अमेरिका में रहने वाले पाकिस्तान गिलगित क्षेत्र के एक कार्यकर्ता (activist) ने दावा किया है कि पाकिस्तान के उर्दू मीडिया में ऐसी खबरें हैं भारत के एयर स्ट्राइक के बाद कुछ शव को बालाकोट से खैबर पख्तूनख्वा और दूसरे कबायली इलाके में ले जाया गया है। भारत ने पुलवामा अटैक के 12 दिन बार पाकिस्तान में आतंकी ठिकानों पर एयर स्ट्राइक किया था और सूत्रों के हवाले से कई आतंकियों के मारे जाने की खबर आई थी। हालांकि, पाकिस्तान इससे इनकार करता रहा है।
अमेरिका में रहने और मूल रूप से गिलगित के सेंगे हसनन सेरिंग ने ट्वीट किया, 'पाकिस्तानी सेना के अधिकारियों ने माना है कि भारत की ओर से किये गये स्ट्राइक में 200 से ज्यादा आतंकी मारे गये। वे आतंकियों को मुजाहिद कहते हैं जो पाकिस्तान सरकार के समर्थन में दुश्मनों से लड़ने के लिए अल्लाह से खास इनायत पाते हैं।'
न्यूज एजेंसी एएनआई के अनुसार सेरिंग ने बताया, 'मैं नहीं जानता कि ये वीडियो कितना सही है लेकिन बालाकोट में जो हुआ उसे लेकर पाकिस्तान निश्चित तौर पर कुछ छिपा रहा है। अंतर्राष्ट्रीय और स्थानीय मीडिया को क्षेत्र में जाने और वहां हुए नुकसान को देखने की इजाजत नहीं दी गई। पाकिस्तान यह दावा कर रहा है कि स्ट्राइक हुआ और इससे जंगलों और खेती की जमीन को कुछ नुकसान हुआ। हालांकि, फिर इसका कोई कारण समझ नहीं आता कि इतने लंबे समय तक क्यों इंटरनेशनल मीडिया से दूर रखा गया।'
सेरिंग ने साथ ही कहा, 'जैश-ए-मोहम्मद दावा कर रहा है कि कि उसका मदरसा वहां था। इसी उर्दू मीडिया में भी ऐसी रिपोर्ट्स हैं कि कुछ दिन पर कुछ शवों को बालाकोट से खैबर पख्तुनख्वा और दूसरे कबायली इलाकों में ले जाया गया है। इसलिए बहुत से सबूत हैं जिससे कोई यह अंदाजा लगा सकता है कि भारतीय वायुसेना का स्ट्राइक सफल रहा था और पाकिस्तान कोई सबूत नहीं दो सका है क्योंकि उसने इंटरनेशनल या नेशनल मीडिया को जाने की इजाजत नहीं दी है।'
बता दें कि पुलवामा में सीआरपीएफ जवानों पर 14 फरवरी को हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने जवाबी कार्यवाई करते हुए पाकिस्तान को बालाकोट में आतंकी ठिकानों पर एयर स्ट्राइक किया था। इसके बाद भारतीय विदेश सचिव विजय गोखले ने 26 फरवरी को बताया कि एयर स्ट्राइक में 'बड़ी संख्या में आतंकवादी' हताहत गुए। पाकिस्तान हालांकि जैश-ए-मोहम्मद के ट्रेनिंग कैंप पर हमले में किसी नुकसान की खबर से इनकार किया है।