नहीं थम रहा पीएम मोदी के वीडियो संदेशों पर डिसलाइक का सिलसिला, भाजपा परेशान, लोगों को पसंद नहीं आया राष्ट्र के नाम संदेश
By नितिन अग्रवाल | Published: October 22, 2020 08:26 PM2020-10-22T20:26:42+5:302020-10-22T20:26:42+5:30
दुर्गा पूजा के मौके पर मोदी के संबोधन के वीडियो पर 3100 लोगों ने लाइक किया वहीं डिस्लाइक करने वालों की संख्या 3800 थी. इसी तरह दो दिन पहले 20 अक्तूबर के मोदी के संबोधन के वीडियो को 7300 लोगों ने पसंद किया वहीं नापसंद करने वालों की संख्या 9400 रही.
नई दिल्लीः भाजपा भले ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता के भरोसे विधानसभा चुनाव लगाए है, लेकिन सोशल मीडिया में उनके वीडियो को नापसंद करने का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है.
प्रधानमंत्री के हर वीडियो पर आने वाले लाइक्स को भाजपा उनकी लोकप्रियता के तौर पर दिखाती थी, लेकिन अब स्थिति यह है कि डिस्लाइक की संख्या लाइक्स से भी ज्यादा होती जा रही है. विरोधी जहां इसे मोदी की गिरती लोकप्रियता से जोड़कर देख रहे हैं वहीं भाजपा इसे विरोधियों की साजिश मान रही है.
आज दुर्गा पूजा के मौके पर मोदी के संबोधन के वीडियो पर 3100 लोगों ने लाइक किया वहीं डिस्लाइक करने वालों की संख्या 3800 थी. इसी तरह दो दिन पहले 20 अक्तूबर के मोदी के संबोधन के वीडियो को 7300 लोगों ने पसंद किया वहीं नापसंद करने वालों की संख्या 9400 रही.
इसी तरह कोविड को लेकर देश के नाम मोदी के संदेश को डिस्लाइक करने वालों की संख्या 2500 से अधिक थी वहीं लाइक करने वालों की इसकी आधे से भी कम केवल 1200 थी. भाजपा की तिकड़म नाकाम मोदी के वीडियो पर डिस्लाइक के सिलसिले को रोकने के लिए भाजपा ने कई तरह की तिकड़में की, लेकिन कोई काम नहीं आई.
पार्टी के यूट्यूब चैनल पर मोदी के संबोधन के लाइव प्रसारण पर डिस्लाइक की बढ़ती संख्या को देखते हुए चैनल का संचालन करने वालों ने इस पर लाइक-डिस्लाइक का विकल्प ही बंद कर दिया, लेकिन जैसे ही इसे खोला जाता है डिस्लाइक की संख्या फिर से तेजी से बढ़ने लगती है.
पार्टी ने साधी चुप्पी मामला सीधे प्रधानमंत्री का है लिहाजा पार्टी का कोई नेता या पदाधिकारी इस मामले में सामने आने को तैयार नहीं है. यहां तक कि आईटी सेल ने इस मामले में पूरी तरह चुप्पी साध रखी है. हालांकि आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने डिस्लाइक्स को कांग्रेस की साजिश बताते रहे हैं. हाल में उन्होंने 'लोकमत' से कहा था कि कांग्रेस सोचती है बोट्स (स्वचालित) के जरिये डिस्लाइक करवाकर मोदी की विश्वसनीयता को कमजोर कर सकती है.