Dhanteras 2021: धनतेरस पर आज इस वक्त करें खरीदारी, नोट करें शुभ मुहूर्त, पूजा विधि

By रुस्तम राणा | Updated: November 2, 2021 07:11 IST2021-11-02T07:11:34+5:302021-11-02T07:11:34+5:30

हिन्दू पंचांग के अनुसार, प्रति वर्ष कार्तिक मास कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को धनतेरस मनाई जाती है। इस पर्व की महत्वपूर्ण बात ये है कि आज के दिन सोने-चांदी के आभूषण, पीतल के बर्तन एवं अन्य चीजों की खरीदारी करना शुभ माना जाता है।

Dhanteras 2021 purchasing muhurat puja vidhi | Dhanteras 2021: धनतेरस पर आज इस वक्त करें खरीदारी, नोट करें शुभ मुहूर्त, पूजा विधि

धनतेरस 2021 मुहूर्त

आज धन, वैभव और समृद्धि का पर्व धनतेरस है। धार्मिक मान्यता है कि धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरी समुद्र मंथन से प्रकट हुए थे। इसलिए इस दिन भगवान धन्वंतरी और मां लक्ष्मी जी की आराधना विधि-विधान से की जाती है। हिन्दू पंचांग के अनुसार, प्रति वर्ष कार्तिक मास कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को धनतेरस मनाई जाती है। इस पर्व की महत्वपूर्ण बात ये है कि आज के दिन सोने-चांदी के आभूषण, पीतल के बर्तन एवं अन्य चीजों की खरीदारी करना शुभ माना जाता है। इस दिन शुभ मुहूर्त पर खरीदारी करना बेहद ही शुभ हो जाता है। 

शुभ मुहूर्त

धनतेरस पूजा मुहूर्त : 06 बजकर 18 मिनट और 22 से 08 बजकर 11 मिनट और 20 सेकंड तक

खरीदारी के लिए शुभ मुहूर्त 

त्रिपुष्कर योग : सुबह 06:06 से 11:31 तक
अभिजीत मुहूर्त : सुबह 11:42 से दोपहर 12:26 तक
विजय मुहूर्त : दोपहर 01:33 से 02:18 तक
त्रिपुष्कर योग और अभिजीत मुहूर्त में खरीदारी करना शुभ रहेगा।

शाम और रात के मुहूर्त

गोधूलि मुहूर्त : शाम 05:05 से 05:29 तक
प्रदोष काल : 5:35 मिनट और 38 सेकंड से 08 बजकर 11 मिनट और 20 सेकंड तक रहेगा। इस काल में पूजा की जा सकती है।

धनतेरस मुहूर्त शाम 06:18:22 से 08:11:20 तक। इस काल में पूजा और खरीदी दोनों हो सकती है।

वृषभ काल– शाम 06:18 से 08:14: तक
निशिता मुहूर्त- रा‍त्र‍ि 11:16 से 12:07 तक

दिन का चौघड़िया 

लाभ- प्रात: 10:43 से 12:04 तक
अमृत- दोपहर 12:04 से01:26 तक
शुभ- दोपहर 02:47 से 04:09 तक

रात का चौघड़िया

लाभ- 07:09 से 08:48 तक
शुभ- 10:26 से 12:05 तक
अमृत- 12:05 से 01:43 तक 

पूजा विधि

सुबह उठकर नित्यक्रिया से निवृत्त होकर धनतेरस पूजा की तैयारी शुरू करें।
घर के ईशान कोण में धन्वंतरी भगवान की पूजा करें। 
पूजा करते समय अपने मुंह को हमेशा ईशान, पूर्व या उत्तर दिशा में ही रखें।
पूजा में पंचदेव (सूर्यदेव, गणेशजी, दुर्गा मां, शिवजी और विष्णुजी) की प्रतिमा स्थापित करें। 
धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरि की षोडशोपचार से पूजा करें। 
पूजा के अंत में सांगता सिद्धि के लिए दक्षिणा जरूर चढ़ाएं।
प्रदोष काल में घर के मुख्य द्वार या आंगन में दीया जलाएं। 
एक दीया यम देवता के नाम का भी जलाएं।

धनतेरस का महत्व

भगवान धन्वन्तरी की पूजा से स्वास्थ्य और सेहत में लाभ मिलता है। इस दिन ही दीपावली की रात लक्ष्मी गणेश की पूजा के लिए मूर्ति भी खरीदते हैं। समुद्र मंथन के दौरान देवासुर संग्राम के वक्त भगवान धनवन्तरी स्वर्णमयी कलश लेकर उत्पन्न हुए थे। तभी से कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि में धनतेरस मनाने की परंपरा चली आ रही है। शास्त्रों के मुताबिक, धनतेरस के दिन नया सामान घर लाना बेहद शुभ माना गया है और इसका फल आपको अप्रत्यक्ष रूप से मिलता है। 

Web Title: Dhanteras 2021 purchasing muhurat puja vidhi

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