पंजाब कांग्रेस में आपसी कलह के बीच मुलाकातों का दौर तेज, हरीश रावत बोले- अमरिंदर सिंह मानेंगे आलाकमान का फैसला
By अभिषेक पारीक | Published: July 17, 2021 02:21 PM2021-07-17T14:21:05+5:302021-07-17T14:54:16+5:30
पंजाब कांग्रेस में चल रहे घमासान को रोकने के लिए आलाकमान ने अपनी कोशिशें और तेज कर दी हैं। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत ने शनिवार को कैप्टन अमरिंदर सिंह से मुलाकात की है।
पंजाबकांग्रेस में चल रहे घमासान को रोकने के लिए आलाकमान ने अपनी कोशिशें और तेज कर दी हैं। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत ने शनिवार को पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह से मुलाकात की है। मुलाकात के बाद हरीश रावत ने कहा कि अमरिंदर सिंह ने कहा है कि आलाकमान की ओर से जो भी फैसला लिया जाएगा, उसे वे मानेंगे। दूसरी ओर, नवजोत सिंह सिद्धू ने पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष सुनील जाखड़ से उनके पंचकूला स्थित आवास पर मुलाकात की।
बताया जा रहा है कि कैप्टन अमरिंदर सिंह के बाद हरीश रावत नवजोत सिंह सिद्धू से भी मिल सकते हैं। कहा जा रहा है कि वे सिद्धू को मनाने के लिए ही चंडीगढ़ पहुंचे हैं। कैप्टन अमरिंदर सिंह से मुलाकात के बाद बाहर निकले रावत ने कहा कि अमरिंदर सिंह ने अपना पुराना बयान दोहराया है। उन्होंने कहा है कि कांग्रेस अध्यक्ष जो भी फैसला लेंगी, वे उसे मानेंगे।
Punjab CM Captain Amarinder Singh reiterated that whatever decision will be taken by the Congress president, it will be honoured by him: Congress leader Harish Rawat pic.twitter.com/u4Ade2hjiH
— ANI (@ANI) July 17, 2021
सिद्धू मुलाकात में जुटे
इस बीच नवजोत सिंह सिद्धू लगातार विधायकों और मंत्रियों के साथ अन्य कांग्रेसी नेताओं से मुलाकात में जुटे हैं। वे अन्य विधायकों और इसके जरिये वे ज्यादा से ज्यादा नेताओं को अपनी ओर करना चाहते हैं। जिससे संख्याबल का अमरिंदर सिंह का दावा कमजोर हो जाए। इसी कड़ी में वे पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष सुनील जाखड़ के भी घर पहुंचे। जहां पर उन्होंने जाखड़ के साथ लंबी बातचीत की।
आलाकमान के फॉर्मूले को ठुकराया
आलाकमान की ओर से हाल ही में कैप्टन अमरिंदर सिंह को पंजाब का मुख्यमंत्री बनाए रखना और नवजोत सिंह सिद्धू को पंजाब कांग्रेस का अध्यक्ष बनाने का फॉर्मूला दिया गया था। हालांकि बताया जा रहा है कि अमरिंदर सिंह ने इसे खारिज कर दिया है। जिसके बाद से हरीश रावत पंजाब पहुंचे और दोनों पक्षों के बीच सुलह कराने की कोशिश कर सकते हैं और दोनों पक्षों को स्वीकार्य कोई रास्ता निकाल सकते हैं।
अगले साल विधानसभा चुनाव
बता दें कि पंजाब में अगले साल विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। हालांकि चुनाव से पहले कांग्रेस की अंदरुनी राजनीति उफान पर है। कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू के बीच तकरार जारी हैं, जिसे खत्म करने के लिए पार्टी ने सारी ताकत झोंक दी है।