अनुच्छेद 370ः प्रियंका ने कहा- कश्मीर में दो महीने से ऊपर के बंद का सबसे ज्यादा असर मासूम बच्चों पर पड़ा है

By भाषा | Published: October 4, 2019 12:36 PM2019-10-04T12:36:39+5:302019-10-04T12:36:39+5:30

प्रियंका ने ट्वीट किया, ''जम्मू- कश्मीर में दो महीने से ऊपर के बंद का सबसे ज्यादा असर वहां के मासूम बच्चों पर पड़ा है।'' उन्होंने सवाल किया, ''क्या आपने कभी ऐसी सरकार देखी है जो बात विकास की कर रही हो, लेकिन बच्चों को स्कूल से दूर कर दे। भाजपा सरकार ने कश्मीर की आने वाली पीढ़ी को ये कौन सा संदेश दिया है?'' 

Article 370: Priyanka said- In Kashmir, above two months, the maximum impact has been on the innocent children. | अनुच्छेद 370ः प्रियंका ने कहा- कश्मीर में दो महीने से ऊपर के बंद का सबसे ज्यादा असर मासूम बच्चों पर पड़ा है

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने शुक्रवार को मोदी सरकार पर हमला बोला।

Highlightsउन्होंने एक मीडिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए यह सवाल भी किया कि क्या ऐसी सरकार देखी है।कैलाश सत्यार्थी ने इस मामले के राजनीतिक पहलुओं पर टिप्पणी से इनकार कर दिया।

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने शुक्रवार को आरोप लगाया कि जम्मू-कश्मीर में पिछले दो महीने से जारी प्रतिबन्धों का सबसे ज्यादा असर बच्चों पर पड़ा है।

उन्होंने एक मीडिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए यह सवाल भी किया कि क्या ऐसी सरकार देखी है जो बात विकास की करे, लेकिन बच्चों को स्कूल से दूर कर दे? प्रियंका ने ट्वीट किया, ''जम्मू- कश्मीर में दो महीने से ऊपर के बंद का सबसे ज्यादा असर वहां के मासूम बच्चों पर पड़ा है।''

उन्होंने सवाल किया, ''क्या आपने कभी ऐसी सरकार देखी है जो बात विकास की कर रही हो, लेकिन बच्चों को स्कूल से दूर कर दे। भाजपा सरकार ने कश्मीर की आने वाली पीढ़ी को ये कौन सा संदेश दिया है?'' 

जम्मू-कश्मीर पर सत्यार्थी ने कहा : बदलावों के वक्त हालात को धैर्यपूर्वक देखा जाना चाहिये

जम्मू-कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा वापस लिये जाने के बाद नोबेल शांति पुरस्कार विजेता कैलाश सत्यार्थी ने इस मामले के राजनीतिक पहलुओं पर टिप्पणी से इनकार कर दिया। हालांकि, उन्होंने कहा कि उन्हें पूरे भारत के बच्चों की तरह इस सरहदी सूबे के नौनिहालों की भी चिंता है और बदलावों के वक्त हालात को धैर्यपूर्वक देखा जाना चाहिये।

अनुच्छेद 370 हटाये जाने के बाद जम्मू-कश्मीर की स्थिति के बारे में पूछे जाने पर सत्यार्थी ने यहां संवाददाताओं से कहा, "जिस तरह मुझे देश के अन्य हिस्सों के बच्चों की चिंता है, उसी तरह मुझे वहां (कश्मीर) के बच्चों की भी चिंता है। हालांकि, इस मामले से जुड़े राजनीतिक पहलुओं पर मैं कुछ नहीं बोलूंगा। लेकिन मैं जरूर चाहता हूं कि देश का हर बच्चा शिक्षित और सुरक्षित हो और उसे आगे बढ़ने का पूरा मौका मिले।" शहर के एक निजी स्कूल में आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा लेने आये सामाजिक कार्यकर्ता ने कहा, "कश्मीर भी भारत का ही हिस्सा है।

हालांकि, इसके आधे भाग पर हमारे पड़ोसी देश (पाकिस्तान) ने कब्जा कर रखा है।" जम्मू-कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा वापस लिये जाने के बाद के घटनाक्रम की ओर इशारा करते हुए सत्यार्थी ने कहा, "जब कुछ बदलाव आते हैं तो इस तरह की चीजें होती हैं। हमें (हालात को) थोड़ा धैर्यपूर्वक देखना चाहिए। यह एक क्राइसिस (संकट) है। लेकिन यह बहुत लंबा चलने वाला नहीं है।"

उन्होंने बाल अधिकारों से जुड़े मुद्दों को विश्व भर में प्राथमिकता दिये जाने की अपील करते हुए कहा, "अगर मौजूदा रफ्तार से सब चला, तो सतत विकास लक्ष्य (एसडीजी) हासिल करने को लेकर तय अवधि 2030 में पूरी होने के बावजूद दुनिया में 22 करोड़ बच्चे स्कूलों से बाहर होंगे, जबकि 12 करोड़ बच्चे मजदूरी कर रहे होंगे।" सत्यार्थी ने कहा, "हम भारत सरकार से भी मांग कर रहे हैं कि बच्चों की शिक्षा, स्वास्थ्य और सुरक्षा पर बजट का अपेक्षाकृत बड़ा हिस्सा खर्च किया जाये।"

उन्होंने बाल पोर्नोग्राफी के साथ ऑनलाइन माध्यमों के जरिये बच्चों से यौन दुर्व्यवहार, उन्हें आतंकी विचारधारा की ओर धकेले जाने और उनकी तस्करी के बढ़ते मामलों पर चिंता जतायी। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इन घटनाओं पर रोक के लिये डेटा सेवा प्रदाता कम्पनियों पर वैश्विक स्तर पर कानूनी लगाम कसी जानी चाहिये। 

Web Title: Article 370: Priyanka said- In Kashmir, above two months, the maximum impact has been on the innocent children.

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