जून का माह ज्योतिष शास्त्र की दृष्टि से है विशेष, सूर्य के राशि बदलते ही 7 राशियों पर होगा असर

By गुणातीत ओझा | Published: June 12, 2020 10:53 AM2020-06-12T10:53:57+5:302020-06-12T10:53:57+5:30

Mithun Sankranti Date and Time: ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक यह जून का माह कई मायनों में विशेष है। इस जून की शुरुआत में ही चंद्र ग्रहण लगा था, अब 21 जून को सूर्य ग्रहण लगने जा रहा है। यह सूर्य ग्रहण पूर्ण ग्रहण होगा, 18 साल बाद ऐसा सूर्य ग्रहण लगने जा रहा है। इतना ही नहीं सूरी इसी माह अपनी राशि परिवर्तन करेंगे। सूर्य का राशि परिवर्तन महत्वपूर्ण है। सूर्य की राशि परिवर्तन के चलते कई राशियों पर इसका प्रभाव पड़ेगा। आइये आपको बताते हैं सूर्य की राशि परिवर्तन से किसपर क्या पड़ेगा प्रभाव..

Mithun Sankranti 2020 before solar eclipse 2020 Sun change its zodiac sign know when is Sankranti Mithun Rashifal | जून का माह ज्योतिष शास्त्र की दृष्टि से है विशेष, सूर्य के राशि बदलते ही 7 राशियों पर होगा असर

सूर्य ग्रहण से पहले आने वाली मिथुन संक्रांति के बारे में सबकुछ जान लें।

Highlightsजून माह में चंद्र ग्रहण और अब आने वाले सूर्य ग्रहण से कई राशियों में अलग-अलग बदलाव देखने को मिलेंगी।सूर्य साल में 12 बार अपनी राशि बदलते हैं और सभी राशियों में कुछ अवधि के लिए विद्यमान रहते हैं। सूर्य जब राशि परिवर्तन करते हैं तो इसे संक्रांति कहा जाता है।

Significance of Mithuna Sankranti: जून माह में चंद्र ग्रहण और अब आने वाले सूर्य ग्रहण से कई राशियों में अलग-अलग बदलाव देखने को मिलेंगी। आपको बता दें कि सूर्य साल में 12 बार अपनी राशि बदलते हैं और सभी राशियों में कुछ अवधि के लिए विद्यमान रहते हैं। सूर्य जब राशि परिवर्तन करते हैं तो इसे संक्रांति कहा जाता है। इस समय सूर्य वृषभ राशि में गोचर कर रहे हैं, जहां पर अपनी अवधि पूर्ण करने के बाद अब मिथनु राशि में गोचर करेंगे। सूर्य 14 जून को मिथुन राशि में प्रवेश करेंगे। इस  राशि परिर्वतन को ही मिथुन संक्रांति के नाम से जाना जाता है। सूर्य के राशि परिवर्तन का प्रभाव सात राशियों पर पड़ेगा। आइये आपको बताते हैं मिथुन संक्रांति व राशियों पर पड़ने वाले असर के बारे में सबकुछ...

जानें क्यों विशेष है यह संक्रांति

सूर्य की संक्रांति ज्योतिष शास्त्र में बहुत ही विशेष मानी गई है। क्योंकि ज्योतिष शास्त्र में सूर्य को ग्रहों का अधिपति कहा गया है। सूर्य को आत्मा भी माना गया है वहीं सूर्य ऊर्जा के भी कारक है।

मिथुन संक्रांति कब है

इस बार की संक्रांति विशेष है। क्योंकि इस बार संक्रांति रविवार के दिन पड़ रही है। 14 जून को रविवार है और रविवार का दिन सूर्य का दिन माना जाता है। इसलिए इस दिन की संक्रांति विशेष फलदायी है।

मिथुन संक्रांति का शुभ मुहूर्त

संक्रांति का पुण्यकाल 14 जून को 12 बजकर 22 मिनट से आरंभ होगा और शाम 7 बजकर 20 मिनट तक होगा। वहीं संक्रांति काल का समय 13 और 14 जून की रात 12.22 मिनट पर होगा। संक्रांति का महापुण्य काल का शुभ समय शाम 5.01 बजे से 7.20.16 बजे तक होगा।

संक्रांति का महत्व

संक्रांति के दिन सूर्य भगवान की उपासना और किसी पवित्र नदी में स्नान करना बहुत ही शुभ माना गया है। वहीं इस दिन किया जाने वाला दान भी श्रेष्ठ माना जाता है।

मौसम चक्र और संक्रांति

मान्यता है कि मिथुन संक्रांति के बाद ही वर्षा ऋतु का आरंभ हो जाता है। देश भर में संक्रांति के पर्व को अलग-अलग ढंग से मनाया जाता है। इस पर्व को कृषि से जोड़कर से भी देखा जाता है।

इन राशियों के लिए है शुभ

ज्योतिषशास्त्र के अनुसार मिथुन संक्रांति मिथुन, कर्क, सिंह, कन्या, तुला, वृश्चिक और कुंभ राशि के जातकों के लिए शुभ है।

Web Title: Mithun Sankranti 2020 before solar eclipse 2020 Sun change its zodiac sign know when is Sankranti Mithun Rashifal

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