हिन्दू धर्म में ग्रहण को बेहद खास बताया गया है। इसका असर जातक की जिंदगी पर पड़ता है। वहीं साल 2018 ग्रहण की दृष्टि से सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण रहा। इस साल सबसे ज्यादा सूर्यग्रहण और चंद्रग्रहण लगें। वहीं साल 2019 में तीन सूर्य ग्रहण लगे। अब आने वाले साल यानी 2020 में दो सूर्य ग्रहण लगेंगे। पहला 21 जून को और दूसरा 14 दिसंबर को।
21 जून को लगने वाले सूर्य ग्रहण को चूड़ामणि ग्रहण के नाम से जाना जाएगा। इस ग्रहण पर भी कुछ खास संयोग पड़ रहे हैं और अलग-अलग जातकों पर इसका अलग-अलग असर पड़ेगा।
क्यों कहते हैं चूड़ामणि ग्रहण
दरअसल जब कोई सूर्य ग्रहण रविवार के दिन पड़ता है उसे चूड़ामणि ग्रहण कहा जाता है। इस ग्रहण के दिन स्नान, दान, जप और पूजा-पाठ का विशेष महत्व बताया जाता है। ग्रहण काल में कोई भी मंत्र सिद्ध करना हो तो इस दिन को श्रेष्ठ बताया जाता है।
कितने बजे लगेगा ग्रहण
नए साल में सूर्य ग्रहण आषाढ़ की अमावस्या के दिन रविवार को पड़ रहा है। बताया जा रहा है कि ये ग्रहण किसी के लिए भी शुभ नहीं होगा। पृथ्वी पर इस ग्रहण की शुरुआत भारतीय समय के अनुसार 9 बजकर 15 मिनट पर होगी। वहीं 12 बजकर 10 मिनय पर परमग्रास रहेगा। वहीं 3 बजकर 04 मिनट पर ये कंकड़ सूर्य ग्रहण समाप्त हो जाएगा।
यहां दिखेगा सूर्य ग्रहण
भारत के अलावा दक्षिण पूर्व यूरोप, ऑस्ट्रेलिया के उत्तरी भागों, फिजी, हिंद महासागह, मध्य पूर्व एशिया, अफगानिस्तान, पाकिस्तान, मध्य दक्षिण चीन वर्मा, फिलीपींस आदि देशों में भी ग्रहण दिखाई देगा।