UP MLC: इन 6 लोगों को यूपी विधान परिषद के लिए किया गया मनोनीत, समझिए इसके पीछे का गणित

By सतीश कुमार सिंह | Published: April 4, 2023 03:20 PM2023-04-04T15:20:13+5:302023-04-04T15:50:03+5:30

UP MLC: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार ने उत्तर प्रदेश विधान परिषद में राज्‍यपाल द्वारा मनोनीत किये जाने वाले सदस्यों के लिए छह नाम प्रस्तावित किए थे, जिनमें तारिक मंसूर तथा साकेत मिश्र समेत ये सभी छह नाम शामिल थे।

UP MLC Election 2023 bjp 6 people nominated Tariq Mansoor, Saket Mishra, Rajnikant Maheshwari, Lalji Nirmal, Ramsurat Rajbhar and Hansraj Vishwakarma | UP MLC: इन 6 लोगों को यूपी विधान परिषद के लिए किया गया मनोनीत, समझिए इसके पीछे का गणित

वर्तमान में 100 सदस्यीय उत्तर प्रदेश विधान परिषद में भाजपा के 74 सदस्य हैं। (file photo)

Highlights उत्तर प्रदेश शासन के विशेष सचिव चंद्रशेखर ने अधिसूचना जारी कर दी।वर्तमान में 100 सदस्यीय उत्तर प्रदेश विधान परिषद में भाजपा के 74 सदस्य हैं।आठ सीटें फिलहाल खाली थी, जिनमें छह का मनोनयन होने के बाद अब सिर्फ दो सीटें खाली रह गयी हैं।

लखनऊः उत्तर प्रदेश विधान परिषद में मनोनीत कोटे की खाली छह सीटों पर भाजपा ने छह प्रमुख लोगों को मनोनीत किया है। भाजपा ने लोकसभा चुनाव 2024 को देखते हुए जातीय समीकरण पर फोकस किया है। पार्टी ने इसके जरिये जातीय संतुलन साधने की कोशिश के साथ ही मुस्लिम विरोधी छवि को भी दूर करने का प्रयास किया है।

भाजपा ने एक मुस्लिम, एक ब्राह्मण, एक वैश्य, दो ओबीसी और एक दलित पर दांव चला है। अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) के कुलपति तारिक मंसूर, प्रधानमंत्री के पूर्व प्रधान सचिव नृपेंद्र मिश्र के पुत्र साकेत मिश्र, रजनीकांत माहेश्वरी, लालजी निर्मल, रामसूरत राजभर और हंसराज विश्वकर्मा हैं। 

अम्बेडकर महासभा के अध्यक्ष लालजी प्रसाद निर्मल, उप्र भाजपा ब्रज क्षेत्र इकाई के पूर्व क्षेत्रीय अध्यक्ष रजनीकांत माहेश्वरी, भाजपा वाराणसी जिला इकाई के अध्यक्ष हंसराज विश्वकर्मा और आजमगढ़ के अधिवक्‍ता रामसूरत राजभर के भी नाम शामिल हैं। लालजी दलित वर्ग, हंसराज विश्वकर्मा और रामसूरत राजभर अन्य पिछड़ा वर्ग से आते हैं। साकेत मिश्र ब्राह्मण और रजनीकांत वैश्य समाज से आते हैं।

राज्‍यपाल ने विधान परिषद की रिक्‍तियों में छह व्यक्तियों को उत्तर प्रदेश विधान परिषद का सदस्य मनोनीत किया है। राज्यपाल विधानमंडल के उच्च सदन में 10 सदस्यों को मनोनीत कर सकते हैं। वर्तमान में 100 सदस्यीय उत्तर प्रदेश विधान परिषद में भाजपा के 74 सदस्य हैं।

प्रमुख विपक्षी दल समाजवादी पार्टी (सपा) के नौ, बहुजन समाज पार्टी (बसपा), अपना दल (सोनेलाल), निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल (निषाद), जनसत्ता दल लोकतांत्रिक और शिक्षक दल (गैर-राजनीतिक) के एक-एक सदस्य हैं। इसके अलावा स्वतंत्र समूह और निर्दलीय के दो-दो सदस्य हैं। आठ सीटें फिलहाल खाली थी, जिनमें छह का मनोनयन होने के बाद अब सिर्फ दो सीटें खाली रह गयी हैं।

1ः साकेत मिश्राः प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी के पूर्व प्रधान सचिव नृपेंद्र मिश्रा के बेटे साकेत मिश्रा का नाम हैं। वर्तमान में नृपेंद्र मिश्र श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष हैं। साकेत ने 2019 में श्रावस्ती संसदीय क्षेत्र से भाजपा का टिकट मांगा था। यूपी के देवरिया के रहने वाले हैं। 

