ट्राई ने घटाए डीटीएच टैरिफ के दाम, 130 रुपये में देख सकेंगे 200 टीवी चैनल
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: January 2, 2020 09:30 AM2020-01-02T09:30:28+5:302020-01-02T09:30:28+5:30
रेग्युलेटर ने एक बयान में कहा ऐसे घर जहां कई टीवी होती हैं और एक से अधिक टीवी कनेक्शन एक व्यक्ति के नाम पर हैं, वहां दूसरे और अतिरिक्त टीवी कनेक्शनों के लिए घोषित नेटवर्क क्षमता शुल्क (एनसीएफ) का अधिक 40 प्रतिशत तक लिया जाएगा।
टेलिकॉम रेग्युलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (ट्राई-TRAI) ने अप्रैल 2019 में डीटीएच के टैरिफ प्लान्स में बदलाव किया था। इस बदलाव का टीवी देखने वाले कस्टमर्स के मंथली रिचार्ज पर सबसे ज्यादा असर पड़ा। अब ट्राई ने एक नया फैसला लिया है जिससे डीटीएच रिचार्ज का खर्च (टैक्स के साथ) 160 रुपये प्रतिमाह तक घट जाएगा।
इस नए नियम के तहत अब यदि किसी भी कंपनी का डीटीएच इस्तेमाल करने वाले यूजर्स प्रोवाइडर को प्रतिमाह 130 रुपये (बिना टैक्स के) की नेटवर्क कपैसिटी फीस (एनसीएफ) दे रहे हैं, तो डिस्ट्रिब्यूशन प्लैटफॉर्म ऑपरेटर्स टाटा स्काई, एयरटेल, डिशटीवी आदि को अपने कस्टमर्स को कम से कम 200 चैनल्स देने होंगे।
एनएफसी वह चार्ज है जो डीटीएच कनेक्शन एक्टिव रखने के लिए कस्टमर्स को देना होता है। खास बात यह भी है कि इन 200 चैनलों में मिनिस्ट्री की ओर से अनिवार्य तौर पर दिखाए जाने वाले चैनल शामिल नहीं हैं। ट्राई की तरफ से लिया जाने वाला यह फैसला 2017 से जुड़े एक टैरिफ ऑर्डर पर लिया गया है। ट्राई का यह नया नियम 1 मार्च, 2020 से लागू कर दिया जाएगा।
आपको बता दें कि यूजर्स टीवी देखने के लिए दो तरह का भुगतान करते हैं। एक होता है एनसीएफ चार्ज और दूसरा कॉन्टेंट चार्ज। यूजर द्वारा दिया जाने वाला कॉन्टेंट चार्ज टीवी चैनल के ब्रॉडकास्टर के खाते में जाता है। एनसीएफ चार्ज वह चार्ज है जो चैनल दिखाने के लिए डीटीएच या केबल ऑपरेटर को दिया जाता है। इसमें 100 चैनल के लिए यूजर्स को हर महीने 153 रुपये देने ही होते हैं।
रेग्युलेटर ने एक बयान में कहा ऐसे घर जहां कई टीवी होती हैं और एक से अधिक टीवी कनेक्शन एक व्यक्ति के नाम पर हैं, वहां दूसरे और अतिरिक्त टीवी कनेक्शनों के लिए घोषित नेटवर्क क्षमता शुल्क (एनसीएफ) का अधिक 40 प्रतिशत तक लिया जाएगा।
विभिन्न प्रावधानों की समीक्षा के बाद ट्राई ने 200 चैनलों के लिए अधिकतम एनसीएफ शुल्क (टैक्स के बिना) को घटाकर 130 रुपये कर दिया है। इसके अलावा ट्राई ने वितरण प्लेटफार्म परिचालकों (डीपीओ) को लंबी अवधि यानी छह महीने अथवा अधिक के सब्सक्रिप्शन पर रियायत देने की भी अनुमति दे दी है।