नई दिल्लीः केरल विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। दिल्ली के प्रभारी रह चुके वरिष्ठ नेता पीसी चाको ने पार्टी छोड़ दी है।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पीसी चाको ने कांग्रेस अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को अपना इस्तीफा भेज दिया है। 2020 दिल्ली विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की करारी हार के बाद पार्टी के दिल्ली प्रभारी पीसी चाको ने इस्तीफा दे दिया था। 2009 में केरल के त्रिशूर से लोकसभा चुनाव जीते थे।
केरल में 6 अप्रैल को होने जा रहे विधानसभा चुनाव से पहले चाको का इस्तीफा कांग्रेस पार्टी के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है। वह पिछले साल से ही पार्टी से असंतुष्ट चल रहे थे। सन 1980 में पीसी चाको पहली बार पिरावम से केरल विधानसभा के लिए चुने गए और ईके नायर की सरकार में मंत्री बनाए गए थे।
चुनावी राज्य केरल में कांग्रेस को झटका देते हुए वरिष्ठ नेता पी सी चाको ने बुधवार को पार्टी से इस्तीफा देने की घोषणा करते हुए आरोप लगाया कि विधानसभा चुनाव के लिए पार्टी के उम्मीदवार तय करने में गुटबाजी हावी रही। संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए चाको ने कहा कि वह सोनिया गांधी को अपना इस्तीफा भेजेंगे।
उन्होंने आरोप लगाया कि केरल में छह अप्रैल को होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए पार्टी के उम्मीदवारों का चयन दो समूहों ने अलोकतांत्रिक तरीके से किया। इसमें एक ‘ए’ समूह का नेतृत्व ओमन चांडी और ‘आई’ समूह का नेतृत्व रमेश चेन्नीतला कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि दोनों समूह दिवंगत नेता के करूणाकरन और वरिष्ठ नेता ए के एंटनी के समय से ही सक्रिय है। ‘ए’ समूह का नेतृत्व एंटनी करते थे और ‘आई’ समूह का नेतृत्व करूणाकरन करते थे।
गौरतलब है कि दिल्ली विधानसभा चुनाव में आप ने 62 सीटें हासिल करके शानदार जीत दर्ज की है। भाजपा को महज आठ सीटें मिलीं, जबकि कांग्रेस का खाता भी नहीं खुला था। केरल विश्वविद्यालय से स्नातक की डिग्री हासिल करने वाले पीसी चाको का जन्म केरल के कोट्टायम जिले में हुआ। चाको केरला स्टूडेंट यूनियन के जरिए राजनीति में सक्रिय हुए।
चाको पर खेड़ा का कटाक्ष: बहुत देर कर दी हुजूर जाते जाते
कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने पार्टी के वरिष्ठ नेता पी सी चाको के कांग्रेस छोड़ने को लेकर बुधवार को उन पर कटाक्ष करते हुए कहा कि दिल्ली में प्रभारी रहते हुए गुटबाजी को बढ़ावा देने वाले व्यक्ति ने पार्टी से जाने में बहुत देर कर दी। उन्होंने चाको के एक बयान को लेकर ट्वीट किया, ‘‘ यह बात वह व्यक्ति कहता है जिसने दिल्ली में गुटबाजी को सक्रियता के साथ प्रोत्साहित किया और बढ़ावा दिया। बहुत देर कर दी हुजूर जाते जाते।’’