लेकिन यह दद्दन मिश्रा को दिया गया था, जो बसपा के राम शिरोमणि वर्मा से हार गए थे। साकेत मिश्रा एक निवेश बैंकर, नीति योगदानकर्ता और पूर्वांचल विकास बोर्ड के सलाहकार हैं। वह भारतीय प्रबंधन संस्थान, कलकत्ता और सेंट स्टीफेंस कॉलेज के पूर्व छात्र हैं।

2ः तारिक मंसूरः उत्तर प्रदेश विधान परिषद के लिए मनोनीत किए जाने के बाद अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) के कुलपति प्रोफेसर तारिक मंसूर ने अपना कार्यकाल खत्म होने से कुछ हफ्ते पहले मंगलवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया। प्रोफेसर मंसूर ने 17 मई 2017 को पांच साल की अवधि के लिए कुलपति के रूप में पदभार ग्रहण किया था।

उनका कार्यकाल पिछले साल मई में समाप्त होना था लेकिन महामारी से उत्पन्न असाधारण परिस्थितियों के मद्देनजर केंद्र सरकार ने उनका कार्यकाल एक वर्ष के लिए बढ़ा दिया था। प्रोफेसर तारिक मंसूर राज्य विधान परिषद में राज्यमंत्री दानिश आजाद अंसारी और राज्य हज कमेटी के अध्यक्ष मोहसिन रजा के बाद भाजपा के तीसरे मुस्लिम सदस्य होंगे।

अलीगढ़ में 20 सितंबर 1956 को जन्मे प्रोफेसर तारिक मंसूर ने एक शिक्षक और प्रशासक के रूप में लगभग चार दशक तक एएमयू की सेवा की। विश्वविद्यालय के शल्य चिकित्सा विभाग के प्रमुख भी रहे। कुलपति के रूप में कार्यकाल के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एएमयू समुदाय को संबोधित किया था और वर्ष 2018 में तत्कालीन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद एएमयू के दीक्षांत समारोह के मुख्य अतिथि थे।

3ः रामसूरत राजभरः रामसूरत राजभर अन्य पिछड़ा वर्ग से आते हैं। राजभर ने 2022 का विधानसभा चुनाव आजमगढ़ जिले के फूलपुर पवई से भाजपा उम्मीदवार के तौर पर लड़ा था, लेकिन समाजवादी पार्टी के रमाकांत यादव से हार गए थे। 1980 से भाजपा के सदस्य हैं। वह 5 बार चुनाव लड़ चुके हैं। 1966 में फूलपुर से चुनीव लड़ा था। वकील भी हैं।

4ः लालजी निर्मलः लालजी निर्मल उत्तर प्रदेश एससी और एसटी फाइनेंस एंड डेवलपमेंट कॉरपरेशन के प्रमुख हैं। उच्च सदन में भेजकर भाजपा ने दांव खेला है। लालजी कई साल से भाजपा के लिए काम कर रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उत्तर प्रदेश के सीएस के खास माने जाते हैं।

5ः हंसराज विश्वकर्माः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी के रहने वाले हंसराज विश्वकर्मा पर भाजपा ने बड़ा दांव लगाया है। वाराणसी जिला अध्यक्ष विश्वकर्मा को उत्तर प्रदेश विधान परिषद के लिए मनोनीत किया गया है। 54 साल के हंसराज को पिछड़ों का नेता माना जाता है। पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह के करीबी रहे हैं। 

34 साल से राजनीति में सक्रिय हैं। 1989 में बूथ की जिम्मेदारी निभा चुके हैं। राम मंदिर आंदोलन में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया था। जब कल्याण सिंह ने भाजपा से बगावत की तो हंसराज ने भाजपा में पहने का फर्ज निभाया। वाराणसी के केंट से चुनाव लड़ चुके हैं। 

6ः रजनीकांत माहेश्वरीः रजनीकांत माहेश्वरी कई साल से ब्रज क्षेत्र में काम कर रहे हैं। उत्तर प्रदेश के कासगंज के रहने वाले हैं। वैश्य समाज से संबंध रखने वाले माहेश्वरी को उच्च सदन में भेजकर भाजपा ने दांव खेल दी है। 6 साल तक ब्रज क्षेत्र के अध्यक्ष रह चुके माहेश्वरी ने संगठन में अहम भूमिका निभाई है।

Web Title: UP MLC Election 2023 bjp 6 people nominated Tariq Mansoor, Saket Mishra, Rajnikant Maheshwari, Lalji Nirmal, Ramsurat Rajbhar and Hansraj Vishwakarma

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