पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन गतिरोध और पाकिस्तान को लेकर पीएम मोदी का बड़ा बयान, कहा-आतंकवाद और शत्रुता से मुक्त अनुकूल माहौल बनाएं
By सतीश कुमार सिंह | Published: May 19, 2023 06:47 PM2023-05-19T18:47:15+5:302023-05-19T18:49:26+5:30
पाकिस्तान के विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो ने इस महीने की शुरुआत में गोवा में एससीओ विदेश मंत्रियों की बैठक में भाग लिया था, लेकिन विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ कोई द्विपक्षीय वार्ता नहीं हुई।
नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नेपाकिस्तान और चीन को चेतावनी दी। मोदी ने कहा कि भारत पाकिस्तान के साथ "सामान्य और पड़ोसी संबंध" चाहता है, लेकिन आतंकवाद से मुक्त अनुकूल माहौल बनाना और आवश्यक कदम उठाना इस्लामाबाद की जिम्मेदारी है। पीएम मोदी ने कहा कि भारत पाकिस्तान के साथ सामान्य द्विपक्षीय संबंध चाहता है।
पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन गतिरोध के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि भारत अपनी संप्रभुता और गरिमा की रक्षा के लिए पूरी तरह से तैयार एवं प्रतिबद्ध है। उन्होंने पड़ोसी मुल्कों के साथ सामान्य द्विपक्षीय रिश्तों के लिए सीमा पर शांति की आवश्यकता पर जोर दिया।
"Want normal and neighbourly relations, however..." PM Modi on India-Pakistan ties
— ANI Digital (@ani_digital) May 19, 2023
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भारत ने बार-बार सीमा पार आतंकवाद को पाकिस्तान के समर्थन पर अपनी चिंता व्यक्त की है और जोर देकर कहा है कि आतंक और बातचीत साथ-साथ नहीं चल सकते। पाकिस्तान के विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो ने इस महीने की शुरुआत में गोवा में एससीओ विदेश मंत्रियों की बैठक में भाग लिया था, लेकिन विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ कोई द्विपक्षीय वार्ता नहीं हुई।
#WATCH | Japan: Prime Minister Narendra Modi meets children and interacts with the members of the Indian diaspora as he reaches Sheraton Hotel in Hiroshima. pic.twitter.com/Gckl5Gfdau
— ANI (@ANI) May 19, 2023
जापानी प्रकाशन निक्की एशिया के साथ एक साक्षात्कार में मोदी ने कहा, ‘‘भारत-चीन संबंधों का भविष्य केवल आपसी सम्मान, आपसी संवेदनशीलता और आपसी हितों पर आधारित हो सकता है।’’ उन्होंने कहा कि संबंधों के "सामान्य" होने से क्षेत्र और दुनिया को लाभ होगा। उन्होंने संप्रभुता, कानून के शासन और विवादों के शांतिपूर्ण समाधान के लिए अपने देश के सम्मान पर जोर दिया।
वर्ष 2020 में गलवान घाटी में हुई झड़प के बाद से भारत-चीन संबंध तनावपूर्ण रहे हैं। दोनों पक्ष सीमा पर संकट को कम करने के लिए समय-समय पर बैठकें करते रहे हैं, लेकिन अब तक कोई स्थायी समाधान नहीं निकला है। पाकिस्तान के बारे में अखबार ने उनके हवाले से कहा कि भारत ‘सामान्य और पड़ोसी संबंध’ चाहता है।
#WATCH | Japan: Prime Minister Narendra Modi interacts with the members of the Indian diaspora as he reaches Sheraton Hotel in Hiroshima. pic.twitter.com/9Zj5Ye76tS
— ANI (@ANI) May 19, 2023
उन्होंने कहा, ‘‘हालांकि, यह उनकी जिम्मेदारी है कि वे आतंकवाद और शत्रुता से मुक्त एक अनुकूल माहौल बनाएं। इस संबंध में आवश्यक कदम उठाने की जिम्मेदारी पाकिस्तान की है।’’ भारतीय अर्थव्यवस्था के बारे में उन्होंने कहा कि यह दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक रही है।
उन्होंने कहा, ‘‘हमारी प्रगति दिख रही है क्योंकि हम 2014 में 10वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था से बढ़कर अब विश्व स्तर पर पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गए हैं... हालांकि यह सच है कि वैश्विक प्रतिकूल परिस्थितियां विकास के लिए चुनौतियां पेश करती हैं, लेकिन हमने हाल के वर्षों में एक मजबूत नींव बनाई है, जो हमें अनुकूल स्थिति में पहुंचाती है।’’
रूस-यूक्रेन संघर्ष पर मोदी ने कहा कि इस मामले में भारत का रुख स्पष्ट और अटल है। उन्होंने कहा, ‘‘भारत शांति के पक्ष में खड़ा है और मजबूती से वहां रहेगा। हम उन लोगों का समर्थन करने के लिए प्रतिबद्ध हैं जो अपनी बुनियादी जरूरतों को पूरा करने में चुनौतियों का सामना करते हैं, खासकर भोजन, ईंधन और उर्वरकों की बढ़ती लागतों के सामने।
हम रूस और यूक्रेन दोनों के साथ संवाद बनाए रखते हैं।’’ उन्होंने निक्की एशिया से कहा, ‘‘आज का समय सहयोग का है संघर्ष का नहीं।’’ प्रधानमंत्री तीन देशों जापान, पापुआ न्यू गिनी और ऑस्ट्रेलिया की यात्रा पर हैं। इससे पहले मोदी जी-7 समूह के वार्षिक शिखर सम्मेलन और क्वाड नेताओं की बैठक में भाग लेने के लिए जापान के हिरोशिमा पहुंचे।