उज्जैन: मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस में भगदड़ मच गई है। कांग्रेस द्वारा बीते रविवार को 144 उम्मीदवारों की पहली सूची जारी किये जाने के बाद नेताओं द्वारा पार्टी छोड़ने का सिलसिला जारी है। इसी क्रम में अब उज्जैन के कांग्रेस नेता विवेक यादव ने पार्टी को अलविदा करते हुए आम आदमी पार्टी (आप) का दामन थाम लिया है।
बताया जा रहा है कि विवेक यादव भी कांग्रेस द्वारा उन्हें उज्जैन से चुनावी टिकट न देने से निराश थे। इस कारण उन्होंने कांग्रेस से विदाई लेकर टिकट की आस में आम आदमी पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर ली है। उन्होंने सोमवार को दिल्ली में आप के राष्ट्रीय महासचिव और राज्यसभा सांसद संदीप पाठक की मौजूदगी में 'आप' में शामिल होने का ऐलान किया।
कांग्रेस से बेहद नाराज विवेक यादव ने आरोप लगाया कि पार्टी ने टिकट बंटवारे में जमीन के कार्यकर्तओं की उपेक्षा की है। दरअसल यादव कांग्रेस से उज्जैन उत्तर विधानसभा क्षेत्र का टिकट मांग रहे थे, लेकिन कमलनाथ की अगुवाई में मध्य प्रदेश कांग्रेस ने उनकी बात नहीं सुनी और इस सीट पर महिला उम्मीदवार माया त्रिवेदी को टिकट दे दिया।
इस संबंध में विवेक यादव ने कहा, "मैं बीते 20-25 सालों से कांग्रेस पार्टी के लिए जमीन पर काम किया है। उज्जैन से पिछला चुनाव हारने के बावजूद मैं हमेशा डंटा रहा और लोगों के बीच काम करता रहा। इतना ही नहीं पार्टी सर्वे में भी मेरा नाम सबसे ऊपर था। मैं वरिष्ठ नेताओं को चुनौती देता हूं कि वे महाकाल की कसम खाकर मुझे बताएं कि क्या मेरा नाम पार्टी सर्वे में शीर्ष पर नहीं था।"
इसके साथ ही विवेक यादव ने उज्जैन उत्तर विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस की टिकट पायी माया त्रिवेदी के बारे में बेहद प्रतिकूल टिप्पणी करते हुए उन्हें "गद्दार" तक कहा।
विवेक यादव ने कहा, "कांग्रेस पार्टी ने उस गद्दार को टिकट दिया है, जिसने 2018 के चुनाव के दौरान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ को मुख्यमंत्री बनने से रोकने की कोशिश की थी। यह बात मैं नहीं कह रहा हूं, 15 पार्षदों ने उनके खिलाफ लिखा है। कांग्रेस पार्टी ऐसे गद्दार को टिकट दिया इसलिए मुझे बहुत दुख हुआ और मैं 'आप' में शामिल हो गया।''
इसके साथ ही विवेक यादव ने कहा कि वो किसी भी कीमत पर आगामी विधानसभा चुनाव उज्जैन उत्तर विधानसभा क्षेत्र से ही लड़ेंगे और कांग्रेस प्रत्याशी को बड़े अंतर से हराएंगे।
मालूम हो कि बीते रविवार को कांग्रेस द्वारा विधानसभा चुनाव के लिए जारी की गई 144 उम्मीदवारों की पहली सूची के बाद से कई कांग्रेस नेताओं ने पार्टी छोड़ दी है।
सतना के नागोद निर्वाचन क्षेत्र से पूर्व विधायक यादवेंद्र सिंह ने टिकट कटने के बाद राज्य कांग्रेस प्रमुख कमलनाथ के खिलाफ खुली बगावत करते हुए कहा कि वो किसी कीमत पर उन्हें सबक सिखा कर रहेंगे। यादवेंद्र सिंह ने टिकट कटने के बाद रविवार देर शाम ही पार्टी से इस्तीफा दे दिया था।
मध्य प्रदेश में 230 विधानसभा सीटों के लिए 17 नवंबर को एक चरण में मतदान होगा और मतगणना 3 दिसंबर को की जाएगी। यहां पर मुख्य मुकाबला सत्ताधारी भाजपा और विपक्षी दल कांग्रेस के बीच है।