Uttar Pradesh: यूपी में 10 हजार से 25 हजार रुपए के स्टांप पत्र अवैध करार, 6,500 सरकारी खरीद केन्द्रों पर होगी गेहूं की खरीद
By राजेंद्र कुमार | Updated: March 10, 2025 16:16 IST2025-03-10T16:16:03+5:302025-03-10T16:16:03+5:30
राज्य के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने लोकभवन में हुई कैबिनेट बैठक में लिए गए फैसलों की यह जानकारी दी. कैबिनेट की इस बैठक में कुल 19 प्रस्तावों पर सहमति दी गई. सुरेश खन्ना के अनुसार राज्य के कोशागारों में 5000 रुपए से 25,000 रुपए के कुल 5630.87 करोड़ रुपए के स्टांप हैं.

Uttar Pradesh: यूपी में 10 हजार से 25 हजार रुपए के स्टांप पत्र अवैध करार, 6,500 सरकारी खरीद केन्द्रों पर होगी गेहूं की खरीद
लखनऊ: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलकर लखनऊ लौटे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को हुई कैबिनेट में 10 हजार रुपए से लेकर 25 हजार रुपए तक के स्टांप पत्रों को अवैध करार देने संबंधी प्रस्ताव को मंजूरी दे दी. अब यह स्टांप पत्र वैध नहीं माने जाएंगे. इसके साथ ही सीएम योगी ने गेहूं खरीद के मूल्य में कोई इजाफ़ा नही किया. प्रदेश में अब केंद्र सरकार द्वारा घोषित किए गए 2425 रुपए प्रति कुंतल ही दर से किसानों के गेहूं खरीदा जाएगा.
कोषागार में 5630.87 करोड़ रुपए के स्टांप हैं :
राज्य के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने लोकभवन में हुई कैबिनेट बैठक में लिए गए फैसलों की यह जानकारी दी. कैबिनेट की इस बैठक में कुल 19 प्रस्तावों पर सहमति दी गई. सुरेश खन्ना के अनुसार राज्य के कोशागारों में 5000 रुपए से 25,000 रुपए के कुल 5630.87 करोड़ रुपए के स्टांप हैं. चूकि प्रदेश में अब ई-स्टांप के जरिए कामकाज होने लगा है. ऐसे में यह स्टांप पत्र कोषागारों में निष्प्रयोज पड़े हुए हैं. जिसका संज्ञान लेते हुए वित्त विभाग ने 10 हजार से लेकर 25 हजार रुपए तक के स्टांप पत्र चलन से बाहर करने का प्रस्ताव कैबिनेट को सौंपा था.
इस प्रस्ताव पर चर्चा के बाद मुख्यमंत्री ने योगी ने 10 हजार से लेकर 25 हजार रुपए तक के स्टांप पत्र चलन से बाहर करने पर मोहर लगा दी. वित्त मंत्री का कहना है कि अब इस फैसले की अधिसूचना जारी होने से पहले 10 हजार से लेकर 25 हजार रुपए तक के खरीदे गए स्टांप पत्र 31 मार्च तक वापस किए जा सकेंगे या फिर प्रयोग किए जा सकेंगे. इसके बाद 10 हजार से 25 हजार रुपए के स्टांप पत्र अवैध माने जाएंगे.
गेहूं खरीद के मूल्य नहीं हुआ इजाफ़ा :
सरकार द्वारा लिए गए इस महत्वपूर्ण फैसले के जानकारी देते हुए सुरेश खन्ना ने मेडिकल कालेज की स्थापना के लिए जमीन देने और गेहूं खरीद को लेकर कैबिनेट द्वारा लिए गए फैसले के बारे में बताया. सुरेश खन्ना के मुताबिक योगी सरकार ने गेहूं खरीद के समर्थन मूल्य में कोई इजाफा नहीं किया है. केंद्र सरकार ने गेहूं खरीद न्यूनतम समर्थन मूल्य 2425 रुपए प्रति कुंतल तय किया है. केंद्र सरकार द्वारा तय किए गए गेहूं खरीद के इस मूल्य पर ही अब यूपी में किसानों से गेहूं खरीदा जाएगा जाएगा. यूपी में गेहूं की खरीद 6500 खरीद केन्द्रों पर ही जाएगी और किसानों को गेहूं की खरीद का पैसा 48 घंटे के भीतर उनके बैंक खाते में भेज दिया जाएगा.
प्रदेश के किसानों को उम्मीद थी कि सीएम योगी गेहूं की खरीद के मूल्य में इजाफा करेंगे. लेकिन प्रदेश सरकार ने जिस तरह से गन्ना मूल्य में इजाफा नहीं किया, उसी तर्ज पर गेहूं उत्पादक किसानो को भी निराश किया है. इसके अलावा सरकार ने बलिया में बनाए जाने वाले मेडिकल कॉलेज का नाम स्वतंत्रता सेना चित्तू पाण्डेय के नाम पर रखे जाने पर मोहर लगाई. इसके साथ ही इस मेडिकल कॉलेज के निर्माण को लेकर जेल विभाग की जमीन देने का भी निर्णय लिया.
बलिया में मेडिकल कालेज की स्थापना के लिए भूमि का निशुल्क हस्तांकरण होगा, इस पर भी कैबिनेट ने सहमति प्रदान की है. कैबिनेट ने बुलंदशहर में नर्सिंग कॉलेज के निर्माण और राष्ट्रीय कृषि विद्यालय की 4570 वर्गमीटर भूमि को चिकित्सा शिक्षा विभाग को निशुल्क हस्तांरित किए जाने पर भी मंजूरी प्रदान की है. कैबिनेट ने समाजवादी पार्टी के संस्थापक मुलायम सिंह के गांव सैफई में आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय में 300 बेड के गायनी ब्लॉक के निर्माण के लिए वित्तीय स्वीकृति देने पर सहमति प्रदान की है.