मध्य प्रदेश में पुलिस हिरासत में दलित युवक की मौत, गहलोत ने उठाई सीबीआई जांच की मांग
By भाषा | Published: May 11, 2019 04:06 PM2019-05-11T16:06:16+5:302019-05-11T16:06:16+5:30
मुख्यमंत्री कमलनाथ को लिखे एक पत्र में केंद्रीय मंत्री ने कहा है कि उनके संज्ञान में यह आया है कि 22 वर्षीय संजू टिपनिया को गांधी नगर पुलिस ने निर्ममता से प्रताड़ित किया था, जबकि उसने खुद के बेकसूर होने का दावा किया था। मंत्री ने कहा, ‘‘पुलिस ने निर्ममता की सारी हदें पार कर दी। उसके नाखून उखाड़ लिए, उसके घुटनों पर हथौड़े से वार किया और उसे बिजली का झटका दिया जिसके बाद उसकी मौत हो गई।’’
सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री थावरचंद गहलोत ने पिछले महीने मध्य प्रदेश में पुलिस हिरासत में हुई एक दलित युवक की मौत की सीबीआई जांच की मांग की है। इंदौर में चोरी के आरोप में गिरफ्तार होने के बाद पुलिस की कथित प्रताड़ना से इस व्यक्ति की मौत हो गई थी।
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ को लिखे एक पत्र में केंद्रीय मंत्री ने कहा है कि उनके संज्ञान में यह आया है कि 22 वर्षीय संजू टिपनिया को गांधी नगर पुलिस ने निर्ममता से प्रताड़ित किया था, जबकि उसने खुद के बेकसूर होने का दावा किया था। मंत्री ने कहा, ‘‘पुलिस ने निर्ममता की सारी हदें पार कर दी। उसके नाखून उखाड़ लिए, उसके घुटनों पर हथौड़े से वार किया और उसे बिजली का झटका दिया जिसके बाद उसकी मौत हो गई।’’
गहलोत ने उसके साथ की गई प्रताड़ना को बयां करते हुए कहा, ‘‘उन्होंने उस पर पानी डाला और फिर जब उसे होश आया तब उसकी फिर से पिटाई की गई ...उसे पीने के लिए पानी तक नहीं दिया गया...।’’
उन्होंने आरोप लगाया कि इस युवक की मां ने पुलिस थाना से भी संपर्क किया और पुलिस ने उसे धक्का दे दिया, जिससे उसका हाथ और पैर टूट गया। गहलोत ने कहा कि यहां तक कि युवक के भाई को ग्रामीणों के सामने पीटा गया और वह घायल हो गया। इसलिए, मृतक के परिवार के लिए न्याय सुनिश्चित करना जरूरी है।
उन्होंने लिखा, ‘‘मैं इस मुद्दे की गंभीरता को समझता हूं, मैं आशा करता हूं कि आप इसकी सीबीआई जांच का आदेश देंगे।’’ युवक के परिवार के सदस्यों ने आरोप लगाया है कि गांधी नगर पुलिस थाना में पुलिस की प्रताड़ना के चलते उसकी मौत हुई।
पुलिस अधीक्षक (पश्चिम) सूरज वर्मा ने कहा कि टिपनिया को पास के एक अस्पताल में ले जाया गया, जहां से उसे सरकार संचालित महाराज यशवंतराव हॉस्पिटल ले जाया गया, लेकिन उसकी जान नहीं बचाई जा सकी। उन्होंने बताया कि गांधी नगर पुलिस थाना प्रभारी नीता देयारवाल और चार कांस्टेबलों को निलंबित कर दिया गया है।