"ये है 2023 साल..., लेकिन हमारे बीच नहीं रहे जवाहर लाल", पुस्तक 'जवाहर' के विमोचन पर केंद्रीय मंत्री राम दास अठावले ने कहा

By आकाश चौरसिया | Published: December 4, 2023 05:53 PM2023-12-04T17:53:24+5:302023-12-04T18:10:30+5:30

केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने कहा, 17 साल के थे, तो आजादी के आंदोलन में जवाहर दर्डा जी कूद पड़े थे, बाद में कांग्रेस पार्टी में उन्होंने काम किया, महाराष्ट्र के मंत्रिमंडल में बहुत साल तक रहे। उद्योग मंत्रालय, स्वास्थ्य मंत्रालय हो, उनके पास ऊर्जा मंत्रालय था, लेकिन वो महाराष्ट्र के ऊर्जा थे। हमारे बाबा साहेब अंबेडकर उन्हें बहुत मानते थे, गरीब समाज को हमेशा न्याय देना का काम करते थे। 

This is the year 2023 but Jawahar Lal is no more among us said Union Minister Ram Das Athawale | "ये है 2023 साल..., लेकिन हमारे बीच नहीं रहे जवाहर लाल", पुस्तक 'जवाहर' के विमोचन पर केंद्रीय मंत्री राम दास अठावले ने कहा

फाइल फोटो

Book launch Jawahar based on senior freedom fighter Jawaharlal Darda: लोकमत के संस्थापक, वरिष्ठ स्वतंत्रता संग्राम सेनानी एवं राजनीतिक-सामाजिक नेता श्री जवाहरलाल दर्डा 'बाबूजी'  के अद्भुत प्रेरणादायी जीवन के विभिन्न पहलुओं पर आधारित पुस्तक ‘जवाहर’ के विमोचन के मौके पर केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले पहुंचे।

जवाहर दर्डा को याद करते हुए उन्होंने कहा, "विजय दर्डा नागपुर, राजेंद्र दर्डा जी औरंगाबाद, तीन बार लोकसभा में रहे, आप दोनों भाई अच्छा काम कर रहा है, जवाहर दर्डा जी का नाम कर रहे हैं। वो यवतमाल जिले से आते थे, लेकिन पूरे महाराष्ट्र के लिए उन्होंने काम किया। जिनको अपनी जिंदगी में किसी का नहीं डर, उसका नाम था जवाहर। जवाहर जी का काम विस्मरणीय है, सभी आए आमंत्रित सदस्यों का वंदन किया।" 

उन्होंने आगे कहा कि 17 साल के थे, तो आजादी के आंदोलन में जवाहर दर्डा जी कूद पड़े थे, बाद में कांग्रेस पार्टी में उन्होंने काम किया, महाराष्ट्र के मंत्रिमंडल में बहुत साल तक रहे। उद्योग मंत्रालय, स्वास्थ्य मंत्रालय हो, उनके पास ऊर्जा मंत्रालय था, लेकिन वो महाराष्ट्र के ऊर्जा थे। हमारे बाबा साहेब अंबेडकर उन्हें बहुत मानते थे, गरीब समाज को हमेशा न्याय देना का काम करते थे। 

केंद्रीय मंत्री ने कहा, "जब तक पीएम मोदी रहेंगे मोदी, तब तक मेरी कोई भी चीज नहीं सकती है। तब की राजनीति और आज की राजनीति अलग-अलग है। कांग्रेस के हाथ में कई साल सत्ता रही और अब भाजपा सत्ता में है। हमारी पार्टी बड़ी पार्टी है। हम सब लोगों को देश के लिए विकास काम करना है। समाजिक न्याय और यूनाइटेड इंडिया के लिए काम करना है। मैं दिल्ली से हटने वाला नहीं हूं।" 

विजय दर्डा और राजेंद्र दर्डा जी का धन्यवाद दिया। जो गरीब, किसान और दलित को उठते देखा, उनका नाम है जवाहर दर्डा। ये है 2023 साल..., लेकिन हमारे बीच नहीं रहे जवाहर लाल।

सोमवार, 4 दिसंबर को राजधानी दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री तथा डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव आजाद पार्टी के अध्यक्ष पद्म भूषण गुलाम नबी आजाद, भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव व पूर्व मंत्री विनोद तावड़े, मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जनार्दन द्विवेदी, मीडिया में अपने विचारों से अलग पहचान रखने वाले वरिष्ठ पत्रकार पद्मश्री अलोक मेहता प्रमुखता से मौजूद रहें।

इस मौके पर वर्ल्ड पीस सेंटर और अहिंसा विश्व भारती के संस्थापक जैन आचार्य लोकेश मुनि जी आशीर्वचन देने मौजूद रहें। अपना सम्पूर्ण जीवन देश के लिए, गरीबों के कल्याण और दलितों के उत्थान के लिए समर्पित करने वाले कट्टर गांधीवादी जवाहरलाल दर्डा के कर्मठ जीवन के विभिन्न पहलुओं का इस पुस्तक में विवरण है, जो आनेवाली पीढ़ियों को प्रेरित करता रहेगा।

देश की आजादी के लिए संघर्ष से लेकर महाराष्ट्र सरकार के मंत्री तक की यात्रा के दौरान आए अनेक पड़ावों, संघर्षों और नैतिक मूल्यों से भरी उनकी जीवन यात्रा को पुस्तक में संजोया गया है। श्री जवाहरलाल दर्डा जैसे व्यक्ति का जन्म कई सौ वर्षों में एक बार होता है। उनका सम्पूर्ण जीवन समाज और देश के लिए प्रेरणादायी था। उन्होंने अद्भुत साहस, नेतृत्व, कौशल और नैतिक मूल्यों के साथ भारत को महान बनाने के लिए कठिन प्रयास किया. उनके विचार और कार्य हम सभी को आगे बढ़ने की सदा प्रेरणा देते हैं।

Web Title: This is the year 2023 but Jawahar Lal is no more among us said Union Minister Ram Das Athawale

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे