इटली में कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्या 6 हजार से पार, 1573 की हालत गम्भीर
By धीरज पाल | Published: March 24, 2020 04:16 PM2020-03-24T16:16:11+5:302020-03-24T17:22:40+5:30
कोरोना वायरस (Covid-19) से पूरी दुनिया में सबसे ज्यादा इटली में मौतें हुई हैं। इटली में कोविड-19 से कुल 63,927 पीड़ित पाये गये हैं।
इटली में कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्या 6077 हो गयी है। मंगलवार (24 मार्च) को इटली में कोरोना से मौत के सात नये मामले सामने आये। इटली में अभी तक कुल 63,927 लोगों के कोविड-19 से पीड़ित होने की पुष्टि हो चुकी है। कुल प्रभावितों में 1573 की हालात गम्भीर है।
इटली में अभी तक 73,159 कोरोना पीड़ित इलाज के बाद ठीक हो चुके हैं। अभी 4,735 कोरोना पीड़ितों का इलाज जारी है।
इटली में रविवार को 651 और संक्रमितों की मौत हो गई। इसके साथ ही कोरोना वायरस संक्रमण से मौत के मामले में इटली दुनिया में करीब 5500 मौतों के साथ सबसे ऊपर पहुंच गया है।
घातक कोरोना वायरस कोविड-19 का पहला मरीज चीन के वुहान शहर में 19 नवम्बर को सामने आया था। चीन में अभी तक कोरोना की वजह से 3277 लोगों की मौत हो चुकी है। चीन में कुल 81,171 मरीज कोरोना वायरस से प्रभावित पाये गये हैं।
चीन ने कोरोना वायरस के टीके के लिए क्लीनिकल ट्रायल किया शुरू
घातक कोरोना वायरस का मुकाबला करने के तौर-तरीके ढूंढने में दुनियाभर के वैज्ञानिकों के जुट जाने के बीच चीन ने इसके टीके के लिए क्लीनिकल ट्रायल का पहला चरण शुरू किया है। रिकार्ड से यह पता चला है। यह परीक्षण ऐसे वक्त शुरू हुआ है जब अमेरिका के स्वास्थ्य अधिकारियों ने पिछले सप्ताह कहा था कि उन्होंने सिएटल में संभावित टीके का परीक्षण किया है।
सत्रह मार्च को देश के क्लीनिकल ट्रायल रजिस्ट्री में जमा किये गए दस्तावेजों के अनुसार चीन का प्रयास 16 मार्च को शुरू हुआ जिसके साल के आखिर तक चलने की संभावना है। उसी दिन अमेरिका ने भी इसकी घोषणा की थी। सरकारी धन से प्रायोजित इस परियोजना से जुड़े एक सदस्य ने कहा, ‘‘ कोविड-19 के पहले चरण के ट्रायल के स्वयंसेवकों ने पहले से ही टीके लेने शुरू कर दिये हैं।’’
इसमें 18 से 60 साल तक के 108 लोग भाग लेंगे और उनका तीन समूहों में परीक्षण किया जाएगा। उन्हें अलग-अलग डोज दिया जाएगा। वे सभी वुहान के नागरिक हैं जहां नया कोरोना वायरस पिछले साल आखिर में सामने आया था। कोविड-19 महामारी फैलने के बाद सरकारों ने सुरक्षा उपाय बढ़ा दिये थे और दुनियाभर में दवा कंपनियां एवं अनुसंधान प्रयोगशालाएं पूरी तरह जुटी हुई हैं। फिलहाल इस नयी बीमारी के लिए कोई मान्य टीका या दवा नहीं है। इस बीमारी के चलते दुनिया में अबतक 13000 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है।