सड़क सुरक्षा को लेकर हुई बैठक में अधिकारियों पर जमकर बरसे सीएम योगी, कहा- युद्धस्तर पर सुधार की आवश्यकता
By भाषा | Published: July 12, 2019 06:54 AM2019-07-12T06:54:44+5:302019-07-12T06:54:44+5:30
योगी ने कहा कि ऐसे हादसे सिर्फ चालकों के मत्थे मढ़कर अधिकारी अपनी जिम्मेदारी से नहीं बच सकते और लोगों के जीवन के साथ समझौता कत्तई बर्दाश्त नहीं होगा । उन्होंने कहा कि परिवहन विभाग में युद्ध स्तर पर सुधार की आवश्यकता है।
लखनउ, 11 जुलाईः यमुना एक्सप्रेस-वे हादसे के चार दिन बाद सड़क सुरक्षा को लेकर हुई बैठक में विभागीय अधिकारियों से उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ खासे नाराज दिखे। योगी ने कहा कि ऐसे हादसे सिर्फ चालकों के मत्थे मढ़कर अधिकारी अपनी जिम्मेदारी से नहीं बच सकते और लोगों के जीवन के साथ समझौता कत्तई बर्दाश्त नहीं होगा । उन्होंने कहा कि परिवहन विभाग में युद्ध स्तर पर सुधार की आवश्यकता है।
मुख्यमंत्री ने गुरुवार को लोकभवन में हुई बैठक में निर्देश दिया कि सभी वाहन चालकों का मेडिकल चेकअप, लाइसेंस की जांच, उनकी पूरी स्क्रीनिंग और चालकों के स्टेयरिंग पर बैठने से पहले और गंतव्य तक पहुंचने पर उनका ब्रेथ एनलाइजर टेस्ट कराया जाए तथा रात में 400 किलोमीटर तक या उससे अधिक चलने वाली बसों में दो चालकों की व्यवस्था हो। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया कि अधिकारियों एवं मंत्रियों के चालकों का भी मेडिकल चेकअप हो ।
बैठक में मौजूद जेपी इन्फ्राटेक के अधिकारियों को निर्देश देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि आपकी कंपनी को गलत कार्य करने की इजाजत प्रदेश सरकार नहीं दे सकती है और टोल आप वसूलते हैं, तो सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम करना भी आपकी जिम्मेदारी है । योगी ने जेपी इन्फ्राटेक के अधिकारियों से कहा कि आईआईटी दिल्ली द्वारा बताए गए सुरक्षा के सभी 13 सुझावों का पालन करिए और यमुना एक्सप्रेस-वे अथॉरिटी के अधिकारी इस बात को सुनिश्चित करें अगर मानकों का पालन नहीं हो रहा है, तो कंपनी के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई हो ।
मुख्यमंत्री स्कूली बच्चों की सुरक्षा को लेकर भी खासे चिंतित दिखे । उन्होंने कहा कि जिन मारूति वैन और टैम्पो को रिजेक्ट कर दिया जाता है, उन्हें स्कूल में चलाया जा रहा है । उन्होंने कहा कि रिक्शों पर बच्चे लटक कर स्कूल जाते हैं और पिछले साल कुशीनगर में हुई घटना से भी सीख नहीं ली गई है । योगी ने कहा कि स्कूल का वाहन चलाने वाले सभी चालकों की मेडिकल जांच के साथ ही पुलिस सत्यापन भी कराएं । उन्होंने कहा कि स्कूली वाहनों का नियमित फिटनेस टेस्ट सत्र शुरू होने से पहले हो जाना चाहिए और इसके लिए जरूरी हो तो छुट्टी के दिन भी आरटीओ कार्यालय खोलें तथा जो भी वाहन फिटनेस पास हो उनको ही सड़क पर चलने की अनुमति दी जाए तथा कंडम बसें और डग्गामार वाहनों को स्क्रैप कर दिया जाए ।
योगी ने कहा कि अन्य प्रदेशों से आने और जाने वाली बिना परमिट की बसों को प्रदेश से गुजरने की अनुमति न दें और जो भी कानून का उल्लंघन करे उससे पूरी सख्ती से निपटें । यातायात विभाग को निर्देश देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि नीली और काली फिल्म चढ़ाए वाहनों पर कार्रवाई की जाए तथा हेल्मेट और सीट बेल्ट को लेकर जीरो टॉलरेंस की नीति पर कार्य किया जाए । उन्होंने कहा कि हाइवे पर जनसुविधाओं को बढ़ाया जाए, पेट्रोल पंप की व्यवस्था की जाए और ई चालान की व्यवस्था में और सुधार लाया जाए ।