारे खिलाफ इस धन का इस्तेमाल कर रहे हैं।"
उन्होंने कहा, "हम जानते हैं कि हम पर दबाव बनने के लिए क्या कोशिश की जा रही है। हमें लिखित में धमकी दी गई है लेकिन हम राष्ट्रीय हितों से समझौता नहीं करेंगे। ’’" रैली को संबोधित करते हुए इमरान खान ने कहा कि जब हम पांच साल पूरा करेंगे, तो सारा मुल्क देखेगा कि कभी इतिहास में दूसरी किसी सरकार ने उतनी गरीबी कम नहीं की, जितनी हमने की। उन्होंने कहा कि मैं 25 साल पहले राजनीति में एक ही चीज़ के लिए आया था और वो ये थी कि पाकिस्तान जिस नजरिए के साथ बनाया गया था उसे आगे बढ़ा सकूं।
उन्होंने कहा कि जो काम हमने तीन साल में किए हैं वैसे काम हमसे पहले किसी ने नहीं किए थे। इमरान खान एक गठबंधन सरकार का नेतृत्व कर रहे हैं। खान के सहयोगी दल उनसे किनारा कर रहे हैं जबकि उनकी पार्टी के करीब दो दर्जन सांसद उनके खिलाफ बगावत कर रहे हैं। खान (69) की पार्टी के 342 सदस्यीय नेशनल असेंबली में 155 सदस्य हैं और सरकार में बने रहने के लिए कम से कम 172 सांसदों के समर्थन की जरूरत होगी।