UP Election 2022: रोक लगने से पहले भाजपा 250 विधानसभा क्षेत्रों का दौरा और 400 जनसभाएं आयोजित कर चुकी, विपक्षी पार्टियां उसके आस-पास भी नहीं

By विशाल कुमार | Published: January 10, 2022 07:54 AM2022-01-10T07:54:49+5:302022-01-10T13:24:51+5:30

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उन 78 विधानसभा क्षेत्रों का भी दौरा करके नई परियोजनाओं की घोषणा कर चुके हैं जहां पार्टी को 2017 के विधानसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था।

up elections 2022 covid 19 restrictions political campaigning bjp sp bsp congress | UP Election 2022: रोक लगने से पहले भाजपा 250 विधानसभा क्षेत्रों का दौरा और 400 जनसभाएं आयोजित कर चुकी, विपक्षी पार्टियां उसके आस-पास भी नहीं

UP Election 2022: रोक लगने से पहले भाजपा 250 विधानसभा क्षेत्रों का दौरा और 400 जनसभाएं आयोजित कर चुकी, विपक्षी पार्टियां उसके आस-पास भी नहीं

Highlightsकोविड-19 पर लगाम लगाने के लिए 15 जनवरी तक रोड शो और रैलियों पर प्रतिबंध लगा है।प्रियंका गांधी ने गोरखपुर, वाराणसी, मुरादाबाद और महोबा में जनसभाएं की हैं।बसपा प्रमुख मायावती ने अभी तक एक भी रैली नहीं की है.

लखनऊ: कोविड-19 मामलों पर लगाम लगाने के लिए उत्तर प्रदेश सहित पांच राज्यों में चुनाव आयोग ने 15 जनवरी तक रोड शो और रैलियों पर प्रतिबंध लगा दिया है।हालांकि, यह प्रतिबंध लगने से पहले ही सत्ताधारी भाजपा अपने प्रतिद्वंदियों से कहीं आगे निकल चुकी है और बीते पांच महीने में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कम से कम 250 विधानसभा क्षेत्रों का दौरा कर चुके हैं।

19 दिसंबर को शुरू हुए और बीते सप्ताह समाप्त हुए पार्टी के छठें जनविश्वास यात्रा के तहत आदित्यनाथ सहित पार्टी के बड़े नेता करीब 400 जनसभाओं और नुक्कड़ सभाओं को संबोधित कर चुके हैं।

आदित्यनाथ उन 78 विधानसभा क्षेत्रों का भी दौरा करके नई परियोजनाओं की घोषणा कर चुके हैं जहां पार्टी को 2017 के विधानसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था।

भाजपा के मुख्य प्रचारक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी पिछले दो महीनों में विभिन्न बड़ी इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स को लॉन्च करने और जनसभाओं को संबोधित करने के लिए दर्जनों जिलों का दौरा कर चुके हैं।

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी सहित भाजपा के कई वरिष्ठ नेता पिछले दो महीनों में पहले ही जनसभाएं और बूथ अध्यक्ष सम्मेलन कर चुके हैं। भाजपा कम से कम 50 हजार लोगों को एक साथ संबोधित करने वाली डिजिटल रैलियों की भी तैयारी कर चुकी है।

इस दौरान समाजवादी पार्टी के सहयोगी दलों और उनके नेताओं ने पिछले तीन महीनों में विभिन्न जिलों में सात यात्राएं निकाली हैं और कई जिलों में सभाएं आयोजित की हैं।सबसे अधिक भीड़ अखिलेश यादव की विजय यात्रा में दिखाई दी जो 12 अक्टूबर को शुरू हुई और अब तक यूपी के दो दर्जन से अधिक जिलों से गुजर चुकी है।

हालांकि, बसपा प्रमुख मायावती ने अभी तक एक भी रैली नहीं की है। पार्टी महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा ही ने केवल सभी आरक्षित विधानसभा क्षेत्रों में सम्मेलन किया है और जिला स्तर पर जनसभाओं को संबोधित किया है।

वहीं, कांग्रेस ने अपने टलड़की हूं, लड़ सकती हूंट अभियान के तहत विभिन्न जिलों में लड़कियों के लिए मैराथन की तैयारी की थी लेकिन केवल चार-पांच जिलों में ऐसा हो सका और पार्टी ने कोविड-19 को देखते हुए पहले ही उन्हें रद्द कर दिया था। कांग्रेस ने अब महिला मतदाताओं तक पहुंचने के लिए डिजिटल मैराथन नामक वर्चुअल क्विज कॉम्पिटीशन का विकल्प चुना है।

इससे पहले प्रियंका गांधी ने गोरखपुर, वाराणसी, मुरादाबाद और महोबा में यूपी में कानून-व्यवस्था की स्थिति के अलावा किसानों और युवाओं से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर जनसभाएं की थीं।

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