आजमगढ़: उत्तर प्रदेश के आज़मगढ़ में समाजवादी पार्टी (सपा) की चुनावी रैली के दौरान मंगलवार को भगदड़ जैसी स्थिति पैदा हो गई। यह बात प्रयागराज में राहुल गांधी और अखिलेश यादव की रैली के दौरान भी ऐसी ही स्थिति उत्पन्न होने के कुछ ही दिन बाद सामने आई है। समाजवादी पार्टी समर्थकों और उत्तर प्रदेश पुलिस के बीच मंगलवार को हाथापाई हो गई, जिसके बाद भगदड़ जैसी स्थिति पैदा हो गई।
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, जिस वक्त भगदड़ मची उस वक्त सपा प्रमुख अखिलेश यादव और उनकी पत्नी डिंपल यादव मंच पर मौजूद थे। विजुअल्स के मुताबिक, लोगों को रैली के लिए लगाए गए बांस के ढांचे पर चढ़ते देखा गया। एएनआई की रिपोर्ट है कि एसपी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने कार्यक्रम में लगे लाउडस्पीकर उतार दिए।
मंगलवार को अखिलेश यादव के नेतृत्व वाली समाजवादी पार्टी की लोकसभा चुनाव 2024 रैली में शामिल हुए लोगों पर उत्तर प्रदेश पुलिस ने लाठीचार्ज किया। एनडीटीवी की रिपोर्ट के मुताबिक, सरायमीर में मेला मैदान में नरसंहार हुआ है। ज़मीन पर टूटी कुर्सियाँ और फटे हुए स्ट्रीमर थे। घटनास्थल के दृश्यों में आज सरायमीर शहर के एक मेले के मैदान में नरसंहार दिखाई दे रहा है, जिसमें टूटी हुई कुर्सियाँ और फटे हुए स्ट्रीमर जमीन पर फैले हुए हैं, जिसके बाद पुलिस को हस्तक्षेप करना पड़ा और स्थिति को नियंत्रित करने का प्रयास करना पड़ा। ऐसा करने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज का सहारा लेना पड़ा।
दो दिन पहले भी ऐसी ही स्थिति तब बनी थी जब कांग्रेस नेता राहुल गांधी और अखिलेश यादव ने फूलपुर संसदीय क्षेत्र के पड़िला में एक रैली को संबोधित किया था। दृश्यों के अनुसार, उपस्थित लोगों ने मंच पर चढ़ने का प्रयास किया, जिससे पूरी तरह से अराजकता फैल गई। हंगामे के बाद गांधी और अखिलेश यादव भीड़ को संबोधित किए बिना ही मैदान से चले गए।
अखिलेश यादव और राहुल गांधी ने बार-बार पार्टी कार्यकर्ताओं से शांत होने और समझौता करने का अनुरोध किया, लेकिन उनकी अपील अनसुनी कर दी गई। उत्तेजित भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पुलिस और सुरक्षाकर्मियों को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। भीड़ से कई बार अपील करने के बाद, राहुल गांधी और अखिलेश यादव ने आपस में थोड़ी चर्चा की और सुरक्षा में किसी भी चूक से बचने के लिए कार्यक्रम स्थल से चले गए। कार्यक्रम के दृश्यों में टूटे हुए बैरिकेड्स और उमड़ती भीड़ दिख रही है।