लखनऊ:उत्तर प्रदेश के अयोध्या में श्री रामलला के मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा के बाद हो रहा पहला दीपोत्सव इस बार बेहद खास होगा। समूची रामनगरी के चप्पे चप्पे पर पुलिस के जवान तैनात रहेंगे। करीब 5,000 पुलिसकर्मी अयोध्या की सुरक्षा व्यवस्था को अभेद बनाएंगे। इन पुलिसकर्मियों के साथ लाखों श्रद्धालुओं की मौजूदगी में अयोध्या के 55 घाटों पर 30 लाख से अधिक दीप प्रज्वलित किए जाने का विश्व रिकार्ड बनेगा।
श्रीराम जन्मभूमि पर बने भव्य मंदिर में दीपावली पर की जाने वाली सजावट भी यादगार होगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी इस आयोजन के साक्षी बनेंगे। वह अयोध्या में रात्रि विश्राम हुए दीपों से रोशन अयोध्या के घाटों और मंदिरों की सजावट को निहारेंगे। मुख्यमंत्री 31 अक्टूबर की सुबह अयोध्या से गोरखपुर जाएँगे। सुबह 10:20 बजे गोरखपुर के लिए रवाना होंगे।
अयोध्या के इन कार्यक्रमों में शामिल होंगे सीएम योगी बीते सात वर्षों में यह पहला मौका है, जब मुख्यमंत्री योगी दीपावली की रात अयोध्या में रहेंगे। इस मौके पर वह अयोध्या में होने वाले विभिन्न आयोजनों में शामिल होंगे। अयोध्या प्रशासन के अधिकारियों के अनुसार, 30 अक्टूबर को दोपहर में हेलीपैड स्थल के पास बने मंच पर भरत मिलाप और श्री राम, लक्ष्मण, भरत, शत्रुघ्न, हनुमान व वशिष्ठ मुनि के प्रतिरूपों पर हेलीकॉप्टर से पुष्प वर्षा की जाएगी। फिर यह सब लोग रामकथा पार्क में स्थित मंच पर बने आसन पर बैठेंगे।
इसके बाद श्री राम सीता के स्वरूपों की पूजा, आरती व श्री राम का प्रतीकात्मक राज्याभिषेक होगा। इस दौरान सीएम योगी भी वहां पहुंचेंगे। इसके बाद सीएम योगी राम कथा पार्क से सरयू आरती के लिए शाम को रवाना होंगे और नया घाट पर शाम छह से होने वाली सरयू आरती में शामिल होंगे।
सरयू के समीप बनाई गई राम की पैड़ी पर शाम को शुभ मुहूर्त पर दीपोत्सव के दीप प्रज्ज्वलित कर 30 लाख से अधिक दीपों को जलाने का गिनीज बुक वर्ल्ड रिकॉर्ड बनेगा। इस अवसर पर लेजर शो और अतिथियों का संबोधन होगा। यहां होने वाली आतिशबाजी को देखने के बाद सीएम योगी फिर से सरयू घाट स्थित मंच पर पहुंचेंगे।
यहां ग्रीन एवं डिजिटल फायर वर्क्स को देखने की बाद वह राम की पैड़ी से राम कथा पार्क में आयोजित रामलीला को देखेंगे और इसके बाद पर्यटन विभाग के सरयू होटल में रात्रि विश्राम करेंगे। 31 अक्टूबर की सुबह सीएम योगी भगवान रामलला का दर्शन करने के बाद हनुमानगढ़ी मंदिर में पूजन करेंगे।
इसके बाद वह मणिरामदास छावनी में जाकर बड़ा भक्तमाल में संतों से मुलाकात करेंगे और इसके बाद वह कारसेवकपुरम में साधु-संतों के साथ जलपान करने के बाद गोरखपुर के लिए रवाना होंगे।