बिजली कनेक्शन की प्रतीक्षा कर रहे पाकिस्तानी हिंदू शरणार्थी, मच्छरों के आतंक से भी परेशान

By भाषा | Published: May 18, 2021 05:33 PM2021-05-18T17:33:25+5:302021-05-18T17:33:25+5:30

Pakistani Hindu refugees waiting for electricity connection, troubled by mosquito terror | बिजली कनेक्शन की प्रतीक्षा कर रहे पाकिस्तानी हिंदू शरणार्थी, मच्छरों के आतंक से भी परेशान

बिजली कनेक्शन की प्रतीक्षा कर रहे पाकिस्तानी हिंदू शरणार्थी, मच्छरों के आतंक से भी परेशान

नयी दिल्ली, 18 मई पाकिस्तान से आया हिंदू परिवारों का एक समूह पांच साल से यहां मजनूं का टीला में रह रहा है और संशोधित नागरिकता कानून पारित हुए करीब डेढ़ साल का वक्त गुजर चुका है, लेकिन ये परिवार भारतीय पहचान के अभाव के चलते बिजली जैसी मूलभूत सुविधाओं की राह देख रहा है।

मजनूं का टीला गुरुद्वारे के पीछे रह रहे लगभग 700 लोगों के इस समूह पर कोरोना वायरस महामारी का कोई खास प्रभाव नहीं पड़ा है। इनमें से 45 साल से अधिक आयु के लोगों को टीकों की खुराक भी दी जा चुकी है।

हालांकि, बिजली कनेक्शन नहीं मिल पाना इस शरणार्थी समुदाय के लिये अब भी चिंता का सबब बना हुआ है। उनका दावा है कि वे इस संबंध में कई बार राज्य और केन्द्र सरकार को पत्र लिख चुके हैं।

समुदाय के प्रमुख या प्रधान सोना दास ने कहा, ''हमने हर उस व्यक्ति को पत्र लिखा, जिसे लिखा जाना चाहिये था। हमने डीएम, एसडीएम और अन्य संबंधित अधिकारियों को चिट्ठी लिखी, लेकिन हमें बताया गया कि हमें बिजली का कनेक्शन मिलना मुश्किल है क्योंकि हमारे पास भारत की नागरिकता नहीं है।''

बिजली के बिना दिल्ली की गर्मी के साथ-साथ मच्छरों के आतंक को बर्दाश्त करना भी मुश्किल हो जाता है।

दास ने 'पीटीआई-भाषा' से कहा, ''यमुना के निकट बिजली के बिना रहने के चलते हम मच्छरों के आतंक से परेशान हैं। हालात इतने खराब हैं कि हमें अंधेरे में भोजन करना पड़ता है और कई बार तो हमारे खाने में मच्छर गिर जाते हैं।''

टाटा पावर-डीडीएल का दावा है कि कनेक्शन देने के लिये सिंगल पॉइंट डिलिवर (एसडीपी) प्रस्ताव को मंजूरी मिलने के बावजूद उसे अधिकारियों की ओर से कोई धनराशि नहीं मिली है।

टाटा पावर-डीडीएल के प्रवक्ता ने 'पीटीआई-भाषा' को बताया, '' इस संबंध में डीएम-मध्य और दिल्ली के समाज कल्याण मंत्री को 6.58 लाख रुपये का प्रस्ताव भेजा गया। उस समय इस प्रस्तावित योजना को डीएम की सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई। हालांकि, अब तक अधिकारियों ने वह राशि जारी नहीं की है। जैसे ही हमें वह राशि प्राप्त होगी हम कनेक्शन जारी कर देंगे। एसडीपी कनेक्शन के लिये मौजूदा संशोधित शुल्क के अनुसार डीएम-मध्य को यह धनराशि जारी करनी है।''

शरणार्थी समुदाय के प्रमुख दास ने कहा, ''हमें पानी मिलता है और स्वास्थ्य केन्द्र भी नजदीक में ही है। हमारे बीच 45 वर्ष से अधिक आयु के लोगों को टीके की खुराक भी दी गई है और पिछले साल मुश्किल से तीन-चार लोग वायरस से संक्रमित पाए गए थे। इस मामले में हम भाग्यशाली हैं।''

उन्होंने दावा किया कि दिल्ली सरकार से शरणार्थियों को राशन भी मिल रहा है।

दास ने कहा, ''फिलहाल, हमें केवल बिजली की चिंता है।''

दास कहते हैं, ''मेरे माता-पिता की आयु 100 साल है। हमारे बीच बच्चे और गर्भवती महिलाएं भी रहती हैं। बिजली के बिना रहने के कारण मच्छर कई तरीकों से उन्हें नुकसान पहुंचा सकते हैं।

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Web Title: Pakistani Hindu refugees waiting for electricity connection, troubled by mosquito terror

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